लालू यादव के गृह जिले में घिरी राजद, किसी उम्मीदवार पर नहीं बन पा रही सहमति
राजद गोपालगंज में किसी भी उम्मीदवार पर भरोसा नहीं कर पा रही, इस वजह से राजद सुप्रीमो के गृह जिले में टिकट फाइनल होने को लेकर असमंजस बरकरार है, टिकट के दावेदार पटना में डेरा डाले हुए हैं, लेकिन सहमति नहीं बन पा रही
संजय कुमार अभय, गोपालगंज. लोकसभा चुनाव को लेकर राजद को गोपालगंज में किसी उम्मीदवार पर भरोसा नहीं हो पा रहा. इंडिया गठबंधन की ओर से गोपालगंज लोकसभा सुरक्षित सीट राजद के खाते में है. राजद की ओर से अब तक उम्मीदवार के नाम पर सहमति नहीं बन पा रही है. गोपालगंज राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद का गृह जिला है. ऐसे में यहां पार्टी की प्रतिष्ठा यहां दांव पर लगी हुई है. पार्टी वैसे उम्मीदवार की तलाश कर रही जो हर हाल में सीट पर अपना जीत दर्ज कर सके.
राजद में इन नामों पर चल रही चर्चा
वैसे तो पार्टी सूत्रों की माने तो सारण जिले के गडखा के विधायक मंत्री सुरेंद्र राम, पूर्व में लोकसभा के प्रत्याशी रहे सुरेंद्र राम महान, शहर के प्रमुख सर्जन डॉ सुनील रंजन, थावे के व्यवसायी, पटना में पार्टी के लिए काम करने वाले कुचायकोट के प्रमोद राम, जैसे छह नामों पर आलाकमान के स्तर पर मंथन चल रहा. किसके नाम पर मुहर आलाकमान का लगता है यह अभी कहना जल्दबाजी होगी.
पटना में कैंप कर रहे संभावित उम्मीदवार
राजद के दिग्गज संभावित उम्मीदवारों को लेकर पटना में कैंप कर रहे. कई राजनीतिक पंडित टिकट की जुगाड़ में पटना में लॉबिंग करने में जुटे है. पार्टी के लिए यह सीट प्रतिष्ठा का बना है. कांग्रेस का मुकाबला अब जदयू से सीधे होना तय माना जा रहा. चुनावी जंग रोचक होने के आसार है.
राजद से ये उम्मीदवार हो चुके हैं विजयी
गोपालगंज सीट जब आरक्षित नहीं था तो 1996 में लाल बाबू प्रसाद यादव, 2004 अनिरुद्ध प्रसाद यादव, उर्फ साधु यादव राष्ट्रीय जनता दल से चुनाव जीत कर लोकसभा में जा चुके है. उसके बाद राजद के पक्ष में जनादेश नहीं आया. इस चुनाव में राजद हर हाल में जिताऊ कैडिडेंट्स की तलाश में जुटी है. इस मामले में राजद के जिलाध्यक्ष दिलीप सिंह अभी कुछ भी बोलने से परहेज करते है.
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