Neet UG 2022: 4 छात्रों के समान अंक लेकिन तनिष्का बनी टॉपर, जानें एनटीए का नया टाई ब्रेकिंग फॉर्मूला
Neet UG 2022: 7 सितंबर को देर रात NEET UG 2022 का रिजल्ट जारी किया गया. चार छात्रों के समान अंक बावजूद भी राजस्थान की तनिष्का को ऑल इंडिया टॉपर चुना गया. इसे लेकर NTA ने नया टाई ब्रेक्रिंग फॉर्मूला लागू किया है.
Neet UG 2022: लंबे इंतजार के बाद नेशनल एजेंसी (NTA) ने बुधवार 7 सितंबर को NEET UG 2022 का रिजल्ट जारी कर दिया गया. नीट यूजी की परीक्षा में तनिष्का को 715 अंक प्राप्त हुए है. आपको बताएं कि चार छात्रों को समान अंक प्राप्त हुए हैं, लेकिन राजस्थान की तनिष्का को टॉपर घोषित किया गया. ऐसे में कई तरह के सवाल उठने लगे हैं कि आखिर किस नियम के अनुसार ये फैसला लिया गया है. आपको बताएं कि चार छात्रों का अंक 99.9997733 अंक हैं, जिनमें दिल्ली के वत्स आशीष बत्रा और कर्नाटक के ऋषिकेश नागभूषण गंगुले, रूचा पावाशे के नाम शामिल हैं.
2020 में भी छात्रों के थे समान अंक
इससे पहले भी 2020 में भी ऐसा ही देखने को मिला था, जब सोयब आफताब और आकांक्षा सिंह ने भी समान मार्क्स 720/720 अंक हासिल किए थे, लेकिन NTA की टाई-ब्रेकिंग नीति को देखते हुए उनकी उम्र के कारण पूर्व को AIR 1 दिया गया था. उस समय उम्र में बड़े उम्मीदवार को बेहतर रैंक देना था, चूंकि दोनों ने पूर्ण अंक प्राप्त किए थे, इसलिए आयु कारक निर्णायक मानदंड को माना गया था. हालांकि इस नियम को पिछले साल ही बदल दिया गया, जिसके बाद 720/720 स्कोर करने वाले 3 छात्रों को टॉपर घोषित किया गया था.
टाई-ब्रेकिंग नियम को जानें
2022 के NTA UG की परीक्षा में फिर से टाई-ब्रेकिंग नियमों में संशोधन किया गया. जिसके बाद यदि दो छात्र समान अंक प्राप्त करते हैं तो ये नियम लागू किए जाएं-
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परीक्षा में भौतिकी में उच्च अंक / प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाले उम्मीदवार.
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परीक्षा में सभी विषयों में गलत उत्तरों और सही उत्तरों के प्रयास की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार.
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जीव विज्ञान (वनस्पति विज्ञान और प्राणी विज्ञान) में गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार.
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रसायन विज्ञान में प्रयास किए गए गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार.
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भौतिक विज्ञान में प्रयास किए गए गलत उत्तरों और सही उत्तरों की संख्या के कम अनुपात वाले उम्मीदवार.
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उम्र में बड़ा उम्मीदवार.
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आवेदन संख्या आरोही क्रम में.
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यहां आपको बता दें कि आयु कारक को फिर से ध्यान में रखा गया है, अब, एक उम्मीदवार जो परीक्षा के लिए जल्दी रजिस्ट्रेशन करता है, उसे भी देर से पंजीकरण कराने वाले दूसरे उम्मीदवार पर बढ़त मिलती है.