Ayushman Bharat Digital Mission: डिजिटल हेल्थकेयर इकोसिस्टम को मजबूत करने में आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन (Ayushman Bharat Digital Mission) अहम भूमिका निभा रहा है. उत्तर प्रदेश इस मामले में देश में अव्वल आया है. उत्तर प्रदेश लोगों को गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं का लाभ पहुंचाने के लिहाज से देश में अन्य राज्यों की तुलना में आयुष्मान भारत डिजिटल मिशन (ABDM) के तहत सबसे अधिक लाभ प्रदान वाला राज्य बन गया है. वहीं जो लोग अभी इसका लाभ नहीं उठा पाए हैं, वह बेहद आसान तरीके से योजना से जुड़ सकते हैं. पूरे प्रदेश में इसके लिए व्यापक अभियान चलाया जा रहा है. ABDM के तहत लोग अपना आयुष्मान भारत स्वास्थ्य खाता (ABHA) नंबर बना सकते हैं, जिससे उनके डिजिटल स्वास्थ्य रिकार्ड को जोड़ा जा सकेगा.
1600 करोड़ के बजट के साथ राष्ट्रीय रोलआउट को मंजूरी
इस वर्ष फरवरी में ABDM को पांच साल के लिए 1,600 करोड़ रुपए के बजट के साथ राष्ट्रीय रोलआउट को मंजूरी दी गई. वहीं उत्तर प्रदेश में आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के लाभार्थियों की संख्या 6.25 करोड़ (62517410) है. योजना के तहत 2.94 करोड़ (29478910) गोल्डन कार्ड जारी किए जा चुके हैं. प्रदेश सरकार के आंकड़ों के मुताबिक योजना के तहत कुल 21.98 लाख (2198420) दावे प्रस्तुत किए गए, जिनमें से 91.02 निपटाए गए. योजना के तहत 3432 सूचीबद्ध अस्पताल हैं. योजना के तहत उत्तर प्रदेश को शानदार प्रदर्शन के मद्देनजर नेशनल हेल्थ अथॉरिटी (NHA) की ओर से सम्मानित किया जाएगा.
तीसरा चरण शुरू, प्रक्रिया को बनाया गया आसान
17 सितंबर से आयुष्मान योजना (Ayushman 3.0) का तीसरा चरण शुरू हो गया है. ऐसे में योजना के दायरे में आने वाले लोगों के लिए इससे जुड़ने का बेहतर मौका है. इस चरण में आयुष्मान कार्ड जारी करने की प्रक्रिया को आसान बनाया गया है. इसके लिए अब बाहर जाने की जरूरत नहीं है. आयुष्मान कार्ड के लिए घर बैठे अपने मोबाइल पर एक ऐप डाउनलोड करें. लाभार्थियों को स्व-पंजीकरण मोड में फिंगरप्रिंट, ओटीपी और आईरिस के अलावा चेहरे-आधारित सत्यापन के विकल्प भी मिलेंगे. आयुष्मान कार्ड बनाने के लिए मोबाइल ऐप का उपयोग करें.
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कार्ड बनाने के लिए मोबाइल ऐप का करें उपयोग
आयुष्मान कार्ड पाने के लिए पहले अपने मोबाइल फोन में ‘आयुष्मान कार्ड ऐप आयुष्मान भारत (PM-JAY)’ डाउनलोड करना होगा. इसके बाद संबंधित व्यक्ति को अपना मोबाइल नंबर दर्ज करके पंजीकरण करना होगा. फिर उसे फिंगर प्रिंट, आईरिस, ओटीपी और चेहरे-आधारित सत्यापन की मदद से रजिस्ट्रेशन करना होगा. इस दौरान कुछ दस्तावेजों को जैसे राशन कार्ड, आधार कार्ड, निवास प्रमाण पत्र और पासपोर्ट साइज फोटो पैन कार्ड अपोड करना होगा. फिर आपके विवरण की जांच की जाएगी. आपका नाम सत्यापन के बाद सरकार द्वारा योजना में दर्ज किया जाएगा. रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया पूरी करने से पहले अपनी योग्यता को फिर से जांच लेना चाहिए.
Ayushman Card की योग्यता
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आप आयुष्मान योजना की योग्यता जांचने के लिए फोन कर सकते हैं आप pmjay.gov.in वेबसाइट पर भी अपनी योग्यता की जांच कर सकते हैं. जानें कि वेबसाइट पर योग्यता की जांच कैसे करें.
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PM-JAY की आधिकारिक वेबसाइट pmjay.gov.in पर सबसे पहले जाएं. होमपेज पर, क्या मैं योग्य हूं?” विकल्प देखें. यह शीर्ष मेनू में दिखाई देगा. प्रश्न चिह्न भी बनने से पहले उस पर क्लिक करें.
