इस्लामाबाद : पाकिस्तान ने गुरुवार को कहा कि वह भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की मां को वीजा देने के भारत के आग्रह पर विचार कर रहा है. जाधव को पाकिस्तान की एक सैन्य अदालत ने कथित जासूसी के मामले में मौत की सजा सुनायी है. भारत ने पाकिस्तान से आग्रह किया था कि जाधव की मां अवंतिका जाधव को उनके बेटे से मुलाकात करने की इजाजत दी जाए.
रेडियो पाकिस्तान के अनुसार पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता नफीस जकरिया ने कहा, ‘पाकिस्तान कुलभूषण जाधव की मां को वीजा जारी करने के भारत के आग्रह पर विचार कर रहा है.’ जकरिया का बयान उस वक्त आया है जब दो दिन पहले विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने कहा था कि उन्होंने पाकिस्तान के प्रधानमंत्री के विदेश मामलों के सलाहकार सरताज अजीज को ‘निजी पत्र ‘ लिखकर कहा है कि अवंतिका के वीजा आदेवन को स्वीकार किया जाए ताकि वह पाकिस्तान जा सकें.
उन्होंने कहा कि अजीज ने उनके पत्र का जवाब नहीं दिया. जकरिया ने कहा कि वीजा देने के लिए अजीज से सिफारिश के लिए कहना ‘राजनयिक नियमों ‘ के विरुद्ध है. उन्होंने आरोप लगाया कि भारत पाकिस्तानी नागरिकों को मेडिकल वीजा को स्वीकृति देने के लिए ‘शर्ते’ थोप रहा है. पाकिस्तान की एक सैन्य अदालत ने गत अप्रैल में जाधव को जासूसी और आतंकवाद के आरोप में मौत की सजा सुनायी थी.
पाकिस्तान का दावा है कि जाधव पिछले साल तीन मार्च को बलूचिस्तान से गिरफ्तार किया गया. बहरहाल, भारत का कहना है कि उसे ईरान से गिरफ्तार किया गया जहां वह नौसेना से सेवानिवृत्त होने के बाद कारोबार के संदर्भ में गया था. पाकिस्तान जाधव तक राजनयिक पहुंच के भारत के आग्रह को 15 से अधिक बार ठुकरा चुका है. भारत ने पाकिस्तान पर वियना कनवेंशन के उल्लंघन का आरोप लगाया था.
भारत ने मई महीने में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय का रुख कर जाधव की फांसी की तामील पर अंतरिम रोक की मांग की जिसे स्वीकार कर लिया गया.
कुलभूषण जाधव की मां को पाकिस्तानी वीजा मामले में प्रगति की जानकारी नहीं : विदेश मंत्रालय
वहीं दूसरी ओर भारत के विदेश मंत्रालय ने कहा कि पाकिस्तान की जेल में बंद भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव को उच्चायोग पहुंच या उनकी मां को पाकिस्तान जाने का वीजा मिलने के मामले में कोई प्रगति नहीं हुई है. पाकिस्तान विदेश मंत्रालय के हवाले से पाक मीडिया की खबर में यह बात सामने आयी है कि कुलभूषण जाधव की मां को पाकिस्तान जाने का वीजा मिल सकता है.
इस बारे में पूछे जाने पर विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता गोपाल बागले ने संवाददाताओं से कहा कि राजनयिक चैनलों के माध्यम से हमारे समक्ष इस बारे में कोई सूचना नहीं आई है. वीजा के बारे में हमें अभी कोई सूचना नहीं मिली है. उन्होंने कहा कि इस बारे में अंतरराष्ट्रीय अदालत में मामला चल रहा है और भारत एवं पाकिस्तान को अपना अपना पक्ष रखने के लिये समय दिया गया है.