Janta Curfew पर ये ट्वीट कर बुरे फंसे अमिताभ बच्‍चन, ट्रोल हुए तो कर दिया डिलीट

Amitabh Bachchan deletes controversial : महानायक अमिताभ बच्चन की उनकी एक ट्वीट के लिए काफी आलोचना हो रही है. बच्चन ने अपने इस ट्वीट में दावा किया था कि रविवार को जनता कर्फ्यू के दौरान ताली और शंख बजाने से होने वाले कंपन से कोरोना वायरस का प्रभाव कम हो जाएगा या नष्ट हो जाएगा क्योंकि यह ‘अमावस्या' का दिन है.

By Budhmani Minj | March 24, 2020 10:34 AM

मुंबई : महानायक अमिताभ बच्चन की उनकी एक ट्वीट के लिए काफी आलोचना हो रही है. बच्चन ने अपने इस ट्वीट में दावा किया था कि रविवार को जनता कर्फ्यू के दौरान ताली और शंख बजाने से होने वाले कंपन से कोरोना वायरस का प्रभाव कम हो जाएगा या नष्ट हो जाएगा क्योंकि यह ‘अमावस्या’ का दिन है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वैश्विक स्वास्थ्य संकट के दौरान जरूरी सेवाएं मुहैया कराने वालों का आभार जताने के लिए ताली बजाने या थाली बजाने की अपील की थी. इसकी गलत व्याख्या करते हुए कई फेक न्यूज आई थीं. इसी कड़ी में बच्चन का ट्वीट आया था.

77 साल के अभिनेता ने अपने इस ट्वीट को अब डिलीट कर दिया है. इस में उन्होंने कहा था कि एक राय दी गई कि 22 मार्च को शाम पांच बजे ‘अमावस्या’ के दिन वायरस बैक्टीरिया की बुरी ताकतें अपने चरम पर होती हैं. शंख बजाने से होने वाले कंपन से वायरस का प्रभाव कम हो जाता है या नष्ट हो जाता है, क्योंकि चांद नए ‘नक्षत्र’ रेवती की ओर जाता है.

Janta curfew पर ये ट्वीट कर बुरे फंसे अमिताभ बच्‍चन, ट्रोल हुए तो कर दिया डिलीट 2

बच्चन ने अपना यह ट्वीट अपनी फोटो के साथ पोस्ट किया था और इसके साथ तीन प्रश्नवाचक चिन्ह लगाए थे. इस वजह से कई लोगों को हैरानी हुई कि क्या अभिनेता अपनी राय साझा कर रहे हैं या सोशल मीडिया पर चल रहे मत पर सवाल कर रहे हैं.

बहरहाल, सोशल मीडिया का इस्तेमाल करने वालों ने गैर तथ्यात्मक बात पोस्ट करने के लिए उनकी आलोचना की. सबसे पहले, गीतकार वरूण ग्रोवर ने बच्चन की आलोचना की और कहा कि इस मुश्किल वक्त में अभिनेता को और जिम्मेदार होना चाहिए.

उन्‍होंने लिखा,’ इतनी बड़ी पहुंच वाले व्यक्ति से में ऐसा अंधविश्वास. हमने अपने कई सेलेब्स को बेशर्मी की हद पार करते देखा है लेकिन यह खतरनाक है. हमारे लोगों का जीवन दांव पर है और ऐसे में आपको अधिक जिम्मेदार होने की जरूरत है.’

एक और यूजर ने ट्वीट किया,’ आप जैसे लोग को हेल्थकेयर का बजट बढ़ाने और मेडिकल स्टाफ के लिए बेहतर बनाने के लिए ट्वीट करते हैं. दुख की बात है कि हम इस तरह से अनावश्यक बकवास करते हैं जिसका कोई मतलब नहीं है.’

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