कोरोना संक्रमण के दौरान बदल रहे मौसम से है डायरिया का खतरा
इस समय मौसम में तेजी से बदलाव हो रहा है. कोरोना संक्रमण के डर के साथ अन्य बीमारियों का भी खतरा समान रूप से हैं. इनमें डायरिया एक गंभीर बीमारी है. छोटी सी लापरवाही डायरिया की समस्या को गंभीर बना देती है. कोरोना संक्रमण को लेकर जब लोग घरों में ही है.
लखीसराय : इस समय मौसम में तेजी से बदलाव हो रहा है. कोरोना संक्रमण के डर के साथ अन्य बीमारियों का भी खतरा समान रूप से हैं. इनमें डायरिया एक गंभीर बीमारी है. छोटी सी लापरवाही डायरिया की समस्या को गंभीर बना देती है. कोरोना संक्रमण को लेकर जब लोग घरों में ही है. और ऐसे में जरूरी है कि आवश्यक सावधानी बरती जाये और दवाईयों का प्रबंधन घर पर कर लिया जाये. ताकि अनावश्यक रूप से परेशान होने से बचा जा सके. डायरिया के मामले अधिकांशत: गर्मियों में बढ़ जाते हैं. यह किसी भी आयुवर्ग व्यक्ति को हो सकता है. थोड़ी सभी भी लापरवाही बरतने पर यह समस्या विशेष तौर पर शारीरिक रूप से कमजोर लोगों जैसे बुजुर्ग व बच्चों में अधिक गंभीर हो जाता है.
डायरिया होने का कारण बैक्ट्रीरिया और वायरस से होने वाला संक्रमण है. प्रदूषित खानपान, बासी भोजन, साबुन से हाथ नहीं धोना, साफ पेयजल का इस्तेमाल नहीं करना आदि डायरिया की वजह हैं. डायरिया होने पर पेट मरोड़ व दर्द के साथ दस्त व उल्टी होती है. कभी कभी मल में खून या म्यूकस भी आने की शिकायत हो सकती है. डायरिया पीड़ित को इस दौरान तेज बुखार, सिरदर्द और हाथ व पेरों में दर्द होता है. चूंकि दस्त के कारण शरीर में पानी की कमी हो जाती है इसलिए मरीज को तरल पदार्थ जरूर दिया जाना चाहिए.
शरीर में पानी की कमी के लक्षणों की ऐसे करें पहचान
गला सूखना व मुंह में सूखापन
कमजोरी और सुस्ती का एहसास.
गाढ़े रंग का पेशाब होना.
बहुत कम पेशाब होना.
प्यास लगना.जब शरीर में पानी की कमी हो निम्न तरीका अपनायें
पर्याप्त मात्रा में पानी पियें.
नारियल पानी पीना लाभप्रद है.
ओआरएस का इस्तेमाल करें.
चिकित्सक की सलाह से आवश्यक दवाई लें.
पानी को उबाल कर ठंडा कर लें और पियें.
अधपके खाद्य पदार्थों, कटे और खुले फलों से परहेज.
फलों व सब्जियों को अच्छी तरह धो कर इस्तेमाल.
Disclaimer: हमारी खबरें जनसामान्य के लिए हितकारी हैं. लेकिन दवा या किसी मेडिकल सलाह को डॉक्टर से परामर्श के बाद ही लें.