Most Powerful Shakti peeths: देवी मां के तीन सबसे महत्वपूर्ण पहलुओं के प्रतीक हैं ये शक्तिपीठ
Most Powerful Shakti peeths: देवी आदिशक्ति को समर्पित 51 शक्तिपीठों में से इन तीन शक्तिपीठों का विशेष महत्व है. ये शक्तिपीठ माता के तीन सबसे महत्वपूर्ण पहलू- सृजन, पोषण और संहार के प्रतीक हैं. तो चलिए आज आपको बताते हैं इन शक्तिपीठों के बारे में.
Most Powerful Shakti peeths: भारत में कई ऐसे प्राचीन मंदिर है, जो अपने आध्यात्मिक और धार्मिक महत्व के कारण प्रसिद्ध है. हिंदू ग्रंथों के अनुसार, भारत और इसके आसपास के क्षेत्रों में देवी आदि शक्ति को समर्पित 51 शक्तिपीठ हैं. यह शक्तिपीठ हिंदुओं के लिए पूजनीय धार्मिक स्थल है, जो दिव्य स्त्री ऊर्जा का प्रतीक हैं. ये शक्तिपीठ वही स्थान है, जहां माता सती के अंग गिरे थे.
इन सभी शक्तिपीठों में तीन शक्तिपीठों को ज्यादा शक्तिशाली बताया गया है. चूंकि, ये तीन शक्तिपीठ देवी मां के तीन सबसे महत्वपूर्ण पहलुओं – सृजन (कामरूपा देवी, असम), पोषण (मंगला गौरी देवी, गया) और संहार (देवी महाकाली, उज्जैन) के प्रतीक हैं. ये शक्तिपीठ हिंदू धर्म का महत्वपूर्ण अंग है, जिन्हें जीवन में एक बार जरूर एक्सप्लोर करना चाहिए.
Also Read: Bihar Tourism: इस प्राचीन मंदिर में करें परोपकार की देवी मंगला गौरी की आराधना
मां कामाख्या मंदिर, असम
असम के गुवाहाटी में नीलाचल पहाड़ी पर स्थित कामाख्या मंदिर स्त्री शक्ति और दैवीय ऊर्जा को दर्शाती है. यह विश्व प्रसिद्ध मंदिर कामरूपा देवी को समर्पित है, जिन्हें सृजन का प्रतीक माना जाता है. मां कामाख्या मंदिर को सबसे प्राचीन और शक्तिशाली शक्तिपीठों में से एक माना जाता है. अपनी तंत्र साधना के लिए प्रसिद्ध मां कामाख्या मंदिर में माता सती की योनि गिरी थी. इस मंदिर के गर्भ में मूर्ति के स्थान पर योनि के आकार की एक चट्टान है. भक्त इसी चट्टान की पूजा कर माता का आशीर्वाद प्राप्त करते हैं. कामाख्या मंदिर में लगने वाला वार्षिक अंबुबाची मेला विश्व भर में भक्तों को आकर्षित करता है.
Also Read: Sawan 2024: उज्जैन पहुंचे तो जरूर करें इन मंदिरों कर दर्शन
मंगला गौरी मंदिर, गया
बिहार के गया जिले में स्थित मंगला गौरी मंदिर देवी सर्वमंगला को समर्पित शक्तिपीठ है. मां सर्वमंगला को मंगला गौरी के नाम से भी जाना जाता है, जो पोषण प्रकृति का प्रतिनिधित्व करती हैं. यही कारण है इस शक्तिपीठ का नाम मंगला गौरी मंदिर है. पिंडदान के लिए विश्व प्रसिद्ध गया में स्थित मंगला गौरी मंदिर में देवी सती का स्तन गिरा था. मंगला गौरी मंदिर हिंदू धर्म के पवित्र स्थलों में एक है.
अवंतिका शक्तिपीठ, उज्जैन
मध्य प्रदेश के उज्जैन में स्थित अवंतिका शक्तिपीठ देवी महाकाली को समर्पित हिंदू मंदिर है. शिव पुराण के अनुसार इस स्थान पर माता सती का ऊपरी होंठ गिरा था. यह मंदिर सबसे शक्तिशाली शक्तिपीठों में से एक है, जो देवी के विनाशकारी शक्ति का प्रतिनिधित्व करती है. इस मंदिर में देवी काली के सबसे उग्र रूप की पूजा की जाती है, जो धर्म की रक्षा और बुराई के विनाश का प्रतीक है.
Also Read: Maa Kamakhya Temple: चमत्कारिक गुणों से भरा है असम का कामाख्या मंदिर, जानिए क्यों है रहस्यमय
Also Read: आंखों की रोशनी कमजोर हो गई हो या कोई और दिक्कत, मुंगेर आइए…चंडिका मां सब दुख हर लेंगी
जरूर देखें: