मुंबई: बॉलीवुड में एक सीधी-साधी लडकी के किरदार से अपने करियर का आगाज करने वाली अभिनेत्री कृति सैनन का कहना है कि फिल्म जगत को अभिनेताओं को बहुत जल्द एक छवि में बांधने की आदत है. ‘हीरोपंती’ से अपनी फिल्मी पारी शुरू करने से वर्ष 2015 में आई फिल्म ‘दिलवाले’ और हाल में रिलीज हुई फिल्म ‘राबता’ में नजर आई कृति का कहना है कि उनकी दूसरी फिल्म के बाद ही उन्हें एक छवि में बांध दिया गया. इसे साथ ही अभिनेत्री ने आज रिलीज हो रही अपनी फिल्म ‘बरेली की बर्फी’ में अपने किरदार को लेकर भी कई दिलचस्प खुलासे किये.
उन्होंने कहा, ‘मैंने इससे पहले कभी छोटे शहर की लडकी का किरदार नहीं निभाया. ऐसी बोली सिखना काफी अलग था. मुझे ज्यादा मेकअप नहीं करना पडा, कपडे ऐसे पहने थे जिसमें में आराम से सो सकती थी. मैं अधिक सोती थी क्योंकि मुझे तैयार होने में उनसे (फिल्म के हिरो से) कम समय लगता था. ‘बरेली की बर्फी’ में कृति सैनन, आयुष्मान खुराना और राजकुमार राव मुख्य भूमिका में नजर आयेंगे.
कृति ने कहा, ‘मुझे ऐसा लगता था कि जब मुझे ही नहीं पता की मुझे क्या पसंद है तो आप कैसे यह बता सकते हैं. मुझे लगता है कि लोग आपको बहुत जल्द एक छवि में बांध देते हैं. वे सोचते हैं कि अच्छा इसने कमर्शल किरादर किए हैं तो शायद इसे केवल यही पसंद है या यह सिर्फ यही कर सकती है.’ अभिनेत्री ने कहा कि ऐसे लोगों की तलाश करना जरुरी है जो बतौर अभिनेता आपको निखार पाए और आपकी बडे पर्दे की छवि से आपको परखे न.
कृति ने कहा, ‘लोगों को छवि में बांधना, जहां आप बस यह सोचें कि वह सिर्फ वहीं कर सकते हैं जो उन्होंने अभी तक किया है. आपको बस आपके दिल की सुननी चाहिए और जो मन करें वह करना चाहिए, अपने आपको उस छवि में न बंधने दें. इसलिए उस इंसान की खोज करना आवश्यक है कि जो आपके अंदर के अभिनेता को पहचान पाए.’ अभिनेत्री की आने वाली फिल्म ‘बरेली की बर्फी’ है जिसका निर्देशन अश्विनी अय्यर तिवारी ने किया है. यह एक रोमांटिक-कॉमेडी फिल्म है, जिसमें कृति एक छोटे शहर की लडकी का किरदार निभा रही हैं.