महाराष्ट्र में आरक्षण की मांग कर रहे प्रदर्शनकारियों पर जालना जिले में पुलिस के हालिया लाठीचार्ज के विरोध में एक मराठा संगठन ने 11 सितंबर को यहां बंद का आह्वान किया है. संभाजी ब्रिगेड समर्थित सकल मराठा मोर्चा की ओर से आहूत बंद को राज्य में विपक्षी दलों के स्थानीय नेताओं ने समर्थन दे दिया है. शनिवार को विपक्षी दलों की हुई बैठक में, स्थानीय नेताओं ने बंद को अपने समर्थन का ऐलान किया और ठाणे के लोगों से इसमें हिस्सा लेने की अपील की.
बैठक में शरद गुट और शिवसेना यूबीटी के नेता मौजूद
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरद पवार गुट) की नगर इकाई के प्रमुख सुहास देसाई, शिवसेना (यूबीटी) के नगर अध्यक्ष प्रदीप शिंदे, महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के नेता रवींद्र मोरे, अविनाश जाधव, मराठा क्रांति मोर्चा के नगर प्रमुख रमेश अम्ब्रे और कांग्रेस की नगर ईकाई के अध्यक्ष विक्रांत चव्हाण ने बैठक में हिस्सा लिया.
आरक्षण की मांग को लेकर मराठा समुदाय का हिंसक आंदोलन, दर्जन भर पुलिसकर्मी घायल
इस महीने की शुरुआत में, मराठा समुदाय के लिए आरक्षण की मांग को लेकर किये जा रहे आंदोलन ने जालना जिले के अंतरवाली सराटी गांव में हिंसक रूप ले लिया था. इस हिंसा में 40 पुलिसकर्मियों समेत कई लोग घायल हो गए और राज्य परिवहन की 15 से अधिक बसों को फूंक दिया गया. पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए लाठीचार्ज किया था और आंसू गैस के गोले छोड़े थे. आरक्षण की मांग को लेकर भूख हड़ताल पर बैठे एक व्यक्ति को भीड़ ने अधिकारियों को कथित रूप से अस्पताल नहीं ले जाने दिया था.
अनिल देशमुख ने कहा, पुलिसकर्मियों के बजाय आदेश देने वालों पर कार्रवाई होनी चाहिए
महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री अनिल देशमुख ने जालना जिले में प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज करने वाले पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मनोज जरांगे की मांग से शनिवार को असहमति जतायी और कहा कि बल प्रयोग का आदेश देने वाले लोगों को जवाबदेह ठहराना चाहिए. जरांगे मराठा समुदाय के लोगों को सरकारी नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में आरक्षण देने की मांग को लेकर पिछले 12 दिन से अनशन कर रहे हैं.
मराठा समुदाय को आरक्षण के मुद्दे पर आश्वासन नहीं, ठोस कार्रवाई चाहिए : पंकजा मुंडे
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की राष्ट्रीय सचिव पंकजा मुंडे ने कहा कि मराठा समुदाय को आरक्षण के मुद्दे पर महज आश्वासन नहीं, बल्कि ठोस कार्रवाई चाहिए. मुंडे ने इस मुद्दे पर जारी गतिरोध को समाप्त करने के लिए महाराष्ट्र सरकार को प्रदर्शनकारियों से सकारात्मक बातचीत करने का अनुरोध किया. महाराष्ट्र की पूर्व मंत्री पंकजा मुंडे ने अपनी ‘शिवशक्ति परिक्रमा यात्रा’ से इतर संवाददाताओं से यह बात कही. उन्होंने कहा, महाराष्ट्र सरकार मराठा आरक्षण पर कोई निर्णय ले सकती है. उसके पास इस बात की योजना है कि किस समुदाय को कितना आरक्षण दिया जा सकता है. उसे आत्मविश्वास और साहस के साथ प्रदर्शनकारियों के साथ चर्चा करनी चाहिए और मराठा समुदाय को आरक्षण दिलाने के प्रयास करने चाहिए. मुंडे ने कहा, अगर वे 50 प्रतिशत आरक्षण सीमा से ऊपर नहीं जाना चाहते हैं, तो राष्ट्रीय स्तर पर एक बड़ा निर्णय लेना होगा. इस मामले में केंद्र सरकार की समस्याएं अलग हैं. कई राज्यों में उसे इसी तरह की स्थिति का सामना करना पड़ता है.