Jharkhand Cyber Crime News (आशीष कुंदन, देवघर) : झारखंड का बाबा नगरी देवघर अब साइबर क्रिमिनल का सोफ जोन बनता जा रहा है. देवघर जिले के विभिन्न प्रखंडों से साइबर क्रिमिनल आसानी से लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैं. हालांकि, काफी संख्या में साइबर क्रिमिनल पुलिस के हत्थे भी चढ़ते हैं. इसके बावजूद साइबर क्राइम पर लगाम नहीं लग रही है.
कभी बैंक अधिकारी बन, तो कभी सोशल साइट के सहारे लोगों को अपने जाल में साइबर क्रिमिनल फंसा रहे हैं. अब तो कस्टमर सर्विस ऑफिसर बन कर लोगों से ठगी की जा रही है. साइबर किमिनल गूगल सर्चइंजन पर विभिन्न इलेक्ट्रॉनिक एप की साइट पर जाकर उसमें भी अपना मोबाइल नंबर को ग्राहक अधिकारी के नंबर की जगह डाल देते हैं. कोई ग्राहक उस नंबर को ग्राहक सेवा अधिकारी का नंबर समझ कर डायल करते हैं और झांसे में आकर सभी जानकारी आधार नंबर आदि साझा कर देते हैं. इसके बाद उन नंबरों के लिंक खाते को वे लोग मिनटों में साफ कर देते हैं.
इसके अलावा विभिन्न बैंकों के अधिकारी बनकर लोगों को कॉल कर वे लोग ठगी करते हैं. केवाईसी अपडेट का झांसा देकर बैंक की सारी जानकारी हासिल कर लोगों के खाते में रखे रकम को मिनटों में खाली कर देते हैं. फोन-पे, पेटीएम मनी रिक्वेस्ट भेजकर झांसे से ओटीपी लेने के बाद ठगी करते हैं.
Also Read: अच्छी पहल : गुमला में अलग अंदाज में हुआ टीकाकरण, सब्जी बेचने वालों तक पहुंचा प्रशासन
वहीं, साइबर क्रिमिनल टीम व्यूवर, क्विक सपोर्ट जैसे रिमोट एक्सेस एप इंस्टॉल कराकर गूगल पर मोबाइल का पहला 4 डिजिट नंबर सर्च करते हैं और खुद से 6 डिजिट जोड़कर रेंडमली साइबर ठगी करते हैं. UPI वॉलेट से ठगी किये ग्राहकों को पुन: एकाउंट में रिफंड का झांसा देकर पीड़ित के रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर में कुछ जोड़कर वर्चुअल फर्जी एकाउंट बनाने के बाद UPI पिन लॉगिन कराकर भी ठगी कर रहे हैं.
देवघर एसपी अश्विनी कुमार सिन्हा के निर्देश पर साइबर थाने की पुलिस ने मारगोमुंडा थाना क्षेत्र के गंगुवाडीह, करौं थाना क्षेत्र के तुलसीटांड़ व पथरड्डा ओपी क्षेत्र के गोबरशाला गांव में छापेमारी की. इस दौरान दो सगे भाई समेत 8 साइबर आरोपितों को गिरफ्तार किया गया. इन साइबर आरोपितों के पास से छापेमारी टीम ने नगद 7500 रूपये सहित दो बाइक, 19 मोबाइल, 32 सिमकार्ड, 7 एटीएम कार्ड, 3 पासबुक व 2 डोंगल बरामद किया है. यह जानकारी पुलिस कार्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता में एसपी ने दी.
एसपी ने बताया कि गिरफ्तार साइबर आरोपितों में मारगोमुंडा थाना क्षेत्र के गंगुवाडीह गांव निवासी सगा भाई नसीम अंसारी, अजीम अंसारी, करौं थाना क्षेत्र के तुलसीटांड़ गांव निवासी अलाउद्दीन अंसारी, सारठ थाना क्षेत्र के नया खरना गांव निवासी गुड्डू कुमार दास, पथरड्डा ओपी क्षेत्र के गोबरशाला गांव निवासी अजय कुमार दास, मनोज महरा, अनुप कुमार दास व अमित दास शामिल है. गिरफ्तार साइबर आरोपितों के पास से बरामद मोबाइल में अपराध से सबंधित काफी साक्ष्य मिले हैं.
Also Read: झारखंड के गांवों में दो महीने में करीब 25 हजार ग्रामीणों की मौत, जानें स्वास्थ्य विभाग ने क्या कहा
मामले को लेकर साइबर थाने में प्राथमिकी दर्ज हुई है. कोविड जांच के बाद आरोपितों को कोर्ट में पेश किया जायेगा. फिर कोर्ट के निर्देश पर इन सभी को न्यायिक हिरासत में भेजा जायेगा. एसपी ने बताया कि एक बाइक आरोपित अजीम के पास से, दूसरी बाइक अलाउद्दीन के पास से व नगद 7500 रुपये आरोपित गुड्डू के पास से बरामद हुआ है. इस मौके पर साइबर डीएसपी नेहा बाला, मुख्यालय डीएसपी मंगल सिंह जामुदा भी मौजूद थे.
एसपी श्री सिन्हा ने बताया कि गिरफ्तार आरोपितों में से तीन का आपराधिक इतिहास है. आरोपित मनोज के खिलाफ गोबरशाला के रितेश ने जानलेवा हमला व चोरी की प्राथमिकी वर्ष 2006 में सारठ थाने में दर्ज कराया था. इसके अलावे 2018 में भी उसपर सारठ थाने में मारपीट व छिनतई का मामला दर्ज हुआ था. आरोपित गुड्डू के खिलाफ भी 2019 में सारठ थाने में मारपीट व छिनतई का मामला दर्ज हुआ था. आरोपित अजय के खिलाफ अगस्त 2020 में गोबरशाला की मंजू देवी ने मारपीट व छिनतई की प्राथमिकी दर्ज करायी थी.
साइबर थाना प्रभारी इंस्पेक्टर सुधीर पौद्दार के नेतृत्व में गठित छापेमारी टीम में इंस्पेक्टर संगीता कुमारी, एसआइ रूपेश कुमार, मो अफरोज, मनोज मुर्मू, हरीश कुमार, अघनु मुंडा, संगीता रजवार व सशस्त्र पुलिस बल शामिल थे.
Posted By : Samir Ranjan.