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ब्रूस ली की रहस्यमयी मौत से उठा पर्दा, 49 साल बाद सुलझा मामला

ब्रूस ली को दुनिया के सबसे महान फिल्म मार्शल कलाकारों में से एक माना जाता है. 20 जुलाई 1973 को 32 वर्ष की आयु में उनकी अचानक मृत्यु हो गई और उनकी आकस्मिक मृत्यु के रहस्य ने दशकों से सैकड़ों षड्यंत्र सिद्धांतों को जन्म दिया.

By Bimla Kumari | November 22, 2022 8:57 AM

ब्रूस ली को दुनिया के सबसे महान फिल्म मार्शल कलाकारों में से एक माना जाता है. 20 जुलाई 1973 को 32 वर्ष की आयु में उनकी अचानक मृत्यु हो गई और उनकी आकस्मिक मृत्यु के रहस्य ने दशकों से सैकड़ों षड्यंत्र सिद्धांतों को जन्म दिया. रिपोर्ट्स के मुताबिक, ‘फिस्ट ऑफ फ्यूरी’ के अभिनेता ब्रूस ली को सेरेब्रल एडिमा या दिमाग में सूजन पड़ने से पीड़ित थे.

रहस्य से उठा परदा

उनके पोस्र्टमार्टम से पता चला कि उनका मस्तिष्क 1,575 ग्राम (3.5 पाउंड) तक सूज गया था, जो कि 1,400 ग्राम (3 पाउंड) के औसत से काफी ऊपर है. उस समय पोस्टमार्टम में सामने आया था कि ब्रूस की दिमाग की नसें काफी फूल गई थीं, जिससे उनकी मौत हो गई. डाक्टरों का मानना है कि बहुत ज्यादा दर्दनिवारक दवाओं के सेवन के कारण उनकी मौत हो गई, हालांकि वैज्ञानिक तौर पर इस बात को ठोस तरीके से प्रमाणित नहीं किया जा सका. मात्र 32 साल की उम्र में उनकी अचानक मौत के कारण कई तरह के षड्यंत्रों की आशंका भी जताई जा रही.


क्या गैंगस्टर्स ने हत्या कि या…

कुछ लोगों का मानते हैं कि चीन के गैंगस्टर्स ने उनकी हत्या कराई थी, तो कुछ लोग कहते हैं कि उनकी पुरानी प्रेमिका ने उन्हें जहर दे कर उनकी हत्या कर दिया. जबकि ये भी कहा जा रहा था कि लू लगने को भी उनकी मौत हुई थी. उस समय की उपलब्ध जानकारियों के आधार पर अब विज्ञानियों ने फिर से पूरी परिस्थिति का विश्लेषण किया है. क्लीनिकल किडनी जर्नल में इस रिसर्च को प्रकाशित किया गया है. विज्ञानियों का कहना है कि गर्मी का दिन में ब्रूस ली ने काफी मात्रा में पानी पी लिया था.

शरीर में पानी की मात्रा अधिक

उन पर लिखी एक पुस्तक में भी यह बताया गया है कि जिस दिन उनकी मौत हुई, उस दिन वह बार-बार पानी पी रहे थे. वैज्ञानियों ने ये भी बताया कि शरीर में पहुंचने वाले पानी को शोधित करने का काम किडनी करता है, किडनी की मदद से अतिरिक्त पानी मूत्र के रूप में बाहर निकलता है. जिससे शरीर का संतुलन बना रहता है. लेकिन ब्रूस के शरीर में यह संतुलन नहीं बन पा रहा था. इससे वह हाइपोनेट्रेमिया का शिकार हो गए थे. इस स्थिति में कोशिकाओं में सूजन होना शुरू हो जाता है. मस्तिष्क की कोशिकाएं भी इससे अछूता नहीं रहती. अगर कुछ घंटों तक शरीर में पहुंचने वाला पानी किडनी के माध्यम से संतुलित न हो पाए, तो जान चली जाती है.

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