Papaya Side Effects: किन लोगों को नहीं खाना चाहिए पपीता, जानें कच्चा और पका पपीता में अंतर
Papaya Side Effects: फल पोषक तत्वों का एक अच्छा स्रोत हैं जो कई स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है. रोजाना एक कटोरी खाने से ऊर्जा शरीर में ऊर्जा बनी रहती है. साथ ही इम्यूनिटी बूस्टर के लिए भी बेहद लाभकारी होते हैं.
Papaya Side Effects: फल पोषक तत्वों का एक अच्छा स्रोत हैं जो कई स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है. रोजाना एक कटोरी खाने से ऊर्जा शरीर में ऊर्जा बनी रहती है. साथ ही इम्यूनिटी बूस्टर के लिए भी बेहद लाभकारी होते हैं. ऐसे में जब फलों की बात हो रही है तो पपीता को कैसे मिस कर सकते हैं. पपीता ही एक ऐसा फल है जिसे किसी भी रूप में खाया जा सकता है. इसमें सभी विटामिन मौजूद होते हैं. आज हम बात करेंगे कि किन लोगों को पपीता से परहेज करना चाहिए-
पपीता कच्चा खाएं या पकापपीता (कारिका पपाया) एक उष्ण कटिबंधीय वृक्ष है. इसका पका हुआ फल सुरक्षित माना जाता है, लेकिन कच्चे पपीते के फल में पपैन होता है. कच्चे पपीते में पपेन नामक रसायन होता है
गर्भावस्था के दौरान कच्चे और आधे पके पपीते से बचना चाहिए क्योंकि इसके रेचक गुणों के कारण यह गर्भाशय के संकुचन का कारण बन सकता है. गर्भावस्था के शुरुआती चरणों में पपीता खाने से बचना बेहतर होता है जब तक कि यह पूरी तरह से पका न हो. जिन महिलाओं का गर्भपात और गर्भपात का पिछला इतिहास रहा है, उन्हें सलाह दी जाती है कि वे पपीते से पूरी तरह परहेज करें, लेकिन पका हुआ फल गर्भावस्था के दौरान कम मात्रा में खाना ठीक है.
2. किडनी की पथरी (Kidney stone)पपीता में भरपूर मात्रा में विटामिन सी मौजूद होते हैं. यह भी दावा किया जाता है कि पपीता रक्त क्रिएटिनिन के स्तर को नियंत्रित करने और मांसपेशियों की ऐंठन को कम करने में मदद करता है. लेकिन कभी-कभी बहुत अधिक अच्छी चीज के अनियोजित परिणाम हो सकते हैं और बहुत अधिक विटामिन सी गुर्दे की पथरी का कारण बन सकता है.
3. लेटेक्स एलर्जी (latex allergy)पपैन, काइमोपपैन, कैरिकेन और क्लास. चिटिनासेस पपीते के सबसे एलर्जेनिक प्रोटीन हैं. यदि आपको लेटेक्स से एलर्जी है, तो पपीता खाने से या पपीता युक्त खाद्य उत्पादों को खाने से बचें. लेटेक्स एलर्जी वाले लोगों को पपीते से भी एलर्जी होने की संभावना होती है.
4. दिल की समस्या (heart problem)ऐसा माना जाता है कि हृदय संबंधी विकार वाले लोगों को पपीते के सेवन से बचना चाहिए. माना जाता है कि मांस में मौजूद पपैन दिल की धड़कन की दर को अनिश्चित तरीके से धीमा कर देता है, संभवतः गंभीर हृदय संबंधी स्थितियों को ट्रिगर करता है. इसलिए यदि आपको पहले से ही हृदय संबंधी कोई समस्या है, तो पपीते का सेवन करने से पहले अपने डॉक्टर से सलाह लें.
5. हाइपोथायरायडिज्म (hypothyroidism)हाइपरथायरायडिज्म एक ऐसी स्थिति है जिसमें शरीर पर्याप्त थायराइड हार्मोन नहीं बनाता है. थायराइड हार्मोन विकास, सेल की मरम्मत और चयापचय को नियंत्रित करने में मदद करते हैं. ह्रदय की तरह, पपीते का भी हाइपोथायरायडिज्म वाले लोगों पर समान प्रभाव पड़ता है. इसलिए हाइपोथायरायडिज्म वाले लोगों को पपीते के सेवन से बचना चाहिए.
Disclaimer: हमारी खबरें जनसामान्य के लिए हितकारी हैं. लेकिन दवा या किसी मेडिकल सलाह को डॉक्टर से परामर्श के बाद ही लें.