Jharkhand Crime News: झारखंड के गुमला जिले के चैनपुर थाना के बुकमा गांव में अंधविश्वास में वृद्ध दंपती लुंदरा चीक बड़ाइक व फुलमा देवी की हुई हत्या को रोका जा सकता था, परंतु प्रशासन सक्रिय नहीं हुआ. इस कारण दंपती को अपनी जान गंवानी पड़ी. ग्रामीणों के अनुसार शुक्रवार को गांव में पंचायती हुई थी, जिसमें लुंदरा चीक बड़ाइक व रविंद्र चीक बड़ाइक के बीच विवाद को सलटाने की पहल की गयी थी, लेकिन भरी पंचायत में दोनों पक्ष आपस में लड़ने लगे. मारपीट तक हुई. पंचायत में मामला नहीं सलटा, तो ग्रामीणों ने चैनपुर थाना को लिखित आवेदन सौंपा. इसमें लुंदरा व रविंद्र के परिवार के बीच खूनी संघर्ष होने की आशंका जतायी गयी थी. इसी रात दोनों को टांगी से काट डाला.
खून से सनी टांगी लेकर पहुंच गयी थाने
ग्रामीण थाने को आवेदन देकर बेफिक्र हो गये थे. पुलिस भी दूसरे दिन गांव जाकर मामला सलटाने की सोच रखते हुए कार्रवाई नहीं की. इधर, शुक्रवार की रात को ही रविंद्र चीक बड़ाइक की मां सुमित्रा देवी टांगी लेकर लुंदरा चीक बड़ाइक के घर पहुंच गयी. उन्होंने लुंदरा व उसकी पत्नी फुलमा देवी की बेरहमी से टांगी से काटकर हत्या कर दी. सुमित्रा जेठ व जेठानी की हत्या करने के बाद अपने घर पहुंची. उन्होंने लुंदरा व फुलवा की हत्या करने की जानकारी अपने परिजनों को दी. इसके बाद वह खून से सनी टांगी को लेकर चैनपुर थाना पहुंची और सरेंडर कर दिया. इसके बाद पुलिस रात को बुकमा गांव पहुंची और दोनों शवों को कब्जे में लिया.
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समझाने गयी, लेकिन कर दी हत्या
आरोपी सुमित्रा की बेटी सुनैना देवी ने बताया कि उसके घर की एक बच्ची बीमार है. वह ठीक नहीं हो रही है. हर समय बड़बड़ाते रहती है. परिवार को शक था कि लुंदरा व फुलवा ने उसके घर के लोगों पर डायन-बिसाही कर दिया है. जिससे बच्ची बीमार हो गयी और वह ठीक नहीं हो रही है. पूर्व में एक बच्ची की मौत बीमारी से हो चुकी है. अपनी बेटी की बीमारी ठीक नहीं होता देख सुमित्रा आक्रोश में आ गयी. वह लुंदरा व फुलवा को समझाने जा रही है कहकर घर से निकली, परंतु वह लुंदरा के घर जाकर दोनों की हत्या कर दी.
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ग्राम प्रधान के साथ हुई थी धक्का-मुक्की
ग्राम प्रधान जयराम भगत व पूर्व ग्राम प्रधान किशुन भगत ने बताया कि सुबह ही लुंदरा मेरे पास आया और कहा कि सुमित्रा व उसके परिवार वाले मुझे बार-बार जान मारने की धमकी दे रहे हैं. ग्रामसभा कर मामले को सुलझा दें. दोपहर 2.00 बजे घंट बजवा कर सभी ग्रामीणों को एकत्रित किया गया और बैठक की गयी. बैठक में दोनों परिवार को काफी समझाया-बुझाया गया, परंतु सुमित्रा देवी का परिवार व उसका बेटा रविंद्र चीक बड़ाइक काफी उग्र हो गया था. किसी की बात नहीं सुन रहा था. ग्राम सभा में ही लड़ाई झगड़ा करने लगा. लाठी से लुंदरा की पिटाई कर दी. छुड़ाने के क्रम में ग्राम प्रधान के साथ भी धक्का-मुक्की की गयी. इसके बाद दोनों वृद्ध दंपती थाना गये और सूचना देकर गांव लौट गये. इसी रात 9:00 बजे दोनों की हत्या कर दी गयी. आपको बता दें कि लुंदरा व फुलमा के दो बेटे हैं. एक बेटा लोहरदगा में रहता है. दूसरा बेटा बंगाल में काम करता है. सभी बेटियों का विवाह हो चुका है. दोनों दंपती घर में अकेले रहते थे. ग्रामीणों द्वारा मृतक के दोनों बेटों को सूचना दी गयी है.
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रिपोर्ट : दुर्जय पासवान