India vs England Test Series नयी दिल्ली : पूर्व भारतीय कप्तान और स्पिन के खिलाफ शानदार प्रदर्शन करने वाले मोहम्मद अजहरूद्दीन (Mohammad Azharuddin) का मानना है कि मोटेरा जैसी टर्निंग पिच (Turning Pitch) पर रबड़ के तलवे (सोल) वाले जूते पहनना, सुनिश्चित फुटवर्क और शॉट का उचित चयन बल्लेबाजों के लिए सफलता की कुंजी होते हैं. अजहर ने भारत की इंग्लैंड के खिलाफ तीसरे टेस्ट मैच के दूसरे दिन बड़ी जीत के बाद कई ट्वीट्स में दिलचस्प सुझाव साझा किये हैं.
इस 58 वर्षीय पूर्व क्रिकेटर ने कहा कि ‘स्पाइक’ वाले जूतों के बजाय रबड़ के तलुवे वाले जूते पहनना बेहतर विकल्प हो सकता है. अजहरूद्दीन ने ट्वीट किया, ‘बल्लेबाजी करते समय स्पाइक्स पहनने का कोई मतलब नहीं बनता. रबड़ के तलुवे वाले जूते बल्लेबाज की क्षमता को कम नहीं करते. मैंने टेस्ट क्रिकेट में मुश्किल पिचों पर कुछ ऐसी शानदार पारियां देखी हैं जो बल्लेबाजों ने रबड़ सोल वाले जूते पहनकर खेली थी.’
उन्होंने कहा, ‘यह तर्क दिया जाता है कि इससे बल्लेबाज विकेटों के बीच दौड़ लगाते समय फिसल सकता है लेकिन विंबलडन में सभी टेनिस खिलाड़ी रबड़ सोल वाले जूते पहनकर खेलते हैं.’ भारत की तरफ से 1985 से 2000 के बीच 99 टेस्ट और 334 वनडे खेलने वाले अजहरूद्दीन ने मैंने कई खिलाड़ियों को रबर के सोल वाले जूते पहनकर अच्छी बल्लेबाजी करते देखा है.
अजहर ने कहा, ‘जिनका नाम जेहन में आता है उनमें सुनील गावस्कर, मोहिंदर अमरनाथ और दिलीप वेंगसरकर जैसे भारतीय ही नहीं बल्कि कई विदेशी खिलाड़ी जैसे विवियन रिचर्ड्स, माइक गैंटिंग, एलन बोर्डर, क्लाइव लॉयड और अन्य शामिल हैं.’ उन्होंने कहा कि इन सभी ने कभी रबर के सोल वाले जूते पहले और कड़ी चुनौती वाली पिचों पर बेहतरीन खेल दिखाया.
अजहर ने तीसरे टेस्ट मैच में बल्लेबाजों के आसानी से घुटने टेकने पर निराशा जतायी. उन्होंने कहा, ‘अहमदाबाद टेस्ट मैचों में बल्लेबाजों को घुटने टेकते हुए देखना निराशाजनक था. इस तरह के शुष्क और टर्निंग विकेटों पर शॉट का चयन और सुनिश्चित फुटवर्क सफलता की कुंजी होता है.’
Posted By: Amlesh Nandan.