Lucknow: प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार ने मादक पदार्थों पर पूरी तरह से अंकुश लगाने के लिए अहम फैसला किया है. इसके लिए राज्य में विशेष अदालतों का गठन किया जाएगा, जिससे एनडीपीएस के मामले के आरोपियों को सख्त सजा दिलाने में मदद मिलेगी.
बताया जा रहा है कि इसके लिए वरिष्ठ अधिकारियों की समिति भी गठित की जाएगी, जो हर मामले की गहराई से समीक्षा करेगी. एडीजी अभियोजन ने सरकार को इस सबंध में प्रस्ताव भेज दिया है, जहां से जल्द हरी झंडी मिल सकती है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बीते दिनों मादक पदार्थों के तस्करों को समाज का दुश्मन बताते हुए इन्हें जड़ से खत्म करने की बात कही थी. उन्होंने कहा कि हमें ड्रग्स के सोर्स की पड़ताल, उसके नेटवर्क की समाप्ति, दोषियों की गिरफ्तारी और नशा करने वालों के पुनर्वास के बहुआयामी प्रयास करने होंगे.
सीएम योगी ने कहा कि प्रदेश में मादक पदार्थों के अवैध निर्माण, खरीद-फरोख्त और ड्रग ट्रैफिकिंग के खिलाफ अभियान को और तेज करने की जरूरत है. पुख्ता इंटेलिजेंस इकट्ठा करें, बेहतर कार्ययोजना तैयार करें और फिर पूरी तैयारी के साथ बड़ी कार्रवाई करें, जो भी व्यक्ति ऐसे असामाजिक कार्य में संलिप्त पाए जाएं, उनके खिलाफ कुर्की सहित कठोरतम कार्रवाई की जाए. ड्रग माफिया के पूरे नेटवर्क के खात्मा किया जाना बेहद जरूरी है.
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प्रदेश में मादक पदार्थों के मामले में प्रभावी अंकुश के लिए विशेष अदालतों का गठन इसी कड़ी का हिस्सा माना जा रहा है. सरकार की इस पहल के धरातल पर उतरने के बाद ड्रग सिंडिकेट पर प्रभावी तरीके से कार्रवाई संभव हो सकेगी.
इस बीच एक सामाजिक पहल के तहत युवाओं को नशे की आदत से दूर रखने के लिए जागरूक किया जाएगा. इसके लिए 12 से 26 जून तक जागरूकता पखवाड़ा में कई कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे. नशे के दुष्प्रभाव से संबंधित नुक्कड़ नाटकों के जरिए युवाओं को इससे दूर रहने के लिए प्रेरित किया जाएगा. इसके साथ ही सभी शिक्षण संस्थानों में छात्रों को नशे से दूर रहने की शपथ दिलाई जाएगी. स्कूल और कॉलेज से सिगरेट, पान, शराब की दुकानों को 500 मीटर दूर करने की मुहिम भी चलाई जाएगी.