25.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

71वें स्वाधीनता दिवस पर बोले प्रधानमंत्री-कश्मीर समस्या का हल गोलियों या गालियों से नहीं, गले लगाकर ही संभव

नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को कहा कि गोलियों या गालियों से कश्मीर मुद्दे का हल नहीं हो सकता और प्रत्येक कश्मीरी को गले लगाकर ही इसका समाधान हो सकता है. 71वें स्वाधीनता दिवस के अवसर पर लालकिले की प्राचीर से राष्ट्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि उनकी सरकार कश्मीर […]

नयी दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को कहा कि गोलियों या गालियों से कश्मीर मुद्दे का हल नहीं हो सकता और प्रत्येक कश्मीरी को गले लगाकर ही इसका समाधान हो सकता है. 71वें स्वाधीनता दिवस के अवसर पर लालकिले की प्राचीर से राष्ट्र को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि उनकी सरकार कश्मीर की खोयी हुई गरिमा और ‘धरती पर स्वर्ग’ का उसका गौरव बहाल करने के लिए प्रतिबद्ध है. उन्होंने चौथी बार लालकिले से अपने संबोधन में कहा, ‘न गाली से समस्या सुलझनेवाली है, न गोली से. समस्या सुलझेगी, हर कश्मीरी को गले लगाने से.’ मोदी ने कहा कि चंद अलगाववादी राज्य में समस्याएं पैदा करने के लिए विभिन्न चालें चलते हैं. उन्होंने दावा किया कि आतंकवाद के प्रति कोई नरमी नहीं बरती जायेगी. उन्होंने दावा किया कि सरकार कश्मीर को फिर से स्वर्ग बनाने के लिए संकल्पबद्ध है. मोदी ने कहा कि जम्मू कश्मीर के लोगों के विकास के सपने को पूरा करने में मदद के लिए जम्मू कश्मीर सरकार ही नहीं, बल्कि पूरा देश उनके साथ है.

धार्मिक आस्था के नाम पर हिंसा बर्दाश्त नहीं

प्रधानमंत्री ने करीब एक घंटे तक चले संबोधन में कहा कि आस्था के नाम पर हिंसा को कतई बर्दाश्त नहीं किया जायेगा. उन्होंने जातिवाद और संप्रदायवाद को देश के लिए ‘जहर’ बताया. प्रधानमंत्री का यह बयान गोरक्षा के नाम पर भीड़ द्वारा लोगों को पीट-पीट कर मार डालने की हाल की घटनाओं के परिप्रेक्ष्य में अहम है. उन्होंने कहा कि देश में आस्था के नाम पर हिंसा को बिल्कुल बर्दाश्त नहीं किया जायेगा. प्रधानमंत्री ने स्वतंत्रता संग्राम के दौरान अंग्रेजों के खिलाफ दिये गये ‘भारत छोड़ो’ नारे की तर्ज पर सामाजिक सौहार्द और शांति को बढ़ावा देने के लिए ‘भारत जोड़ो’ नारा दिया. मोदी ने जातिवाद और संप्रदायिकता को समाज के लिए जहर करार देते हुए कहा कि इस तरह की समस्यायें किसी भी लिहाज से देशहित में नहीं हैं. भारत को महात्मा गांधी और भगवान बुद्ध की धरती बताते हुए उन्होंने कहा कि देश की समावेशी संस्कृति सबको एकसाथ विकास के मार्ग पर ले जाने का संदेश देती है. ऐसे में आस्था के नाम पर हिंसा को स्वीकार नहीं किया जा सकता.

देश हर क्षेत्र में अपनी रक्षा करने में सक्षम

मोदी ने कहा, ‘देश के विभिन्न हिस्सों ने हाल में प्राकृतिक आपदाओं का सामना किया. बच्चों की अस्पताल में मौत हो गयी. पूरा देश उनके साथ है. ‘प्राकृतिक आपदाओं को एक बड़ी चुनौती करार देते हुए उन्होंने कहा कि अच्छी वर्षा देश की समृद्धि में योगदान देती है, जबकि मौसम बदलाव से समस्याएं खड़ी होती हैं. राष्ट्रीय सुरक्षा की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि यह एक प्राथमिकता है तथा देश हर क्षेत्र में अपनी रक्षा करने में सक्षम है. प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत किसी भी मोरचे जल, थल अथवा साइबर आकाश में चुनौतियों का सामना करने में सक्षम है. उन्होंने डोकलाम में चीन के साथ तनातनी की पृष्ठभूमि में यह बात कही.

तीन तलाक के खिलाफ महिलाओं की लड़ाई की सराहना

प्रधानमंत्री ने तीन तलाक की प्रथा के खिलाफ महिलाओं की लड़ाई की सराहना की तथा कहा कि पूरा देश उन्हें यह अधिकार दिलाने के इस प्रयास में उनके साथ है. मोदी ने कहा, ‘मैं उन महिलाओं के प्रति अपना सम्मान व्यक्त करता हूं जिन्हें तीन तलाक के कारण दुखद जीवन जीना पड़ रहा है. उन महिलाओं ने इसके इसके खिलाफ एक आंदोलन चलाया जिसने इस प्रथा के खिलाफ पूरे देश में एक माहौल तैयार कर दिया.’ प्रधानमंत्री ने कहा कि उनके अधिकार दिलाने के लिए पूरा देश इन प्रयासों में उनके साथ है. केंद्र कह चुका है कि वह तीन तलाक की प्रथा के खिलाफ है. यह मामला उच्चतम न्यायालय की संविधान पीठ के समक्ष विचाराधीन है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें