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ओवरी हटाने के क्या हैं फायदे और नुकसान

केस स्टडी एक 45 वर्षीय महिला पेट में दर्द की शिकायत के साथ हॉस्पिटल आयी. केस हिस्ट्री लेने पर पता चला कि 10 साल पहले उस महिला को गर्भाशय में ट्यूमर या फाइब्रॉइड हुआ था. उस समय इस समस्या से छुटकारा दिलाने के लिए उसके गर्भाशय को सजर्री से निकाल दिया गया था. उस समय […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 22, 2015 6:04 AM

केस स्टडी

एक 45 वर्षीय महिला पेट में दर्द की शिकायत के साथ हॉस्पिटल आयी. केस हिस्ट्री लेने पर पता चला कि 10 साल पहले उस महिला को गर्भाशय में ट्यूमर या फाइब्रॉइड हुआ था. उस समय इस समस्या से छुटकारा दिलाने के लिए उसके गर्भाशय को सजर्री से निकाल दिया गया था. उस समय उम्र कम होने के कारण उसके अंडाशय को छोड़ दिया गया था. यदि अंडाशय को निकाल दिया जाता, तो उस महिला में कम उम्र में ही मेनोपॉज के लक्षण दिखने लगते. अभी जांच में दर्द का कारण सिस्ट पाया गया.

दोनों तरफ की ओवरी में 5-9 सेमी की रक्त से भरी हुई सिस्ट हो गयी थी. सिस्ट में कैंसर की भी आशंका थी. अत: सीटी स्कैन भी कराया गया. रिपोर्ट में कैंसर की पुष्टि नहीं हुई. पहले उसका उपचार दवा से किया गया. जब इस दवा से राहत नहीं मिली, तब उसे सजर्री की सलाह दी गयी. बाद में सजर्री से सिस्ट व ओवरी को निकाल दिया गया. इस तरह की सजर्री के बाद यदि महिला में मेनोपॉज के लक्षण दिखते हैं, तो हॉर्मोन ट्रीटमेंट भी किया जा सकता है. कैल्शियम सप्लिमेंट लेने की सलाह भी दी जाती है.

कितना जरूरी ओवरी हटाना

अब सवाल यह है कि गर्भाशय निकालते समय ओवरी को निकालें या छोड़ दें.

निकालने से हानि : कोरोनरी हार्ट डिजीज, स्मरण शक्ति ह्रास, पार्किसंस डिजीज, डिप्रेशन, ग्लूकोमा और ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा बढ़ जाता है. ऑस्टियोपोरोसिस के कारण फ्रैर का खतरा होता है. हॉर्मोस की कमी से मेनोपॉज के लक्षण गंभीर हो जाते हैं जैसे-अचानक तेज गरमी लगना, पसीना आना, नींद नहीं आना आदि.

फायदे : ओवरी के कैंसर की आशंका नहीं होती है. सिर्फ गर्भाशय को निकाल देने से भी इसका खतरा 30-40} तक कम हो जाता है. फेलोपियन ट्यूब हटा देने से भी कैंसर का खतरा 25} तक कम हो जाता है.

अत: यदि ओवरी छोड़ भी देते हैं, तो फेलोपियन ट्यूब हटा कर कैंसर के खतरे को कम किया जासकता है.

त्नओवरी छोड़ने से एंडोमेट्रियोसिस से सिस्ट बनने और दर्द का खतरा होता है.

त्नओवरी में दोबारा सिस्ट बनने का खतरा हो सकता है, जिससे दोबारा सजर्री की नौबत आ सकता है. ओवरी में संक्रमण का भी खतरा होता है.

इन बातों का रखें ध्यान

जिन महिलाओं को पहले से ओवरी में कोई रोग नहीं है, कैंसर की फैमिली हिस्ट्री नहीं है ओवरी को छोड़ देना उनके स्वास्थ्य के लिए बेहतर होता है. ओवरी में बननेवाले हॉर्मोन कई वर्षो तक हड्डी, मस्तिष्क, हृदय, नेत्र इत्यादि की सेहत को बनाये रखने में सहायक होते हैं. यदि आप यूटेरस की सजर्री करा रहे हैं, तो डॉक्टर से राय अवश्य लें.

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