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मंदिरों के पुजारी अब विद्युत अधिकारियों के संपर्क में रहेंगे, कांवड़ियों की सुरक्षा को हुआ खतरा तो जाएगी नौकरी

ऊर्जा मंत्री ने वितरण निगमों के प्रबन्ध निदेशकों से कांवड़ यात्रा की सुरक्षा एवं व्यवस्था की जानकारी ली. मेरठ की प्रबन्ध निदेशक ने बताया कि भावनपुर के राली चौहान में हाईटेंशन लाइन से ज्यादा ऊंची 22 फुट ऊंचा डीजे का ट्रैक्टर टकरा गया, जिससे यह हादसा हुआ. प्रशासन ने 12 फुट की अनुमति दी थी.

लखनऊ.कांवड़ यात्रा में करंट से कांवडियों की मौत की घटना के बाद सरकार ने लापरवाह कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई करने का मन बना लिया है. बिजली कर्मचारियों के काम की लापरवाही से कांवड़ यात्रा में कोई हादसा हुआ तो दोषी अधिकारी- कर्मचारी पर नोटिस जारी करने से लेकर बर्खास्तगी तक की कार्रवाई की जा सकती है. सावन माह में कांवड़ यात्रा को देखते हुए प्रदेश में विद्युत कार्मिक एवं अधिकारियों को एलर्ट मोड पर रखा गया है. मेरठ में हाईटेंशन लाइन से कांवड़ टकराने से 7 कांवड़ियों की मौत हो गई थी. कई झुलस गए थे. जिन जिलों में कांवड़ यात्रा निकल रही है, उनके जिलों के मंदिरों के अलावा प्रदेश के सभी प्रसिद्ध मंदिरों के पुजारी और जिला प्रशासन को विद्युत अधिकारी के सम्पर्क में रहने को कहा गया है. ग्राम प्रधानों, पार्षदों तथा जनप्रतिनिधियों की भी मदद ली जा रही है.

मेरठ हादसा में निगम को मिली क्लीन चिट

प्रदेश के ऊर्जा एवं अतिरिक्त ऊर्जा स्रोत मंत्री एके शर्मा ने शक्ति भवन में वीडियो कांफ्रेन्सिंग के माध्यम से प्रदेश के सभी वितरण निगमों के प्रबन्ध निदेशकों से कांवड़ यात्रा की सुरक्षा एवं व्यवस्था की जानकारी ली है. मंत्री ने कहा है कि सड़कों से कांवड़ यात्रा निकल रही है, उस पर पेट्रोलिंग करके लाइनों एवं खम्भों के निर्धारित मानक को सुनिश्चित करें. सड़क पर कहीं कोई पोल आदि अवरोध है तो उसे जिला प्रशासन की मदद से दूर कराने को कहा.मेरठ में कांवड़ यात्रा में बिजली से हुई दुर्घटना पर मंत्री को रिपोर्ट दी गई है. मेरठ की प्रबन्ध निदेशक ने बताया कि भावनपुर के राली चौहान में हाईटेंशन लाइन से ज्यादा ऊंची 22 फुट ऊंचा डीजे का ट्रैक्टर टकरा गया, जिससे यह हादसा हुआ. प्रशासन ने 12 फुट की अनुमति दी थी. पूरे प्रकरण की जॉच विभिन्न एजेन्सियों से करायी गयी, जिसमें विद्युत विभाग की कोई गलती नहीं पायी गयी. प्रबन्ध निदेशक ने बताया कि कांवड़ यात्रा को देखते हुये विभाग पूरी तरह सजग है. पूरी सावधानी बरती जा रही है. ऐसी घटनायें रोकने के लिए पेट्रोलिंग और भी बढ़ा दी गयी है.

विद्युत निगम ने प्रशासन से मांगी मदद

ऊर्जा मंत्री ने कहा है कि मेरठ हादसा में विद्युत निगम का कोई दोष नहीं है फिर भी दुर्घटना में जान गंवाने वालों को नियमानुसार जो 01 लाख रुपये का भुगतान किया जाना है, वह तत्काल दिया जाए. कांवड़ यात्रा रूट पर स्थानीय अवर अभियन्ता से लेकर उच्चाधिकारी पेट्रोलिंग करके यह सुनिश्चित करें कि जहां कहीं पर भी पोल या ट्रांसफार्मर के आसपास विद्युत करंट उतर तो नहीं रहा. लोगों को पोल, ट्रांसफार्मर से दूर रखने के उपाय भी किये जाएं. करंट उतरने के कारणों की जांच कर उसे ठीक करने का भी प्रयास किया जाय. लाउडस्पीकर एवं प्रचार सामग्री के माध्यम से कांवड़ यात्रियों को भी जागरूक किया जाये कि वे ऐसा कोई कार्य न करें जिससे दुर्घटना की सम्भावना हो. ऊर्जा मंत्री ने कहा कि अभी कांवड़ यात्रा की शुरूआत है इसलिये विभागीय कर्मचारी कांवड़ यात्रा से सम्बन्धित गांवो में लाउडस्पीकर, पोस्टर, पाम्पलेट तथा सम्पर्क करके यह बताएं कि खम्भों एवं लाइनों की ऊॅचाई 19 फिट होती है, इसलिये ज्यादा ऊॅचाई का कोई वाहन, डीजे, कांवड़ या अन्य सामग्री लेकर न चलें. विभागीय अधिकारी जिला प्रशासन को भी पत्र लिखकर यह अवगत करा दें कि डीजे की अनुमति में क्या सावधानी बरतनी है. पोल एवं ट्रांसफार्मरों के आसपास विद्युत करंट उतरने की प्रभावी जांच के लिए आवश्यक उपकरणों की प्रर्याप्त व्यवस्था सुनिश्ति करने के निर्देश दिये.

दुर्घटना पीड़ितों को धनराशि में नहीं होगी देरी

ऊर्जा मंत्री ने कहा कि जहां भी कोई आवश्यक विद्युत सम्बन्धी कार्य कराना हो, उसे प्राथमिकता से कराएं साथ आरडीएसएस योजना के कार्यों में तेजी लायी जाए. चेतावनी दी है कि कांवड़ यात्रा की सुरक्षा में यदि कही कोई लापरवाही पायी गयी तो सख्त कार्यवाई सुनिश्चित की जायेगी. उन्होंने कहा कि इसके पहले भी सचेत किया जा चुका है कि जर्जर तार एवं पोल को बदलें, लटकते तारों एवं झुके हुए पोल को तत्काल ठीक करें तथा हरे पेड़ को छूकर जाने वाले तारों को तत्काल पेड़ के सम्पर्क से हटाने, टहनियों को छांटने के निर्देश दिये गये थे. फिर भी विद्युत दुर्घटनाओं की शिकायतें आ रही हैं जो कि गम्भीर मामला है. लोगों की जानमाल की सुरक्षा के लिए इस व्यवस्था में तत्काल सुधार किया जाए. बरसात में ट्रांसफार्मर और उसकी सुरक्षा में लगी जाली, पोल बाक्स, सपोर्ट केबिल में करंट न उतर रहा हो, इसकी जांच करें और तत्काल ठीक भी किया जाय. कहीं पर भी ऐसी स्थिति बन रही हो तो उसके बारे में लोगों को जागरूक किया जाय कि ऐसे विद्युत उपकरणों से दूर रहें.

इन अफसरों ने दिए सुझाव

उप्र पावर कारपोरेशन अध्यक्ष एम देवराज ने निर्देशित किया कि दुर्घटना पीड़ितों को नियमानुसार मिलने वाली धनराशि तत्काल देना सुनिश्चित किया जाये. बैठक में उप्र पावर कारपोरेशन के प्रबन्ध निदेशक पंकज कुमार सहित अनेक वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे.

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