Sunil Dutt Birth Anniversary: सिनेमा इंडस्ट्री का वह शख्सियत, जो किसी परिचय का मोहताज नहीं है. वह न केवल एक अच्छा एक्टर है, बल्कि इंसान भी बेहतरीन है. हम बात कर रहे हैं, एक ऐसे व्यक्ति की जिसने अपने अभिनय से लोगों का दिल जीत लिया. जी हां, यहां और किसी की नहीं, बल्कि सुनील दत्त की बात हो रही है. आज 6 जून, 2024 को सुनील दत्त की जयंती है. हालांकि, अब वह हम सब के बीच नहीं हैं, लेकिन सिनेमा इंडस्ट्री में उनके योगदान की वजह से वह आज भी दर्शकों के दिलों पर राज करते हैं. ऐसे में आज हम उन्हें याद करते हुए उनकी सबसे ज्यादा पसंद की जाने वाली फिल्मों के बारे के बात करेंगे.
मदर इंडिया
मदर इंडिया साल 1957 में रिलीज हुई थी. इस फिल्म में इंडस्ट्री के जाने-माने कपल नर्गिस दत्त और सुनील दत्त थे. जो फिल्म में मां- बेटे का किरदार निभा रहे हैं. इस फिल्म का निर्देशन महबूब खान ने किया था. यह एक ऐसे फिल्म है, जिसे देखकर आप काफी भावुक हो जाएंगे. इस फिल्म की कहानी एक जमींदार और एक गरीब परिवार के इर्द गिर्द घूमती है. जिसमें जमींदार उस गरीब परिवार का खूब शोषण करता हैं.
पड़ोसन
पड़ोसन साल 1968 में रिलीज हुई थी. फिल्म का निर्देशन ज्योति स्वरूप ने किया है. इस फिल्म की कहानी भोला नाम की एक व्यक्ति की है, जो अपनी पड़ोसन बिंदु के प्यार में पड़ जाता है. लेकिन वह बाद में निराश हो जाता है, जब उसे इस बात की खबर लगती है कि बिंदु को कोई और पसंद है.
मेरा साया
मेरा साया एक थ्रिलर मिस्ट्री फिल्म है, जो साल 1966 में रिलीज हुई थी. इस फिल्म के सुनील दत्त और साधना शिवदासानी मुख्य भूमिका में हैं. इस फिल्म को देखने के बाद एक बात तो पक्की है कि आपकी आंखें नम हो जाएंगी. दरअसल, फिल्म की कहानी एक शादी शुदा जोड़े के इर्द गिर्द घूमती है. जिसमें एक बड़ा वकील, जिसका नाम राकेश है, वह अपने घर लौटता है जब उसे पता चलता है कि उसकी बीवी गीता की तबीयत ठीक नहीं है. और जैसे ही राकेश घर पहुंचता है तब उसकी बीवी जीता उसकी बाहों में अपना दम तोड़ देती है. लेकिन कहानी में ट्विस्ट तब आता है जब पुलिस गीता की हमशक्ल को गिरफ्तार कर लेते हैं.
यादें
यादें साल 1964 में रिलीज हुई थी. इस फिल्म का निर्देशन और अभिनय, दोनों सुनील दत्त ने की है. इस फिल्म की कहानी एक तन्हा व्यक्ति के इर्द-गेट घूमती है जो जब अपने घर लौटता है तो वह खुद को बहुत अकेला पाता है, वह अपने चारों ओर ढूंढता है लेकिन उसे अपनी बीवी और बच्चा नहीं नज़र आते हैं. इस फिल्म में सुनील का एक्सट्रा मैरिटल अफेयर भी रहता है, जिसकी वजह से हर दिन उसकी अपनी बीवी से लड़ाई होती है. बाद में जब वह अकेला रहता है तभी एक औरत और एक परिवार की कीमत समझता है और अपने बीते लम्हों को याद करता है. बता दे की यादें एक ऐसी फिल्म है जिसमें केवल एक ही कलाकार ने एक्टिंग की है. यह फिल्म गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज है.
मुन्ना भाई एमबीबीएस
साल 2003 में रिलीज होने वाली मुन्ना भाई एमबीबीएस सुनील दत्त की आखिरी फिल्म थी, जिसे उन्होंने अपने बेटे के साथ किया था. इस फिल्म की कहानी एक पिता और बेटे की है, जिसमें एक गुंडा बेटा अपने पिता के सपने को पूरा करने के लिए डॉक्टर की पढ़ाई करता है.