कोरोना महामारी (Coronavirus Pandemic) का खतरा अभी टला नहीं है. देश के 30 जिलों में अब भी पॉजिटिविटी रेट 10 फीसदी से अधिक हैं. यही वजह है कि हम इस वक्त खुलकर त्योहार नहीं मना सकते. यदि हम इस बार सीमित दायरे में त्योहार मना लें, तो हो सकता है कि अगले साल में हम पूरे हर्षोल्लास और उमंग के साथ अपने त्योहार मना पायेंगे. ये बातें इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के चेयरमैन डॉ बलराम भार्गव (Dr Balram Bhargava) ने कही है.
डॉ भार्गव ने कहा है कि हम भारत में कोरोना की तीसरी लहर (Third Wave of Coronavirus) नहीं चाहते. अभी हम दूसरी लहर के बीच में हैं. अगर हमने अभी थोड़ी-सी भी ढीलाई बरती, तो कई और जिलों में 30 जिलों की तरह पॉजिटिविटी रेट बढ़ जायेगी. ऐसे में तीसरी लहर का खतरा उत्पन्न हो जायेगा और हम ऐसा नहीं चाहते. अक्टूबर, नवंबर और दिसंबर हमारे लिए बेहद अहम हैं.
डॉ भार्गव ने कहा कि हमने तीन महीने संयम बरता, तो अगले साल हम कोरोना को हरा पायेंगे. इसलिए हमारा जोर इस वक्त किसी बूस्टर डोज पर नहीं, बल्कि देश के सभी लोगों को वैक्सीन लगाने पर है. 60 फीसदी लक्ष्य हमने हासिल कर लिया है. भारत की 20 फीसदी आबादी को कोरोना से सुरक्षा का चक्र मिल चुका है. यानी वे वैक्सीन की दोनों डोज ले चुके हैं.
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न्यूज 18 नेटवर्क से बातचीत में डॉ भार्गव ने यह भी बताया है कि भारत में टीकाकरण तेजी से हो रहा है. 94 करोड़ वयस्क (18 साल से अधिक उम्र के लोगों) में से 75 करोड़ से अधिक लोगों को टीका लग चुका है. सरकार का लक्ष्य सबसे पहले इन सभी 94 करोड़ लोगों को वैक्सीन की दोनों डोज देना है. इसके बाद किशोरों (12 से 18 साल तक के बच्चे) के टीकाकरण पर ध्यान केंद्रित किया जायेगा. उन्होंने कहा कि इसके लिए ब्रिटेन का मॉडल भारत अपना सकता है.
डॉ भार्गव ने कहा कि जायडस कैडिला के जायकोव-डी वैक्सीन को ड्रग्स कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (डीजीसीआई) ने आपातकालीन इस्तेमाल की मंजूरी दे दी है. 20 अगस्त को डीजीसीआई ने जायकोव-डी के इस्तेमाल की मंजूरी दी थी. अब किशोरों के टीकाकरण पर जल्द एक रणनीति तैयार होगी और उसके बाद 12 से 18 साल तक की उम्र के लोगों के लिए वैक्सीनेशन का दौर शुरू होगा.
इसके लिए हम ब्रिटेन के मॉडल को अपना सकते हैं. उन्होंने कुछ सप्ताह के लिए उम्र सीमा को घटा दिया. कुछ सप्ताह के लिए 18 से 17 साल और फिर 17 साल से 16 साल के लोगों को कुछ सप्ताह तक टीका दिया गया. हम इस मॉडल को अपना सकते हैं. इस पर सरकार को अभी अंतिम फैसला लेना है.
Posted By: Mithilesh Jha
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