Sawan 2021, Shubh Muhurat, Puja Vidhi, Time, Significance: 24 जुलाई को गुरु पूर्णिमा के साथ आषाढ़ माह की समाप्ति और 25 जुलाई से सावन माह आरंभ हो रहा है. जो कुल 29 दिनों तक यानी 22 अगस्त चलेगा. इस दिन रक्षाबंधन पर्व भी मनाया जाना है. आइए जानते हैं इस माह हर सोमवार कैसे करें भगवान शिव की पूजा…
दरअसल, हिंदू धर्म में सावन माह का विशेष महत्व होता है. इस महीने विधि पूर्वक भगवान शिव की पूजा की जाती है. ऐसी मान्यता है कि इस माह से सृष्टि का संचालन उनके जिम्मे होता जो भी श्रद्धालु विधि-विधान से उनका जलाभिषेक करे उनकी सारी मन्नतें पूर्ण होती है.
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आपको बता दें कि भगवान शिव का दूध बहुत प्रिय होता है. ऐसे में शिवलिंग का रुद्राभिषेक जरूर इससे करें. मनोकामनाएं पूर्ण होंगी.
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उन्हें बेलपत्र, चंदन, भांग, केसर, धतूरा, घी, गंगाजल, शहद, दही, शक्कर, गन्ने का रस, पुष्प आदि भी अर्पित करना इस माह न भूलें.
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उन्हें आक का लाल और सफेद पुष्प करना न भूलें. ऐसा करने से भगवान शिव प्रसन्न होते हैं.
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धार्मिक मान्यताओं के अनुसार महादेव की पूजा में शंख वर्जित होता है.
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उन्हें केतकी और केवड़े का फूल भी नहीं चढ़ाना चाहिए
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यही नहीं उन्हें रोली और कुमकुम भी नहीं अर्पित करना चाहिए. केवल चंदन लगाएं.
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भूल कर भी भोलेनाथ की पूजा में तुलसी दल इस्तेमाल नहीं करें.
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साथ ही साथ अगर शिव जी की पूजा के दौरान नारियल अर्पित कर रहे हैं नारियल का पानी नहीं न चढ़ाएं.
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प्रथम सोमवार (Pehla Somwar): 26 जुलाई, धनिष्ठा नक्षत्र में होगा सावन का पहला सोमवार.
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उपाय: इस दिन भगवान शिव को शक्कर युक्त दूध से अभिषेक करें तथा सायंकाल में शिव-पार्वती का विधिपूर्वक पूजा करें.
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द्वितीय सोमवार (Dusra Somwar): 2 अगस्त, कृत्तिका नक्षत्र में होगा सावन का दूसरा सोमवार.
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उपाय: इस दिन भगवान शिव को अनार के रस से अभिषेक करें.
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तृतीय सोमवार (Tisra Somwar): 9 अगस्त, आश्लेषा नक्षत्र में होगा सावन के तीसरे सोमवार की पूजा.
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उपाय: इस दिन भगवान शिव को दूध से अभिषेक करें. साथ ही साथ उन्हें चंदन का लेप लगाएं.
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चतुर्थ सोमवार (Chautha Somwar): 16 अगस्त, अनुराधा नक्षत्र में होगा सावन का चौथा सोमवार.
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उपाय: इस दिन दूध में शहद मिला कर पीपल के पत्ते के चम्मच से भगवान भोलेनाथा का अभिषेक करें.
Posted By: Sumit Kumar Verma