जन्‍मदिन: जावेद अख्‍तर की पहली शादी के दौरान जब मां ने कह दी थी ये बड़ी बात

भारतीय सिनेमा को ‘शोले’, ‘जंजीर’ और ‘अंदाज’ जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्में देने वाले जावेद आज अपना 74वां जन्‍मदिन मना रहे हैं. उनके कलमबद्ध किये गये गीतों की खनक आज भी लोगों के दिलों में बसती है. जावेद का जन्म 17 जनवरी 1945 को हुआ था. जावेद के पिता जान निसार अख्तर हिंदी सिनेमा के गीतकार थे […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 17, 2019 9:37 AM

भारतीय सिनेमा को ‘शोले’, ‘जंजीर’ और ‘अंदाज’ जैसी ब्लॉकबस्टर फिल्में देने वाले जावेद आज अपना 74वां जन्‍मदिन मना रहे हैं. उनके कलमबद्ध किये गये गीतों की खनक आज भी लोगों के दिलों में बसती है. जावेद का जन्म 17 जनवरी 1945 को हुआ था. जावेद के पिता जान निसार अख्तर हिंदी सिनेमा के गीतकार थे और उनकी मां सैफिया अख्तर गायिका-लेखिका थीं.

जावेद अख्‍तर ऐसे परिवार से ताल्‍लुक रखते थे जहां हर कोई शब्‍दों से खेलता था. ऐसे में उनकी लेखक बनना तो जैसे पहले से तय था. उन्‍हें बचपन से कविताएं और गीत लिखने का शौक था. हिंदी फिल्म जगत में उन्हें काम पाने के लिए काफी स्ट्रगल करना पड़ा, लेकिन आज वे इस इंडस्‍ट्री की जानीमानी शख्‍सियत है. जावेद अख्‍तर अपनी निजी जिंदगी को लेकर भी सुर्खियों में रहे.

जावेद अख्‍तर और हनी ईरानी की पहली मुलाकात

जावेद अख्‍तर और हनी ईरानी की पहली मुलाकात फिल्‍म ‘सीता और गीता’ के सेट पर हुई थी. इस फिल्‍म में हनी सर्पोटिंग रोल प्‍ले कर रही थी. दोनों एक दूसरे की तरह आ‍कर्षित हो रहे थे. एक इंटरव्‍यू में हनी ने कहा था, एक बार ताश खेलते हुए जावेद हार रहे थे. मैंने जावेद से कहा था लाओ मैं तुम्‍हारे लिए कार्ड निकालती हूं. तब जावेद ने कहा अगर पत्‍ता अच्‍छा निकला तो मैं तुमसे शादी कर लूंगा. खुशकिस्‍मती से पत्‍ता अच्‍छा निकला. जावेद ने हनी से कहा चलो शादी कर लेते हैं. हनी उस वक्‍त सिर्फ 17 साल की थी और उनसे 10 साल बड़े थे. उस समय जावेद के पास अपना घर नहीं था. जावेद ने अपने दोस्‍त सलीम खान से मदद मांगी और हनी की मां से बात करने के लिए कहा. जब सलीम ने हनी की मां से बात की तो उन्‍होंने कहा,’ ठीक है दोनों को शादी करने दा, जब हनी को ठोकर लगेगी तो खुद घर लौट आयेगी.’ इसके कुछ महीनों बाद ही जावेद ने हनी से शादी कर ली और दोनों हनी की बहन के घर पर एक कमरे में रहने लगे. दोनों की शादीशुदा जिंदगी अच्‍छे से बीत रही थी और जावेद हनी को बेहद लकी भी मानते थे. लेकिन हनी की जिंदगी में एक तूफान इंतजार कर रहा था.

शबाना आजमी के आगे हार गये जावेद

1970 में जावेद का दिल कैफी आजमी की बेटी और फेमस एक्ट्रेस शबाना आजमी पर आ गया. शबाना भी जावेद अख्‍तर से प्‍यार कर बैठीं. हालांकि वे जानती थीं कि वे पहले से शादीशुदा हैं और उनके दो बच्‍चे भी थे. ऐसे में दोनों का एक होना नामुमकिन था. लेकिन जावेद अख्‍तर शबाना आजमी से शादी करने का फैसला कर चुके थे. जावेद अख्‍तर उनसे शादी करने के सपने बुनने लगे थे. जब शबाना ने अपने परिवारवालों से जावेद संग शादी करने की बात रखी तो घरवालों ने इस शादी से साफ इनकार कर दिया क्‍योंकि जावेद पहले से शादीशुदा थे. शबाना भी अपने परिवार के खिलाफ नहीं जाना चाहती थीं लेकिन जैसे ही जावेद ने तलाक लिया वे शादी के लिए तैयार हो गईं. 6 साल के अफेयर के बाद जावेद और शबाना ने साल 1984 में शादी कर ली.

यहां देखें वीडियो :

हनी-जावेद का रिश्‍ता टूटा

वहीं जब हनी को शबाना और उनके रिश्‍ते के बारे में पता चला तो अक्‍सर जावेद और उनके बीच झगड़े होने लगे. जावेद अपने दोनों बच्‍चों से बेहद प्‍यार करते थे, इसलिए वे हनी को छोड़ना नहीं चाहते थे. लेकिन हनी ने उनसे कहा कि वे दोनों बच्‍चों की चिंता न करें और शबाना के पास चलें जायें. इसके बाद हनी ने जावेद से तलाक ले लिया. हनी और जावेद के दो बच्‍चे हैं बेटा फरहान अख्‍तर और बेटी जोया अख्‍तर. खास बात यह भी है कि जावेद अख्‍तर और हनी ईरानी का ए‍क ही दिन जन्‍मदिन होता है.

सलीम-जावेद का अलगाव

जावेद अख्तर का जन्म ग्वालियर में 17 जनवरी साल 1945 को हुआ था. उनके पिता जान निसार अख्तर प्रसिद्ध प्रगतिशील कवि और माता सफिया अख्तर मशहूर उर्दु लेखिका तथा शिक्षिका थीं. जावेद अख्तर ने अपने करियर की शुरुआत ‘सरहदी लूटेरा’ से की थी. इस फिल्म में सलीम खान ने छोटी-सी भूमिका भी अदा की थी. इसके बाद सलीम-जावेद की जोड़ी ने मिलकर हिंदी सिनेमा के लिए कई सुपरहिट फिल्मों की कई कहानियों लिखीं. इस जोड़ी ने साल 1971-1982 तक करीब 24 फिल्मों में साथ काम किया जिसमें ‘शोले’, ‘सीता और गीता’, हाथी मेरा साथी, ‘यादों की बारात’, ‘दीवार’ जैसी फिल्में शामिल हैं. उनकी 24 फिल्मों में से करीब 20 फ़िल्में ब्लॉक-बस्टर साबित हुई थी. लेकिन साल 1987 की फिल्म ‘मिस्टर इंडिया’ के बाद सलीम-जावेद की सुपरहिट जोड़ी टूट गई. इसके बाद भी जावेद ने फिल्मों के लिए संवाद लिखने का काम जारी रखा.

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