क्‍या हेयर ट्रीटमेंट कराने जा रहे हैं आप??

आज खूबसूरत दिखना कौन नहीं चाहता है अपनी ब्‍यूटी को निखारने के लिए लोग क्‍या क्‍या नहीं करते. पार्लर में ब्‍यूटी ट्रेटमेंट में हजारों खर्च करने में लोग हिचकिचाते नहीं हैं. लेकिन अगर आपको पता चले कि आप अपनी सुंदरता के पीछे कितनी बडी कीमत चुका रहीं हैं तो? हालिया शोध में पता चला है […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 20, 2014 2:09 PM

आज खूबसूरत दिखना कौन नहीं चाहता है अपनी ब्‍यूटी को निखारने के लिए लोग क्‍या क्‍या नहीं करते. पार्लर में ब्‍यूटी ट्रेटमेंट में हजारों खर्च करने में लोग हिचकिचाते नहीं हैं. लेकिन अगर आपको पता चले कि आप अपनी सुंदरता के पीछे कितनी बडी कीमत चुका रहीं हैं तो?

हालिया शोध में पता चला है कि पार्लर में पर्मानेंट हेयर डाई या पर्मिंग ट्रटिमेंट कराना आपके सेहत के लिए ठीक नहीं है. इस प्रक्रिया में बैन्‍ड एरोमैटिक एमीन्‍स का इस्‍तेमाल होता है जिसे ‘टॉलुडीन्‍स’ नाम जाना जाता है­. इस हानिकारक रसायन में कार्सिनोजेनिक गुण पाया जाता है जो कैंसर के होने का कारण बन सकता है.

स्‍वीडन के एक यूनिवर्सिटी में हुए एक अध्‍ययन अनुसार पार्लर में काम करने वाले हेयर ड्रेसर भी लगातार कार्सिनोजीन जैसे हानिकारक रसायन के प्रभाव में आ जाते हैं जिससे यह उनके लिए भी काफी हानिकारक हैं.

पर्मानेंट हेयर डाई जिसे ‘ऑक्सिडेटिव डाई’ भी कहा जाता है यह भी हेयर ड्रेसर और उसके यूजर के लिए भी बहुत खतरनाक है. शोधकर्ताओं ने पाया कि उपयोगकर्ताओं के खून में टॉलुडीन नामक रसायन और सात ऐसे ही कार्सिनोजेनिक रसायन का स्‍तर उपस्थित है जो कैसर के लिए जिम्‍मंदार है. ओ- टालुडीन (आर्थो- टालुडीन) व्‍यापक तौर पर कार्सिनोजेनिक है.

शोधकर्ताओं ने 295 महिला हेयरड्रेसर, 32 नियमित हेयर डाई उपयोगकर्ताओं, और 60 आम लोगों जो कभी इस तरह के प्रोडक्‍ट का इस्‍तेमाल नहीं करते, उनके खुन की जांच की . जांच में यह पता लगाया गया कि हेयरड्रेसर जो नियमित इन प्रोडक्‍ट के संपर्क में रहती है उनके खून में ओ- टालुडीन और एम- टालुडीन का स्‍तर काफी बझा हुआ है.

पर्मिंग टीटमेंट कराने वाले लोगों के खून में इसी तरह का ओ- टालुडीन का स्‍तर पाया गया है. इसके संपर्क से बचने के लिए हेयरड्रेसर अपने हाथों में ग्‍लव्‍स का इस्‍तेमाल कर सकते हैं.

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