कोलकाता : पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव से पहले हर मुद्दे पर राजनीति हो रही है. अब एक पुल के उद्घाटन के मुद्दे पर राजनीति शुरू हो गयी है. पश्चिम बंगाल के लोक निर्माण (पीडब्ल्यूडी) मंत्री अरूप बिश्वास ने नवनिर्मित माजेरहाट पुल के उद्घाटन में देरी के लिए रेलवे के अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराया, तो रेलवे ने राज्य सरकार पर इसका आरोप मढ़ दिया है.
बंगाल के मंत्री ने कहा है कि रेलवे के अधिकारी इससे संबंधित आवश्यक मंजूरी नहीं दे रहे हैं. वहीं, रेलवे ने मंत्री के इन आरोपों को खारिज किया है और कहा कि राज्य के पीडब्ल्यूडी विभाग से आवश्यक सुरक्षा प्रमाणपत्र मिलना बाकी है.
रेलवे ट्रैक के ऊपर माजेरहाट पुल का एक हिस्सा 4 सितंबर, 2018 को ढह गया था और इस घटना में दो लोगों की मौत हो गयी थी. बाद में पुल को ढाह दिया गया और उसके स्थान पर नये पुल का निर्माण किया गया. इस पुल के अगले माह तक शुरू होने की उम्मीद है.
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अरूप बिश्वास ने नये पुल को तत्काल खोलने की मांग के लिए रैली करने का आह्वान करने वाले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के राष्ट्रीय महासचिव एवं राज्य प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय की आलोचना की. कहा कि निर्माण कार्य में इसलिए देरी हुई, क्योंकि रेलवे ने मंजूरी देने में नौ माह का वक्त लगाया.
उन्होंने कहा कि एक बार रेलवे से मंजूरी मिल जाये, इसके बाद नवनिर्मित पुल को आम जनता के लिए खोल दिया जायेगा. उन्होंने कहा कि पीडब्ल्यूडी ने रेलवे को 24 नवंबर को ‘रेलवे सुरक्षा’ की मंजूरी के लिए पत्र लिखा था और विभाग को अभी भी इसका इंतजार है.
वहीं, रेलवे ने ट्वीट किया, ‘आरओबी (रेल के ऊपर बने पुल) को खोलने से पहले की सारी कोडल औपचारिकताएं पूरी हो गयी हैं. पीडब्ल्यूडी से आवश्यक सुरक्षा प्रमाणपत्र शीघ्र मिलने की उम्मीद है. रेलवे के साथ और कोई मुद्दा लंबित नहीं है.’
Posted By : Mithilesh Jha