कैलाशपति मिश्र,पटना: लोकसभा चुनाव 2024 के प्रथम चरण के नामांकन की तिथि खत्म हो चुकी है और दूसरे चरण की शुुरुआत हो चुकी है.राजनीतिक पार्टियां अपने हिसाब से वोट का समीकरण बिठाने और गुना-भाग में लगी हुई हैं. बिहार में भी दोनों प्रमुख गठबंधन एनडीए और महागठबंधन के बीच सीटों का बंटवारा हो चुका है. दोनों गुट अपना वोट प्रतिशत बढ़ाने की जुगत में लग गये हैं. पिछले दो चुनावों के आंकड़ों का विश्लेषण करें तो यह बात निकल कर सामने आती है कि 50 फीसद से अधिक वोट पाने वाले उम्मीदवारों की संख्या में वृद्धि हुई है.
50 फीसदी से अधिक वोट पाने वाले उम्मीदवारों की संख्या
लोकसभा चुनाव 2014 में 50 फीसदी से अधिक वोट पाने वाले उम्मीदवारों की संख्या कम थी, जबकि 2019 में इससे जबर्दस्त वृद्धि हुई है. बिहार में 2014 में महज तीन उम्मीदवार को भी 50 फीसदी से अधिक वोट मिले थे, जबकि 2019 में इनकी संख्या बढ़ कर 24 हो गयी यानी इसमें सात सौ फीसदी की बढ़ोतरी हुई है.वहीं झारखंड की कुल 14 लोकसभा सीटों में नौ उम्मीदवार को 50 फीसद से अधिक वोट मिले थे,जबकि 2014 में एक भी उम्मीवार को 50 फीसदी से अधिक वोट मिले थे. पश्चिम बंगाल में भी लोकसभा चुनाव 2019 में 50 फीसदी से अधिक वोट पाने वाले उम्मीदवारों की संख्या 11 थी.
सात उम्मीवारों को 60 फीसदी से अधिक मत
बिहार में भाजपा और जदयू ने 2014 में अलग-अलग चुनाव लड़ी थी. इसमें भाजपा के 50 प्रतिशत से अधिक वोट शेयर के साथ दो और लोजपा ने एक सीट जीतीं थी. जबकि जदयू इतने बड़े अंतर से एक भी सीट नहीं जीत पायी. हालांकि, 2019 में दोनों पार्टियों एक साथ आयी तो काफी फायदा हुआ. इस चुनाव में भाजपा के 14 सांसद और जदयू के 10 सांसद एक-दूसरे के वोट बैंक साथ आये तो 24 उम्मीदवारों को 50 फीसद से अधिक वोट मिले. इसके अतिरिक्त, उनकी सहयोगी लोक जनशक्ति पार्टी ने ऐसी छह सीटें हासिल की थीं. 2019 में बिहार में सात उम्मीवारों को 60 फीसदी से अधिक मत मिले.
2019 में इन सीटों पर मिले थे 50 फीसद से अधिक वोट..
बिहार में 2019 में जिन लोकसभा क्षेत्रों में उम्मीदवरों को पचास फीसदी से अधिक मत मिले थे उनमें नालंदा, पटना साहिब,आरा,बाल्मीकी नगर, पश्चिम चंपारण,सासाराम,पूर्वी चंपारण, शिवहर,सीतामढ़ी, मधुबनी, नवादा, झंझारपुर, जमुई, सुपौल, अररिया, कटिहार, मधेपुरा, दरभंगा, मुजफ्फरपुर, वैशाली, गोपालगंज, महाराजगंज, सारण, हाजीपुर, उजियारपुर, समस्तीपुर, बेगूसराय, खगड़िया, भागलपुर और मुंगेर शामिल हैं.
झारखंड में 2019 में नौ उम्मीदवारों को मिले थे 50 फीसदी से अधिक वोट
झारखंड में 2019 लोकसभा चुनाव में नौ उम्मीदवारों को 50 फीसद से अधिक वोट मिले थे. जबकि 2014 चुनाव में एक भी उम्मीवार ने पचास फीसदी के पास नहीं पहुंच पाये थे. 2019 लोकसभा चुनाव में हजारीबाग लोकसभा सीट से 67.4 फीसदी वोट पाने वाले भाजपा के जयंत सिन्हा को 2014 में 42.07 फीसदी ही मत मिले थे. 2019 चुनाव में धनबाद से 66 फीसदी मतों से चुनाव जीतने वाले भाजपा के पशुपति नाथ सिंह को 2014 में 47.51 फीसदी ही मत मिले थे.झारखंड में गोड्डा,चतरा,कोडरमा,गिरिडीह,धनबाद,रांची, जमशेदपुर,पलामु और हजारीबाग में पचास फीसदी से अधिक वोट मिले थे.
पश्चिम बंगाल में कुल 42 में से 11 उम्मीदवार को मिले थे 50 फीसद से अधिक वोट
पश्चिम बंगाल में लोकसभा की कुल 42 सीटें हैं जिनमें 11 उम्मीदवारों को 50 फीसदी से अधिक वोट मिले थे.जबकि 2014 में पचास फीसदी से अधिक वोट लाने वाले उम्मीवार की संख्या शून्य थी. पश्चिम बंगाल में अलीपुरद्वार, जलपाइगुड़ी,दार्जिलिंग,रानाघाट, बसिरहाट,जायनगर,मथुरपुर,डायमंड हार्बर,उल्लूबेरिया,तमलक और आसनसोल लोकसभा सीट है.इसमें पांच सीटों पर भाजपा के उम्मीदवारों ने और अन्य सीटों पर टीमसी के उम्मीदवार को पचास फीसदी से अधिक वोट मिले थे.