18.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

अब्बास अंसारी की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई टली, जमीन के फर्जीवाड़े को लेकर एफआईआर है दर्ज

विधायक अब्बास अंसारी की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार को सुनवाई टलने की वजह से कोई निर्णय नहीं हो सका. इस मामले में उसके भाई उमर अंसारी की अग्रिम जमानत याचिका पर सुनवाई से सुप्रीम कोर्ट पहले इनकार कर चुका है. दोनों पर अवैध तरीके से जमीन हथियाने को लेकर मामला दर्ज किया गया है.

Lucknow: माफिया मुख्तार अंसारी के बेटे अब्बास अंसारी की याचिका पर मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में होने की वाली सुनवाई टल गई. अब्बास अंसारी के खिलाफ जमीन के फर्जीवाड़े का मामला दर्ज किया गया है. मंगलवार को इस पर सुनवाई होनी थी, जिसे लेकर सभी की नजरें टिकी हुईं थी. हालांकि सुनवाई टलने की वजह से किसी तरह का निर्णय नहीं हो सका.

कासगंज की जेल में बंद विधायक अब्बास अंसारी ने सुप्रीम कोर्ट में दायर यचिका में अपने खिलाफ दर्ज मुकदमा रद्द करने की मांग की थी. उसके खिलाफ जमीन हथियाने की एफआईआर दर्ज की गई है. इस मामले में अब्बास अंसारी को इलाहाबाद हाई कोर्ट ने पहले निराशा हाथ लगी थी. हाईकोर्ट ने याचिका खारिज कर दी थी.

चित्रकूट से विधायक अब्बास अंसारी को विगत 14 फरवरी को कासगंज जेल में लाया गया था. वह तभी से जेल में हाई सिक्योरिटी बैरक में बंद है. जेल के हाईसिक्योरिटी बैरक में उसकी कड़ी सुरक्षा है. ड्रोन कैमरे व बॉडी वियर कैमरों से अब्बास की निगरानी जारी है. सुप्रीम कोर्ट के रुख से अब्बास अंसारी को बड़ा झटका लगा है.

Also Read: बहराइच: सुहागरात की सेज पर दूल्हा-दुल्हन की हार्ट अटैक से मौत, एक ही चिता पर हुआ अंतिम संस्कार, जानें मामला

राजधानी लखनऊ के जियामऊ में अवैध तरीके से जमीन हथियाने से जुड़े इसी मामले में मुख्तार अंसारी के दूसरे बेटे उमर अंसारी को अग्रिम जमानत देने से सुप्रीम कोर्ट पहले ही इनकार कर चुका है.

अब्बास अंसारी और उमर अंसारी के खिलाफ वर्ष 2020 में लखनऊ के जियामऊ में जबरन जमीन कब्जाने के मामले में हजरतगंज थाने में एफआईआर दर्ज कराई गई थी. आरोप है कि दोनों ने फर्जी दस्तावेज के जरिए जमीन पर कब्जा किया. इसके बाद नगर निगम से निर्माण के लिए हरी झंडी ले ली और इस पर बिल्डिंग बना भी बना डाली.

इसी प्रकरण को लेकर बीते दिनों उमर अंसारी ने सुप्रीम कोर्ट में अग्रिम जमानत के लिए याचिका दायर की थी. हालांकि शीर्ष अदालत ने सुनवाई से इनकार कर दिया. इससे पहले इलाहाबाद हाई कोर्ट से भी उमर को झटका लगा था.

मुख्तार अंसारी के परिवार पर एक के बाद एक शिकंजा कसता जा रहा है. मुख्तार अंसारी को 32 वर्ष पुराने बहुचर्चित अवधेश राय हत्याकांड में सोमवार को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है. वाराणसी में 3 अगस्त 1991 को कांग्रेस नेता अवधेश राय की घर के बाहर सनसीखेज तरीके से गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस मामले में मुख्तार अंसारी को मुख्य आरोपी बनाया गया. लंबी सुनवाई के बाद उसे उम्र कैद की सजा सुनाई गई. इससे पहले अप्रैल में मुख्तार अंसारी को एक अन्य मामले में 10 साल की सजा सुनाई गई थी.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें