बूथ से लेकर टोले मुहल्ले में चप्पे-चप्पे पर सुरक्षा की कड़ी थी व्यवस्था
बेलदौर. सहरौन पुनर्मतदान को शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न कराना प्रशासन के लिए चुनौती बनी हुई थी. लोगों के बीच प्रशासनिक उदासीनता के कारण पनप रही आक्रोश फिर भड़क नहीं जाये
बेलदौर. सहरौन पुनर्मतदान को शांतिपूर्ण माहौल में संपन्न कराना प्रशासन के लिए चुनौती बनी हुई थी. लोगों के बीच प्रशासनिक उदासीनता के कारण पनप रही आक्रोश फिर भड़क नहीं जाये इसके प्रशासन पूरी तरह चौकस थी एवं ग्रामीणों से सकारात्मक वार्ता के बावजूद भी संभावित परिस्थितियों से निबटने के लिए पूरी तरह चौकस थी एवं मध्य विद्यालय सहरौन स्थित मात्र दो मतदान केंद्र पर पुनर्मतदान संपन्न कराने को लेकर भारी संख्या में पुलिस एवं एसएसबी के जवान तैनात किए गए थे तो वहीं डीएम डीडीसी को छोड़ जिला प्रशासन के सभी अधिकारी बूथ पर कैंप किए रहे. वहीं प्रशासन की चाक चौबंद व्यवस्था देख मतदाताओं ने भी भयमुक्त होकर जमकर वोटिंग की, लोगों के बीच होड़ मची थी कि कोई भी मतदाता मतदान करने से छूटे नहीं तो वहीं गांव से पलायन कर परदेश में रह रहे लोगों को मतदान से वंचित रहने का मलाल उनके परिजनों को खल रही थी, मतदाताओं के जैसे पूनर्मतदान में सर्वाधिक मतदान कर एक रिकार्ड कायम करने की होड़ मची हुई थी. वहीं लोगों के बीच इस चुनाव में सर्वाधिक मतदान करना जैसे एक अग्नि परीक्षा बनी हुई थी कि लोग समस्याओं से खिन्न होकर बीते 7 मई को सामान्य मतदान में खिन्न होकर विरोध जताया था, हालांकि हो हंगामा के बीच इवीएम क्षतिग्रस्त होने एवं पत्थरबाजी की घटना पर लोग चिंता भी जता रहे थे एवं विरोध के बीच आक्रोश में स्वत स्फूर्त घटित होने वाली घटना बताते खेद भी जता रहे थे. जबकि मतदान के बाद प्रशासनिक चुप्पी से लोगों को पुलिसिया कार्रवाई का भय भी सता रही है. वहीं एसडीओ सदर एवं डीएसपी सदर से मिले आश्वासन बाद लोग थोड़ी राहत भी महसूस करते नजर आये.
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