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लॉगिन पेज खोलने के लिए इस पर क्लिक करें. आप अपना मोबाइल नंबर दर्ज करेंगे. पास में कैप्चा कोड डालकर ओटीपी बनाएं.
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अपने मोबाइल पर आने वाले ओटीपी को देखें. मोबाइल ओटीपी जांच करने के बाद आपको राज्य चुनना होगा. आपका राज्य चुनें.
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राज्य चुनने के बाद कैटेगरी चुनना होगा. उस श्रेणी को चुनें जिसे आप अपना नाम जांचना चाहते हैं, जबकि कुछ राज्य नाम या परिवार संख्या पर सूची बनाने की अनुमति देते हैं, दूसरे राज्य केवल राशन कार्ड नंबर से जांच की अनुमति देते हैं.
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कुछ राज्य नाम, राशन कार्ड और मोबाइल नंबर से खोज का विकल्प देते हैं. अपने राज्य में उपलब्ध विकल्पों में से किसी एक को आप चुन सकते हैं.
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फिर आपको सर्च करके पता चलेगा कि क्या आप योजना का लाभ उठाने के योग्य हैं या नहीं. आयुष्मान भारत योजना में आपका नाम नहीं है, तो खोज परिणाम बॉक्स में कोई परिणाम नहीं मिलेगा.
PMJAY की मुख्य विशेषताएं
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केंद्र सरकार ने साल 2018 में आयुष्मान भारत योजना (Ayushman bharat yojana) शुरू की थी. अब इस योजना नाम बदलकर प्रधानमंत्री जन-आरोग्य योजना (PMJAY) कर दिया है.
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PM-JAY पीएम जन आरोग्य योजना या आयुष्मान भारत योजना, 5 लाख रुपए तक मुफ्त इलाज देने वाली सरकारी योजना है. सरकार दवा, चिकित्सा आदि का खर्च उठाती है. आयुष्मान कार्ड पात्र व्यक्तियों को दिया जाता है. इसके बाद, कार्डधारक सूचीबद्ध अस्पतालों में निःशुल्क इलाज प्राप्त कर सकते हैं.
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PM-JAY रुपए का कवर प्रदान करता है. भारत में सार्वजनिक और निजी सूचीबद्ध अस्पतालों में माध्यमिक और तृतीयक देखभाल अस्पताल में भर्ती के लिए प्रति परिवार प्रति वर्ष 5 लाख.
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PM-JAY लाभार्थी को अस्पताल में स्वास्थ्य देखभाल सेवाओं तक कैशलेस पहुंच प्रदान करता है.
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PM-JAY अस्पताल में भर्ती होने के खर्च को कम करने में मदद करता है, जो हर साल 6 करोड़ लोगों को गरीबी में धकेलता है. ये भयावह स्वास्थ्य प्रकरणों से उत्पन्न होने वाले वित्तीय जोखिम को कम करने में मदद करता है.
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परिवार के आकार, उम्र या लिंग पर कोई प्रतिबंध नहीं है.
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पहले से मौजूद सभी स्थितियों को पहले दिन से ही कवर किया जाता है.
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योजना के लाभ पूरे देश में पोर्टेबल हैं. यानी लाभार्थी कैशलेस इलाज के लिए किसी भी सूचीबद्ध सार्वजनिक या निजी अस्पताल में जा सकता है.
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सार्वजनिक अस्पतालों को निजी अस्पतालों के बराबर स्वास्थ्य सेवाओं के लिए प्रतिपूर्ति की जाती है.
यूपी को सात करोड़ आयुष्मान कार्ड बनाने का लक्ष्य
प्रदेश के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक के मुताबिक आयुष्मान योजना गरीब के लिए संजीवनी है. जब घर का कोई सदस्य बीमार पड़ता है या गंभीर बीमारी से ग्रसित हो जाता है, ऐसे में यह कार्ड उस परिवार के लिए बहुत लाभकारी साबित होता है. डिप्टी सीएम के मुताबिक आयुष्मान योजना में देश के करोड़ों परिवार लाभांवित हो चुके हैं. जब किसी गरीब के घर में बीमारी आती है, तो सब कुछ छीन कर ले जाती है. ऐसे में यह कार्ड ही उनके लिए उपयोगी साबित होता है. उन्होंने बताया कि उत्तर प्रदेश में अब तक अभी तक तीन करोड़ से अधिक कार्ड बनाए जा चुके हैं. सात करोड़ का लक्ष्य है, जिसके सापेक्ष 49 लाख और परिवारों का कार्ड बनाने के लिए चयन किया गया है. लक्ष्य को जल्द ही पूरा कर लिया जाएगा. उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने बताया कि प्रतिदिन इस योजना से प्राइवेट अस्पताल भी तेजी से जुड़ते जा रहे हैं.