Jharkhand News, चाईबासा (अभिषेक पीयूष) : झारखंड के कोल्हान प्रमंडल के पश्चिमी सिंहभूम जिले में नक्सलियों के खिलाफ पुलिस को बड़ी सफलता मिली है. पुलिस को उग्रवादी संगठन पीपुल लिब्रेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआइ) के खिलाफ बड़ी सफलता हाथ लगी है. जिला पुलिस ने जिले के बंदगांव, कराईकेला, टैबो, टोकलो व झरझरा आदि में पीएलएफआइ के सक्रिय एरिया कमांडर मोदी उर्फ हर सिंह सांडी पूर्ति उर्फ सुखराम सांडी पूर्ति (26) को बुधवार देर रात टैबो थाना क्षेत्र अंतर्गत बोबोंगा गांव के आसपास के जंगलों में छापामारी कर धर-दबोचा है.
पीएलएफआइ नक्सली मोदी मुख्य रूप से बंदगांव थाना क्षेत्र के लादाउली गांव का रहने वाला है. मोदी 2017-18 में उग्रवादी संगठन पीएलएफआइ से जुड़ा है. मोदी विगत दिनों पुलिस के हत्थे चढ़े पीएलएफआइ के 2 लाख के इनामी एरिया कमांडर अजय पुरती उर्फ मनोज पुरती उर्फ बिरसा हेस्सा पुरती उर्फ बुढ़ा उर्फ रूठा के साथ रहता था. जिसने उसे नक्सली गतिविधियों की बारीकियां सिखायी है. जिसके बाद उसने क्षेत्र में अपना वर्चस्व कायम किया था. सूत्रों के अनुसार, वहीं दिसंबर 2020, में इनकाउंटर में मारे गये पीएलएफआइ के जोनल कमांडर 10 लाख का इनामी हार्डकोर नक्सली जिंदल गुड़िया ने मोदी को पीएलएफआइ से जोड़ने के साथ ही उसे ट्रेनिंग देने का कार्य किया है. जिसके बाद से उसे आर्म्स चलाने में महारत हासिल है. मोदी अपने साथ एके-47 हथियार व कार्बाइन लेकर चलता था. इसके अलावा व अधांधुंध पिस्टल भी चलाना जानता है. फिलहाल जिला पुलिस व स्पेशल ब्रांच की टीम मोदी से पूछताछ कर उसके अन्य ठिकानों का पता लगाने में जुटी है.
पीएलएफआइ के एरिया कमांडर मोदी के विरूद्ध मुख्य रूप से खेल मैदान के ठेकेदारों से लेवी वसूलने, कराईकेला के ईट भट्ठा मालिकों से लेवी लेने, वहीं रंगदारी नहीं देने पर फायरिंग कर मजदूर की हत्या करने, कराईकेला के हुडदंगा में लेवी नहीं देने पर सड़क पर खड़ी हाइवा आदि वाहनों को आग के हवाले करने, रोड कंस्ट्रक्शन के कार्यों में लेवी नहीं मिलने पर बाधा उत्पन्न करने, ग्रामीण मुंडा से लेवी वसूलने सहित जिले के विभिन्न थानों में कुल 20 से अधिक कांड दर्ज है. लेवी वसूलने के लिए वह अक्सर जिले के चक्रधरपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत हुड़ंगदा, नकटी व झरझरा आदि गांवों में आया-जाया करता था. इसे लेकर बंदगांव से पीएलएफआइ का एरिया कमांडर बिरसा पुरती उर्फ चैतन सिंह मोदी का सहयोग करता था.
मोदी उर्फ हर सिंह सांडी पुरती प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआइ) का पश्चिमी सिंहभूम जिले में वर्तमान में सबसे सक्रिय एरिया कमांडर था. इसके पकड़े जाने से संगठन को बड़ा झटका लगा है. मोदी संगठन के मुख्य एरिया कमांडर अजय पुरती का दाहिना हाथ था. वहीं अजय पुरती की विगत दिनों हुयी गिरफ्तारी के बाद से वह पूरे जिले में पीएलएफआइ को हैंडल करने का कार्य कर रहा था. इधर, संगठन के सुप्रिमों दिनेश गोप के बाद जीदन गुड़िया का नंबर आता था. वहीं जीदन गुड़िया से ही मोदी को आर्म्स चलाने की पूरी ट्रेनिंग मिली थी. ऐसे में जिले के बंदगांव, कराईकेला, टैबो, टोकलो व झरझरा आदि इलाकों में मोदी का ग्रामीणों व काम करने वाले ठेकेदारों के बीच मोदी का गहरा खौफ व्याप्त था.
पीएलएफआइ का सक्रिय एरिया कमांडर मोदी उर्फ हर सिंह सांडी पुरती तीन से चार बार जिला पुलिस के साथ हुयी मुठभेड़ में भी बचकर निकल चुका है. दरअसल चाईबासा पुलिस को विगत 8 जनवरी को टैबो थाना क्षेत्र के लोवाहातु जंगल के आसपास के क्षेत्रों में प्रतिबंधित पीएलएफआइ नक्सली संगठन के मोदी के 8 से 10 हथियार बंद दस्ते के सदस्यों के साथ आवागमन की सूचना थी. सूचना के आधार पर चाईबासा पुलिस एवं सीआरपीएफ 60 बटालियन ने उक्त क्षेत्र में सघन छापेमारी अभियान चलाया था. छापामारी के क्रम में लोवाहातु के जंगली क्षेत्र में मोटरसाइकिल से भाग रहे पीएलएफआइ के दो नक्सलियों सिरका तोपनो (31) व प्रभुसहाय पूर्ति (32) को पुलिस ने 10 जनवरी 2021, को धर-दबोचा था, जबकि मौके से पीएलएफआइ का एरिया कमांडर मोदी पुलिस को चकमा देकर मौके से भागने में सफल रहा था. इतना ही नहीं, चाईबासा पुलिस ने विगत 26 मई 2021, को पीएलएफआइ के एरिया कमांडर मोदी दस्ते के चार उग्रवादियों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था. गिरफ्तार उग्रवादियों में बेसरा बोदरा उर्फ मुगरु बोदरा (28), केदार बोदरा (23), इंदा बोदरा (55) व राजेश महतो (40) शामिल थे. इस दौरान भी मोदी पुलिस को चकमा देकर मौके से फरार हो गया था.
पश्चिमी सिंहभूम में अपने सूचना तंत्र को मजबूत बनाकर जिला पुलिस के द्वारा नक्सल प्रभावित इलाकों के जंगलों में नक्सलियों के विरूद्ध लगातार सर्च ऑपेरशन चलाया जा रहा है. इससे नक्सलियों के पांव अब जंगलों से उखड़ने लगे है. दूसरी तरफ पीएलएफआइ के कुख्यात नक्सली जिदन गुड़िया और शनिचर सुरिन के खात्मे के बाद संगठन तकरीबन धवस्त हो गया है. पीएलएफआइ का सरगना दिनेश गोप अब भी पुलिस के पकड़ से बाहर है. जिसके खूंटी व बंदगांव के जंगलों में छुपे होने की सूचना है. वहीं चाईबासा में नोयल सांडी पुरती व खूंटी में लाका पाहन की तलाश जारी है.
जिले के बंदगांव थाना क्षेत्र के बिरदा जंगल-पहाड़ी से पश्चिमी सिंहभूम की पुलिस ने उग्रवादी संगठन पीपुल लिब्रेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआइ) के खिलाफ अभियान चलाकर विगत 23 जुलाई 2021, को 2 लाख के इनामी पीएलएफआइ के कमांडर अजय पुरती उर्फ मनोज पुरती उर्फ बिरसा हेस्सा पुरती उर्फ बुढ़ा उर्फ रूठा को उनके 7 अन्य साथियों के साथ धर-दबोचा था. बता दें नक्सली कमांडर पुरती मूल रूप से खूंटी का रहने वाला है, लेकिन गिरफ्तारी के वक्त वो गुदड़ी थाना क्षेत्र के गुदीदिरी गांव में रह रहा था. अजय पुरती के साथ पुलिस ने तोपान कंडुलना, हेरमन सुंडी, सुखराम सांडी पुरती, दोसरो मुंडा, पौलुस सांडी पुरती, गालू सांडी पुरती व प्रभु सहाय सिरूम को गिरफ्तार किया गया था.
खूंटी और चाईबासा के सीमावर्ती क्षेत्र स्थित गुदड़ी थाना क्षेत्र के रनिया और गुदड़ी के बड़ाकेसल जंगल में हुए मुठभेड़ में विगत 16 जुलाई 2021, को पुलिस और पीएलएफआइ के बीच हुये मुठभेड़ में 10 लाख का इनामी सब एरिया कमांडर शनिचर सुरिन मारा जा चुका है. इसके पास से दो पिस्टल और 22 कारतूस बरामद हुआ था. घटनास्थल से पुलिस ने 8 हाई स्पीड बाइक और नक्सली दस्तावेज बरामद किया था.
Posted By : Guru Swarup Mishra