Jharkhand News (शंकर प्रसाद/उमाकांत शर्मा, हजारीबाग) : झारखंड के हजारीबाग स्थित बानादाग कोल डंप साइडिंग में 6 दिनों से चल रहे महाआंदोलन को पुलिस ने बलपूर्वक रविवार को खत्म करा दिया. कुसुंभा चौक और टीपी-10 के दो स्थानों पर तंबू लगाकर महाधरना पर बैठे लोगों को पुलिस ने खदेड़ा. आंदोलनकारियों द्वारा लगाये गये कैमरा और लेपटॉप को जब्त किया गया. ग्रामीणों के आक्रोश को देखते हुए पुलिस ने आंसू गैस के गोले, पानी के बौछार और लाठीचार्ज किया. इसमें दर्जनों ग्रामीण महिला-पुरुष घायल हो गये. वहीं, पथराव में कई पुलिस पदाधिकारी व जवान भी चोटिल हुए हैं. सरकारी वाहन के शीशे भी टूटे.
इधर, पुलिस कार्रवाई के एक घंटे बाद महाधरना स्थल से पूरे आंदोलनकारी गांव की ओर चले गये. घटनास्थल पर काफी संख्या में पुलिस बल और दंडाधिकारी तैनात है. पूर्व सांसद भुवनेश्वर प्रसाद मेहता, बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद, कांग्रेस नेता जयशंकर पाठक समेत सभी नेताओं ने पुलिस की इस कार्रवाई की निंदा की है. घायल ग्रामीणों से मिलकर घटना की जानकारी ली.
पुलिस- ग्रामीणों के बीच झड़प में कई घायल हुए हैं. इसमें जितनी देवी, मनवा देवी, गीता देवी, गोवर्धन प्रसाद, जिरवा देवी, साबो, मीना देवी, भागी देवी, यमुनी देवी, अनिता देवी, वीणा देवी, लाली देवी, सुनीता देवी, कविलास मसोमात, द्रोपदी देवी, सुरेश यादव, सरयू यादव शामिल है. वहीं, पुलिस पदाधिकारियों में डीएसपी राजीव कुमार, लोहसिंघना थाना प्रभारी अरविंद कुमार, पेलावल इंस्पेक्टर प्रभात कुमार, हवलदार राजेश्वर यादव शामिल है.
Also Read: Jharkhand News : झारखंड में इन 1600 सरकारी स्कूलों के पास चॉक खरीदने के पैसे नहीं, कैसे देंगे क्वालिटी एजुकेशनपुलिसिया कार्रवाई के बाद कुसुंभा गांव में जमे ग्रामीणों ने बताया कि पुलिस ने काफी बरबरतापूर्वक लाठीचार्ज किया. जिससे हमसभी ग्रामीण घायल हो गये. आंदोलन में शामिल सौरभ कुमार, सुबोध कुमार, सनोज कुमार, प्रभु साव, सुरेश साव समेत कई महिला पुरूष को पुलिस हिरासत में ले लिया है. पूरे गांव में दहशत है.
NTPC पंकरी बरवाडीह कोल खनन परियोजना से आनेवाले कोयला के ट्रांसपोटिंग डंप बानादाग में प्रभावित किसान, बेरोजगार संघर्ष समिति के बैनर तले गत 5 अक्तूबर से धरना दिया जा रहा था. संघर्ष समिति 31 सूत्री मांग को पूरा करने को लेकर चार गांव बानादाग, बांका, कटकमदाग व कुसुंभा के ग्रामीण आंदोलन कर रहे थे. आंदोलनकारियों के प्रमुख मांगों में प्रभावित गांव में स्वास्थ्य, शिक्षा, रोजगार और कोल डंप में भागीदारी जैसे मांग शामिल है.
बानादाग रेलवे साइडिंग से हर दिन 6 से 7 रैक कोयला देश के विभिन्न ताप संयंत्रों में जाता था. लेकिन, आंदोलन के कारण कोयला ट्रांसपोटिंग बाधित रहा है.
Also Read: Jharkhand News: सवा दो करोड़ की लागत से बनी सड़क का देखिए हालत, बस 5 महीने में दिखी असली हकीकतइस संबंध में डीसी आदित्य कुमार आनंद ने कहा कि गत 6 दिनों से चला आ रहा आंदोलन समाप्त हो गया है. ट्रांसपोटिंग कार्य चालू करा दिया गया है. वहीं, एसपी मनोज रतन चौथे ने कहा कि ग्रामीणों ने पहले पुलिस पर पथराव किया. इसके जवाब में पुलिस को कार्रवाई करनी पड़ी.
इधर, घटना की सूचना पाकर बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद तुरंत धरनास्थल पर पहुंची और ग्रामीणों और प्रशासन के बीच मध्यस्थता बनाते हुए स्थिति को काबू में किया. पुलिस प्रशासन को धरना प्रदर्शन कर रहे ग्रामीणों पर ज्यादती ना करने और ग्रामीणों को पत्थरबाजी ना करने के लिए समझाया. मामले को शांत कराने के लिए उन्होंने खुद से माइक लेकर शांति बनाने रखने का आह्वान किया. विधायक अंबा प्रसाद द्वारा किये गये गंभीर प्रयास के बाद स्थिति ठीक हुई और धरना स्थल पर शांति बनी.
ग्रामीणों द्वारा अपने हक एवं अधिकार को लेकर लगातार किये जा रहे आंदोलन पर बड़कागांव विधायक अंबा प्रसाद ने कहा कि वे ग्रामीणों के हक और अधिकारों के लिए उनका ढाल बनकर खड़ी हैं. आला अधिकारियों से लगातार पल-पल की जानकारी लेते हुए ग्रामीणों की मांगों को पूर्ण करने के लिए लगातार प्रयासरत हैं. उन्होंने बताया कि ग्रामीणों के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ संबंधित पदाधिकारियों के बीच जल्द बैठक होगी एवं आंदोलनरत ग्रामीणों की मांगों पर सार्थक पहल होगी.
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