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अकेलेपन से पाए ऐसे छुटकारा

अपने अकेलेपन से कैसे लड़ते हैं आप? रिसर्च कहती है, अकेलेपन में जीने वाले लोग अन्य लोगों की तुलना में अजीब होते हैं. इनका व्यवहार हमेशा नकारात्मकता से भरा होता है. इनका सामाजिक सरोकार न के बराबर हो जाता है क्योंकि यह लोग दोस्तों और अजनबियों में अंतर नहीं कर पाते. उन्हें सभी विश्वासघाती नजर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 26, 2015 2:13 AM
अपने अकेलेपन से कैसे लड़ते हैं आप? रिसर्च कहती है, अकेलेपन में जीने वाले लोग अन्य लोगों की तुलना में अजीब होते हैं. इनका व्यवहार हमेशा नकारात्मकता से भरा होता है. इनका सामाजिक सरोकार न के बराबर हो जाता है क्योंकि यह लोग दोस्तों और अजनबियों में अंतर नहीं कर पाते. उन्हें सभी विश्वासघाती नजर आते हैं.
शिकागो यूनिवर्सिटी की टीम के शोध अनुसार, अकेलेपन के लिए दिमागी तरंगे अलग-अलग तरह से कार्य करती हैं. टीम का मानना है की अकेले होंने पर दिमाग बिजली की गति से चलता है. तरह-तरह के ख्याल, सोच, बातें दिमाग को परेशान करती रहती हैं जो पल-पल बदलती रहती हैं.
वाल स्ट्रीट जर्नल में छपी एक रिपोर्ट के अनुसार, अकेले लोग लगातार सामाज के प्रति अस्वीकृति बनाए रखते हैं.
कोर्टेक्स पत्रिका में छपे पहले शोध में 38 बिलकुल अकेले और 32 आंशिक अकेले लोगों को शामिल किया गया. शोधकर्ताओं ने इनकी दिमागी तरंगों का अध्ययन किया. सभी से रंगीन अक्षरों में लिखे शब्दों को पहचानने और उसके अर्थ को बताने को कहा गया. इस टेस्ट द्वारा सबकॉन्शस माइंड और उनके दिमागी संतुलन को परखा गया. इसके परिणामों में लोगों के मन में नकारात्मकता को देखा गया.
विज्ञान अकेलेपन से बचने के लिए 4 महत्वपूर्ण उपाय बताता है

1- अपने आपको को आगे रखें. अपना दायरा बढ़ाएं. लोगों से मिलें, उनसे बात करें, मित्रों के बीच समय गुजारें, कोई नया हुनर विकसित करें. कुछ ऐसा करें जो आपको लोगों से जोड़े.

2- योजनाएं बनाइए. प्रतिदिन के हिसाब से कार्यों की एक लिस्ट बना लें और उसे फॉलो करें. लोगों से कैसे मिलना है, कहां जाना है, क्या करना है सभी का एक ब्यौरा बना लें और उसी के अनुसार दिन भर कार्य करें. ये आपको बिजी रखते हुए भी सक्रिय रखेगा.

3- चयन करें. विज्ञान कहता है कि दोस्तों की संख्या न बढ़ा कर उनकी गुणवत्ता को बढाइए यानी दोस्त ज्यादा न हो पर जो भी हों अच्छे हों. दोस्तों का साथ, उनके विचार, उनका व्यवहार इंसानी दिमाग पर गहरा असर छोड़ता है. इसलिए यह जरुरी होता है कि भीड़ न हो लेकिन एक दोस्त ऐसा जरुर हो जो आपको समझे और आपको सही सलाह दे.

4- बेहतर की उम्मीद करें. जब भी किसी से मिलें दिल खोल कर मिलें. ऐसे मिलें कि सामने वाला व्यक्ति आपके व्यवहार को सदैव याद करें. इसी प्रकार से अपनी साख और अपना व्यवहार विकसित करें जिससे लोग आपके साथ उठाना-बैठना पसंद करें और आपको अपनी योजनाओं में शामिल करें.

सबसे जरुरी है कि मन में स्वीकृति बनाए रखें. यही आपको सबसे पहले अकेलेपन से दूर करेगा.

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