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Exclusive: ओटीटी मेरे वक़्त होता तो शायद एक्टिंग नहीं छोड़ती- भैरवी रायचुरा

अभिनेत्री से निर्मात्री बनी भैरवी रायचुरा की नयी वेब सीरीज आधा इश्क़ ने हाल ही में ओटीटी में दस्तक दी है. इस वेब सीरीज के साथ उन्होंने बतौर निर्मात्री इंडस्ट्री में अपने दस साल भी पूरे कर लिए हैं.

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 18, 2022 9:59 PM
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अभिनेत्री से निर्मात्री बनी भैरवी रायचुरा की नयी वेब सीरीज आधा इश्क़ ने हाल ही में ओटीटी में दस्तक दी है. इस वेब सीरीज के साथ उन्होंने बतौर निर्मात्री इंडस्ट्री में अपने दस साल भी पूरे कर लिए हैं. इंडस्ट्री में दस साल की जर्नी, चुनौतियों और एक्टिंग पर उर्मिला कोरी की हुई बातचीत…

निर्माता के तौर पर आपने एक दशक इंडस्ट्री में पूरे कर लिए हैं 2012 में आपका पहला शो टीवी पर छल शय और मात रिलीज हुआ था?

निर्माता से पहले मैं एक्टर थी तो मुझे प्रोडक्शन के बारे में उतना नहीं मालूम था. नमिता मेहरा जो प्रोड्यूसर और डायरेक्टर दोनों हैं.उनका बहुत साथ रहा.उन्होंने मेरी बहुत मदद की है. टीवी के लोगों ने भी मदद की.हम अभी भी सीख रहे हैं जहां तक बदलाव की बात है तो पहले हम टेलीविज़न कर रहे थे अब टीवी और वेब दोनों कर रहे हैं.दोनों का ग्रामर बहुत अलग है. वेब बहुत ही रियल स्पेस में है.

बतौर प्रोड्यूसर भआपकी शुरुआत टीवी से हुई है ऐसे में टीवी से सीखी हुई क्या चीज़ें ओटीटी के लिए कंटेंट बनाते हुए भूलनी पड़ी?

कुछ चीज़ें भूलनी पड़ी.कुछ याद रखनी पड़ी. टीवी से कम समय में भी काम करके देना सीखा है.जो कई बार वेब में भी काम आया है.

टीवी पर टीआरपी का प्रेशर होता है लेकिन ओटीटी पर नहीं तो यह पहलू क्रिएटिविटी को कितना और बेहतर बनाता है?

हम तक नहीं आता है लेकिन ओटीटी प्लेटफॉर्म्स से जुड़े लोगों को यह तो पता चलता ही है कि कौन सा शो चल रहा है.कौन सा नहीं.प्रतिस्पर्धा हर जगह है.उससे वेब भी अछूता नहीं है. हां टीवी में कुछ एपिसोड्स बनाने के बाद आप ऑन एयर कर देते हैं फिर टीआरपी के अनुसार आप कहानी औऱ किरदार में हेर फेर कर सकते हैं लेकिन वेब में पूरा कंटेंट बनाने के बाद ही आप उसे स्ट्रीम करने के लिए डाल पाते हैं .अगर वो दर्शकों द्वारा पसंद किया जाता है तो उसका अगला सीजन आता है. हां कई बार पहला सीजन इस हुक पर खत्म करते हैं कि अगला सीजन कहानी को कंप्लीट करने के लिए बनाना ही पड़े.

बारिश आपके प्रोडक्शन हाउस की बहुत पॉपुलर सीरीज रही है उसके अगले सीजन को लेकर क्या प्लानिंग है?

बारिश के पहले और दूसरे सीजन में वो कहानी खत्म हो गयी है.अभी फिलहाल हम बारिश का तीसरा सीजन प्लान नहीं कर रहे हैं. अगर करेंगे भी तो नयी कहानी और नयी स्टारकास्ट के साथ.

आप भी अभिनेत्री हैं ,ओटीटी अलग अलग कंटेंट बना रहा है क्या वह आपको प्रेरित करता है फिर से एक्टिंग शुरू करने के लिए?

हां बहुत ज़्यादा लेकिन मैंने बहुत सालों से एक्टिंग नहीं की है. लगभग दस साल हो गए हैं लेकिन अगर कोई रोचक किरदार आफर होता है.जो मुझे मेरे कंफर्ट ज़ोन से बाहर निकाले.मुझे मेहनत करने के लिए मजबूर करे. ये बिल्कुल भी नहीं है कि लीड रोल मिले तो ही करूंगी.छोटा किरदार रहेगा तो चलेगा लेकिन रोचक हो.

आपने हम पांच और बालिका वधु जैसे शोज में यादगार किरदार किए हैं क्या कभी अफसोस होता है कि काश मेरे वक़्त वक़्त में भी ओटीटी होता था?

हां होता है,ओटीटी मेरे वक़्त होता तो शायद मैं एक्टिंग नहीं छोड़ती थी.

आपके प्रोडक्शन हाउस के किसी शो की स्क्रिप्ट पढ़ते हुए ये लगता है कि काश ये किरदार मैं कर पाती थी?

मैं इस बात से इनकार नहीं करूंगी.मेरे साथ कई बार ऐसा होता है. मैं सेट पर क्रिएटिवली भी बहुत जुड़ी रहती हूं तो फिर अपने प्रोडक्शन हाउस की किसी प्रोजेक्ट में मेरा एक्टिंग करना मुश्किल ही रहेगा क्योंकि मैं एक्टिंग पर पूरी तरह ध्यान नहीं दे पाऊंगी.दस चीज़ें मेरे दिमाग में चलती रहेंगी

निर्माता के तौर पर क्या अब आपकी प्राथमिकता पूरी तरह से ओटीटी हो चुका है क्योंकि टीवी एक्सपेरिमेंट नहीं कर रहा है?

हां, टीवी पर हमारे पिछले शो को लगभग पांच साल हो गए हैं .हमारा पिछला शो क्या कसूर अमला का था. वेब नया नया शुरू हुआ था तो उसमें थोड़ा ज़्यादा ध्यान देना पड़ा लेकिन अब हम दोनों करेंगे. जहां तक एक्सपेरिमेंट की बात है तो हर निर्माता दर्शकों को ध्यान में रखकर ही शो बनाता है. कोई अपने घर के लिए शो नहीं बनाता है.जो दर्शकों को पसंद है.वही बनाना पड़ेगा.वैसे मैन जब टीवी के लिए पहला शो बनाया था.वो भी काफी अलग था.आगे भी अलग करेंगे.ज़्यादा एक्सपेरिमेंट के लिए वेब है ही.

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