दिल्ली में केजरीवाल सरकार खिलाड़ियों के साथ स्पोर्ट्स प्रोफेशनल्स भी तैयार करेगी. इसके लिए खिलाड़ियों को डिग्री के लिए अलग से पढ़ाई नहीं करनी पड़ेगी. खेल प्रशिक्षण के दौरान ही उन्हें डिग्री भी मिल जाएगी.
पीएचडी तक की डिग्री दी जाएगी
दिल्ली स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी खुद में अनूठी यूनिवर्सिटी होगी जहां पीएचडी तक कि डिग्री दी जाएगी. अभी तक देश के खिलाड़ी चाहे किसी खेल में कुछ भी हासिल कर लें लेकिन डिग्री के लिए उन्हें अलग से पढ़ाई करनी पड़ती है. ऐसा ना करने पर उन्हें नौकरी के लिए आवेदन करने में समस्या होती है. लेकिन अब खिलाड़ियों को किसी और डिग्री की जरूरत नहीं होगी. उन्हें खेल की परफॉर्मेंस के आधार पर ही डिग्री मिल जाएगा। यूनिवर्सिटी की विशेषज्ञों की टीम जल्द ही विभिन्न खेलों को ध्यान में रख कर उनके कोर्स स्ट्रक्चर तैयार करेगी.
स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी का ये है उद्देश्य
स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी का मकसद स्वास्थ्य, व्यायाम, खेल के क्षेत्र में विश्वस्तरीय प्रशिक्षण, रिसर्च और एकेडमिक्स को बढ़ावा देना है। दिल्ली सरकार स्पोर्ट्स के शिक्षण प्रशिक्षण को बहु आयामी बनाना चाहती हैं, ताकि स्पोर्ट्स प्रोफेशनल्स को रोजगार के विस्तृत अवसर मिल सकें. ये विश्वविद्यालय खेलों को लोकप्रिय बनाते हुए इसके माध्यम से जन स्वास्थ्य को बढ़ावा देने की दिशा में भी काम करेगा.
हर ओलंपिक में 50 गोल्ड मेडल लाने का लक्ष्य
केजरीवाल सरकार की दिल्ली स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी ऐसे खिलाड़ियों को तैयार करेगी जो भारत के लिए हर ओलंपिक में कम से कम 50 गोल्ड मैडल लेकर आएं. दिल्ली स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी खेल की दुनिया में देश का नाम रौशन करेगी। यहां युवाओं को खेल के क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए विश्वस्तरीय सुविधाएं और ट्रेनिंग प्रदान की जाएगी. जिससे देश की खेल प्रतिभाएं अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिता में अधिक से अधिक मेडल लाकर देश का नाम रौशन करेगी. उन्होंने कहा, ये यूनिवर्सिटी वर्ल्ड क्लास यूनिवर्सिटी साबित होगी.
Posted By: Shaurya Punj