महान फुटबॉलर पेले के गृह नगर मिनास गेरेस से लेकर रियो डी जेनेरियो जैसे बड़े शहरों तक इस दिग्गज फुटबॉलर के निधन की खबर पाकर सन्नाटा पसर गया. पेले के गृह नगर में रहने वाले 67 वर्षीय जॉर्ज तवारेस को सुबह चार बजे इस फुटबॉलर के निधन की खबर पता चली. तवारेस जब छोटे थे तो अपने चचेरे भाई के साथ रेडियो पर पेले के बारे में सुनते थे. उनके खेल से ही प्रभावित होकर वह फुटबॉल से जुड़े थे.
तवारेस ने कहा कि पेले एक विरासत छोड़ गये हैं. वह विदेशों में ब्राजील के प्रत्येक नागरिक का प्रतिनिधित्व करते थे. पेले के निधन पर कई लोग रोने लगे. रियो डी जेनेरियो के इपानेमा समुद्र तट पर अपने भतीजे के साथ फुटबॉल खेल रहे पाउलो विनिसियस को जब यह खबर पता चली तो वह अपने आंसू नहीं रोक पाये. मिनास गेरेस में रहने वाली 55 साल की रोसेली ऑगस्टो ने कहा कि पेले ने ब्राजील के लोगों को एक नयी पहचान दी. वह हमारे आदर्श हैं. वह दुनिया के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी थे.
लूसिया कुन्हा पेले के लाखों प्रशंसकों में एक हैं. वह रेडियो पर उनके कारनामों के बारे में सुनती थी और अखबारों में उनके बारे में पढ़ती थी. उन्होंने कहा कि पेले ने बच्चों से लेकर हर उम्र के लोगों को प्रेरित किया. वह हमारे आदर्श थे. उनके शहर में कई जगहों पर शोक सभाएं की गयी. उनके बड़े बड़े श्रद्धांजलि वाले पोस्टर लगाये गये. लोग नम आंखों से उन्हें अंतिम विदाई दे रहे थे. बता दें कि लंबी बीमारी के बाद पेले ने अस्पताल में गुरुवार रात आखिरी सांस ली.
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट किया कि पेले के निधन से खेल की दुनिया में एक अपूरणीय शून्य पैदा हो गया है. एक वैश्विक फुटबॉल सुपरस्टार, उनकी लोकप्रियता सीमाओं को पार कर गयी है. उनका उत्कृष्ट खेल प्रदर्शन और सफलता आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी. उनके परिवार और प्रशंसकों के प्रति संवेदनाएं. भारत के कई शहरों में पेले को श्रद्धांजलि देने के लिए पोस्टर लगाये गये. यहां भी कई प्रशंसक रोते दिखे.