सत्या राज, धनबाद : बुधवार को करवा चौथ है. इस दौरान सुहागिनें निर्जला उपवास रखकर चौथ महारानी से अखंड सुहाग का वरदान मांगेंगी. कार्तिक मास कृष्ण पक्ष चतुर्थी तिथि को करवाचौथ का व्रत किया जाता है. मंगलवार को सुहागिनों ने व्रत का संकल्प लिया. रात को नियम से सरगी कर निर्जला उपवास करेंगी. सुहागिनें दिनभर निर्जल रहकर शाम को सोलह शृंगार कर चौथ महारानी की पूजा विधि विधान से करेंगी. कथा सुनकर सुहाग थाल फेरेंगी. चंद्रोदय के बाद अरग देंगी और चलनी में दीपक रखकर चांद देखने के बाद पति का चेहरा दिखेंगी. उसके बाद पति के हाथों जल ग्रहण कर व्रत खोलेंगी.
खूब बिके सुहाग थाल व डिजायनर चलनी
करवा चौथ को लेकर बाजार में करवा, सुहाग थाल एवं चलनी की खूब बिक्री हुई. मिट्टी का करवा 60 रुपये, स्टील का करवा 150 रुपया, डिजायनर करवा 180 से 200 रुपया, छोटी चलनी 40 रुपये, बड़ी चलनी 80 रुपये, डिजायनर चलनी 120 रुपये, सुहाग थाल 100 से 120 रुपये, डिजायनर सुहाग थाल जिसमें करवा, छलनी, चौथ की किताब व कैलेंडर के साथ 380 रुपये में बिके. त्योहार को लेकर कांच की चूड़ियां एवं चूड़ा भी खूब बिके.
मेहंदी लगाने के लिए लगी कतार
करवाचौथ की पूर्व संध्या पर हाथों में मेहंदी लगाने के लिए सुहागिनें उत्साहित दिखीं. इसके लिए मेहंदी लगाने की दुकान पर सुहागिनों की लंबी कतार लगी रही. हीरापुर में दुकानों के बाहर व सिटी सेंटर में मेहंदी लगाने वाले बैठे थे. यहां एक हाथ का चार सौ रुपये, दोनों हाथ का आठ सौ रुपये, जैसी डिजाइन वैसी कीमत ली जा रही थी. मेहंदी लगानेवाले राजेश ने बताया तीज त्योहार पर हमारी कमाई अच्छी होती है. देर शाम तक सुहागिनें मेहंदी रचवाती नजर आयीं.
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