दिल्ली की सत्तारूढ़ पार्टी आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) सरकार ने राज्य के विधायकों के वेतन में तीन गुणा वृद्धि करने का प्रस्ताव किया है. अगर दिल्ली सरकार (Delhi Government) के प्रस्ताव को केंद्र की मंजूरी मिल गयी, तो दिल्ली के विधायकों का वेतन (Salary Hike of MLA’s) 30 हजार रुपये से बढ़कर 90 हजार रुपये हो जायेगा. दिल्ली के उप-मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने यह जानकारी दी है.
30 हजार रुपये मिलता था विधायकों को वेतन
मनीष सिसोदिया (Delhi Dy CM Manish Sisodia) ने कहा है कि दिल्ली विधानसभा में विधायकों, मंत्रियों, स्पीकर और विपक्ष के नेताओं का वेतन बढ़ाने का विधेयक पास हुआ है. पिछले करीब 11 साल से दिल्ली के विधायकों को 12,000 रुपये वेतन मिलता था, जिसे बढ़ाकर एक बार 30,000 रुपये किया गया था.
Also Read: मुश्किल में मनीष सिसोदिया, CM हिमंत बिस्व सरमा की पत्नी ने किया 100 करोड़ की मानहानि का केस
अब 90 हजार रुपये हो जायेगा वेतन
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री ने आगे कहा कि भत्ते सहित अब इस वेतन को 90,000 रुपये किया गया है. उन्होंने कहा कि पिछले 7 साल में इस पर कई बार चर्चा हुई है. केंद्र सरकार को इस पर कुछ आपत्ति थी और उन्होंने कुछ सुझाव दिये थे. हमने सुझावों को मानते हुए इसे पारित किया है. हमें उम्मीद है कि केंद्र सरकार इसको पास कर देगी.
भत्ते सहित अब इस वेतन को 90,000 रुपए किया गया है। पिछले 7 साल में इस पर कई बार चर्चा हुई है। केंद्र सरकार को इस पर कुछ आपत्ति थी और उन्होंने कुछ सुझाव दिए थे। हमने सुझावों को मानते हुए इसे पारित किया है। हमें उम्मीद है कि केंद्र सरकार इसको पास करेगी: उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया pic.twitter.com/FCZjKGmJgO
— ANI_HindiNews (@AHindinews) July 4, 2022
सरकार में आने के बाद विधायकों का बढ़ाया था वेतन
उल्लेखनीय है कि आम आदमी पार्टी के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने सरकार बनाने से पहले कहा था कि उनकी पार्टी के नेता कोई वेतन-भत्ता नहीं लेंगे. न ही सरकारी गाड़ी और आवास लेंगे. लेकिन सरकार बनने के बाद उनकी कैबिनेट के मंत्रियों ने बंगले भी लिये. गाड़ी भी ली. अपना वेतन-भत्ता बढ़ा भी लिया.
Also Read: मनीष सिसोदिया ने अमित शाह से की एमसीडी का बुलडोजर रोकने की मांग, कहा- 70 फीसदी आबादी हो जाएगी बेघर
प्रधानमंत्री को दी थी ये सलाह
वेतन-भत्ता बढ़ाने की आलोचना हुई, तो अरविंद केजरीवाल ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री को भी अपना वेतन बढ़ा लेना चाहिए. इंटरनेशनल लेवल पर मंत्रियों और सांसदों को जो वेतन मिलता है, उसी के अनुरूप भारत में भी प्रधानमंत्री को अपने सांसदों और मंत्रियों के लिए वेतनमान तय करना चाहिए.