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हड्डियां टूटने का खतरा होगा कम
मेनोपॉज के बाद महिलाओं में फ्रैक्चर आम समस्या है. इससे उनकी आत्मनिर्भरता कम हो जाती है, शारीरिक क्षमता सीमित हो जाती है और मृत्यु दर भी बढ़ जाता है. ऐसे में अमेरिका के बफेलो स्कूल ऑफ हेल्थ द्वारा की गयी एक स्टडी महिलाओं के लिए बेहद उपयोगी है. इस स्टडी में फिजिकल एक्टिविटी और मेनोपॉज […]
मेनोपॉज के बाद महिलाओं में फ्रैक्चर आम समस्या है. इससे उनकी आत्मनिर्भरता कम हो जाती है, शारीरिक क्षमता सीमित हो जाती है और मृत्यु दर भी बढ़ जाता है. ऐसे में अमेरिका के बफेलो स्कूल ऑफ हेल्थ द्वारा की गयी एक स्टडी महिलाओं के लिए बेहद उपयोगी है.
इस स्टडी में फिजिकल एक्टिविटी और मेनोपॉज के बाद महिलाओं में होने वाले फ्रैक्चर का संबंध देखा गया. इस स्टडी में 77 हजार महिलाओं को शामिल किया था. 14 सालों तक इनकी निगरानी के बाद पाया गया कि जो महिलाएं फिजिकली एक्टिव थीं या घर में काम करती थीं, उनमें हिप फ्रैक्चर का खतरा 18 प्रतिशत तक कम था. वहीं, टोटल फ्रैक्चर का खतरा 6 प्रतिशत कम था. रिसर्च से पता चलता है कि फिजिकल एक्सरसाइज के कई फायदों में से एक फ्रैक्चर का कम खतरा होना भी है.
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