VIDEO: ”उड़ता पंजाब” को लेकर सेंसर बोर्ड पर भड़के अनुराग कश्यप, जानें क्या कहा ?
मुंबई : फिल्म ‘उडता पंजाब’ को लेकर जारी सेंसरशिप की तुलना फिल्म के निर्माता अनुराग कश्यप ने उत्तर कोरिया के तानाशाहीपूर्ण शासन से की है. गौरतलब है कि सेंसर बोर्ड ने इस फिल्म में पंजाब के संदर्भ को लेकर कथित रुप से आपत्तियां जताई हैं जिसके बाद फिल्म में कुछ बदलाव हो सकता है. कश्यप […]
मुंबई : फिल्म ‘उडता पंजाब’ को लेकर जारी सेंसरशिप की तुलना फिल्म के निर्माता अनुराग कश्यप ने उत्तर कोरिया के तानाशाहीपूर्ण शासन से की है. गौरतलब है कि सेंसर बोर्ड ने इस फिल्म में पंजाब के संदर्भ को लेकर कथित रुप से आपत्तियां जताई हैं जिसके बाद फिल्म में कुछ बदलाव हो सकता है.
कश्यप ने ट्विटर पर एक पोस्ट में कहा है ‘मुझे हमेशा आश्चर्य होता था कि उत्तर कोरिया में रहने पर कैसा महसूस होगा. अब तो प्लेन पकडने की भी जरुरत नहीं है.’
I always wondered what it felt like to live in North Korea .. Ab to plane pakadney ki bhi zaroorat nahin..
— Anurag Kashyap (@anuragkashyap72) June 6, 2016
पंजाब राज्य में मादक पदार्थों के सेवन और युवाओं पर इसके पडने वाले इसके दुष्प्रभाव पर बनी ‘उडता पंजाब’ में शाहिद कपूर, करीना कपूर खान, आलिया भट और दिलजीत दोसांझ ने मुख्य भूमिका निभाई है.
There is no film more honest than UDTA PUNJAB .. And any person or party opposing it is actually GUILTY of promoting drugs
— Anurag Kashyap (@anuragkashyap72) June 6, 2016
कश्यप ने कहा ‘‘उडता पंजाब’ से अधिक ईमानदार और कोई फिल्म नहीं है और इसका विरोध करने वाला व्यक्ति या पार्टी वास्तव में ड्रग्स को बढावा देने का दोषी है.’ अभिषेक चौबे के निर्देशन में बनी यह फिल्म 17 जून को रिलीज होने जा रही है.
कश्यप ने राजनीतिक दलों से अनुरोध किया है कि वे सेंसरशिप की उनकी लडाई से दूर रहें. उन्होंने कहा ‘मैं कांग्रेस, आप और अन्य राजनीतिक दलों से अनुरोध करता हूं कि वे मेरी लडाई से दूर रहें. यह मेरे अधिकारों और सेंसरशिप की लडाई है. अपनी ओर से सिर्फ मैं बोलता हूं.’
सेंसरशिप की तलवार का अक्सर सामना करने वाले, ‘गैंग्स ऑफ वसेपुर’ के निर्माता ने कहा कि उनकी लडाई सेंसरशिप के खिलाफ नहीं है. उन्होंने कहा कि उनकी लडाई उस तानाशाह व्यक्ति के साथ है जो यह सोच कर सेंसर बोर्ड में काम कर रहा है कि यह उसका उत्तर कोरिया है.
कश्यप ने कहा ‘बाकी सब आप अपनी लडाई लडें. मैं अपनी लडाई लडूंगा. इसलिए कृपया मेरी लडाई को किसी राजनीतिक जुडाव के साथ कोई रंग न दें क्योंकि यहां कोई नहीं है.’