Aluminium Foil is Dangerous: आजकल लोग धड़ल्ले से खाना पैक करने के लिए एल्युमिनियम फॉयल (Aluminium foil) का इस्तेमाल तेजी से कर रहे हैं. घर हो या बाहर, स्ट्रीट फूड हो या महंगे रेस्टूरेंट. हर जगह खाना पैकिंग और पार्सल के लिए एल्युमिनियम फॉयल या एल्युमिनियम कंटेनर का यूज किया जा रहा है, लेकिन क्या आपको पता है आप जिस चीज का इस्तेमाल अपने खाना को सुरक्षित और ताजा रखने के लिए कर रहे हैं, वो एल्युमिनियम फॉयल आपके सेहत को कितना नुकसान पहुंचा रहा है. नहीं न तो आज एक नजर इसपर जरूर डालें कि आप कैसे बीमारी को रोजाना न्यौता दे रहे हैं…
एल्युमीनियम फॉयल में प्योर एल्युमिनियम नहीं होते, बल्कि इसमें एलॉय वाले एल्युमिनियम यानी मिक्स मेटल का इस्तेमाल किया जाता है. इसमें 92 से 99% तक एल्युमिनियम हो सकता है. एल्युमिनियम फॉयल बनाने से पहलेइसे पिघलाया जाता है और एक खास तरह की मशीन में एल्युमिनियम फॉयल बनाया जाता है, जिसे रोलिंग मिल कहा जाता है. इस मशीन का प्रेशर 0.01 प्रतिशत तक होता है. जब एल्युमिनियम रोल को 0.00017 से 0.0059 इंच मोटाई तक बन जाता है, तो उसे कोल्ड रोलिंग मिल में डाला जाता है. जिसमें यह ठंडा होता है, जिसके बाद इसे और पतला किया जाता है. इस पर मेटल की एक परत चढ़ाई जाती है, जिससे सख्त एल्युमिनियम पतली नजर आती है.
यदि आप रात के खाने के लिए मछली पका रहे हैं, सब्जियां भून रहे हैं तो संभावना है कि आप अपने भोजन को एल्यूमिनियम पन्नी में लपेटेंगे. आप जो महसूस नहीं कर सकते हैं वह यह है कि कुछ पन्नी आपके भोजन में आ जाएगी – और यह आपके स्वास्थ्य के लिए खराब हो सकती है.
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लोग यह तर्क दे सकते हैं कि अगर हम एल्युमिनियम के बर्तनों में खाना पकाते हैं तो फॉयल हमें कैसे नुकसान पहुंचा सकता है? लेकिन, वे नहीं जानते कि ऐसे बर्तनों से खाना बनाना कोई समस्या नहीं है, इसे एल्युमिनियम फॉयल में रखकर ओवन में रखने में दिक्कत होती है. अक्सर, हम बचे हुए खाने को एल्युमिनियम फॉयल में लंबे समय तक ताजा रखने के लिए स्टोर करते हैं. यदि इसमें नहीं है, तो हम उस कंटेनर के ऊपर पन्नी के एक टुकड़े के साथ भोजन को कवर करते हैं जिसमें भोजन संग्रहीत किया जा रहा है और यह दूसरे दौर के लिए अच्छा है, लेकिन दुर्भाग्य से, इसे इस तरह से स्टोर करना बिल्कुल भी सुरक्षित नहीं है.
एक शोध के अनुसार, “धातु – एल्युमिनियम पन्नी से अलग-अलग उत्तेजक पदार्थों में निकलता है, विशेष रूप से आसुत जल के साथ-साथ अम्लीय और क्षारीय घोल में यह अल्कोहलिक और नमकीन की तुलना में अम्लीय और जलीय घोलों में काफी अधिक पाया गया. इसके अलावा, जब एल्युमिनियम फॉयल को उच्च तापमान की स्थिति में प्रक्षेपित किया जाता है, तो इससे खाद्य पदार्थों में धातु के प्रवास की दर में वृद्धि हो सकती है.
बचे हुए खाने को एल्युमिनियम फॉयल में क्यों नहीं रखना चाहिए, इसका एक और कारण यह है कि यह है कि भोजन में ऑक्सीजन को जाने से रोकने के लिए पर्याप्त काम नहीं करता है. यह भोजन के अंदर बैक्टीरिया को बढ़ने देता है, जो अगले दिन भोजन को खराब कर सकता है और यह उतनी ही जल्दी खराब हो जाएगा, जैसे कि आपने इसे लपेटा ही नहीं हो.
विशेषज्ञ इस बात से सहमत हैं कि एल्युमिनियम फॉयल के बजाय, हम अपने बचे हुए भोजन को स्टोर करने के लिए क्लिंग रैप और ढक्कन का विकल्प चुन सकते हैं और इसे लंबे समय तक ताजा रख सकते हैं. जब हम क्लिंग रैप का उपयोग करते हैं, तो यह भोजन में किसी भी प्रकार की ऑक्सीजन को जाने से रोकता है. तो, यह आपके कटोरे या प्लेट को ढकने का एक बेहतर तरीका है और अगर आपके पास क्लिंग रैप नहीं है, तो ढक्कन वाले कंटेनर का उपयोग करना बेहतर है क्योंकि यह भोजन को बहुत अधिक ऑक्सीजन के संपर्क में आने से भी बचाता है. लेकिन, सुनिश्चित करें कि जब भोजन को किसी कंटेनर में रखा जाए तो वह कमरे के तापमान पर हो और आखिरी विकल्प फ्रीजर में बचे हुए खाने को अलग-अलग बैग और कंटेनर में स्टोर करना है. यह आपके लिए कुछ समय बचाने में भी मदद करेगा.
Disclaimer: हमारी खबरें जनसामान्य के लिए हितकारी हैं. लेकिन दवा या किसी मेडिकल सलाह को डॉक्टर से परामर्श के बाद ही लें.