Gayatri Prasad Prajapati Case: चित्रकूट की नाबालिग से गैंगरेप के मामले में गायत्री प्रसाद प्रजापति को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है. शुक्रवार को लखनऊ की एमपीएमएलए कोर्ट ने सुनवाई करते हुए सपा सरकार में मंत्री रह चुके गायत्री प्रजापति को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. इसके पहले गुरुवार को कोर्ट ने गायत्री प्रजापति को नाबालिग से गैंगरेप मामले में दोषी ठहराया था.
यूपी सरकार के पूर्व मंत्री गायत्री प्रसाद प्रजापति के साथ आशीष शुक्ला और अशोक तिवारी को भी आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है. इसके अलावा कोर्ट ने दो लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है. चित्रकूट गैंगरेप मामले में गायत्री प्रसाद प्रजापति को 18 मार्च 2017 में गिरफ्तार किया गया था. आरोपियों को चित्रकूट की महिला और उसकी नाबालिग बेटी के साथ गैंगरेप के आरोप में गिरफ्तार किया गया था.
गायत्री प्रजापति उत्तर प्रदेश सरकार के मंत्री रह चुके हैं. दूसरी तरफ इस मामले में विकास वर्मा, चंद्रपाल, रूपेश, अमरेंद्र सिंह उर्फ पिंटू को कोर्ट ने बरी कर दिया है. इसके पहले गायत्री प्रसाद प्रजापति की तरफ से सुनवाई टालने की मांग की गई थी. इस मामले में गायत्री प्रसाद प्रजापति ने हाईकोर्ट से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक का दरवाजा खटखटाया था. हालांकि, हर तरफ से गायत्री प्रसाद प्रजापति को निराशा हाथ लगी.
इस मामले में जून 2017 में पुलिस ने 824 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की थी. मामला करीब चार सालों तक चला. अभियोजन की तरफ से 17 गवाह पेश किए गए. कोर्ट ने गवाहों और चार्जशीट के आधार पर गायत्री प्रजापति को दोषी करार दिया. मामले में फरवरी 2017 में सुप्रीम कोर्ट ने तल्ख टिप्पणी की थी. इसके बाद लखनऊ के गौतमपल्ली थाने में सपा सरकार में खनन मंत्री रहे गायत्री प्रजापति समेत सात लोगों पर गैंगरेप, जान से मारने की धमकी देने और पॉक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज किया था.