मोदी कैबिनेट में बड़ा फेरबदल संभावित, नीतीश को तीन सीटों का ऑफर, शिवसेना ने रखी बड़ी मांग

नयी दिल्ली : भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह का तमिलनाडु दौरा अचानक रद्दहो गया है. भाजपा सूत्रों ने कहा है कि उनका दिल्ली दौरा रद्द किये जाने का प्रमुख कारण अगले कुछ दिनों में राजधानी में उनकी मौजूदगी की आवश्यकता है. एक वरिष्ठ पार्टी नेता ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अगले […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 22, 2017 11:19 AM

नयी दिल्ली : भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष अमित शाह का तमिलनाडु दौरा अचानक रद्दहो गया है. भाजपा सूत्रों ने कहा है कि उनका दिल्ली दौरा रद्द किये जाने का प्रमुख कारण अगले कुछ दिनों में राजधानी में उनकी मौजूदगी की आवश्यकता है. एक वरिष्ठ पार्टी नेता ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अगले कुछ दिनों में कैबिनेट में फेरबदल कर सकते हैं, इस कारण उनकी मौजूदगी राजधानी में जरूरी है. ध्यान रहे कि कल ही नरेंद्र मोदी व अमित शाह ने भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों व उप मुख्यमंत्रियों से बात की है.

भाजपा अध्यक्ष अमित शाह बीते कई सप्ताह से देश के दौरे पर हैं और इस दौरान अपने व्यस्त कार्यक्रम में कुछ समय निकाल कर वे दिल्ली पहुंचते हैं और संगठन से जुड़े कामकाज को निबटाते हैं. अमित शाह अब प्रधनानमंत्री के प्लान के अनुरूप कार्य प्रदर्शन और आगामी चुनावों के मद्देनजर कैबिनेट का खाका खींच रहे हैं. इस क्रम में उन्होंने कुछ मंत्रियों को बुलाकर बात भी है. ये मंत्री खास कर बिहार के हैं.2019के लोकसभा चुनाव को ध्यान में रख कर इस बार फेरबदल किया जायेगा.कुछ लोगों कोदोबारा संगठनमेंभी भेजा जायेगा.

मोदी कैबिनेट मेंकिसीभी वक्त फेरबदल संभव है, जिसमें नीतीश कुमार की पार्टी जदयू के सदस्यों व अन्नाद्रमुक के सदस्यों को प्रतिनिधित्व देने की चर्चा है. सूत्रों का कहना है कि नीतीश कुमार को भाजपा ने एक कैबिनेट मंत्री और दो राज्य मंत्री बनाने का प्रस्ताव दिया है. नीतीश की पार्टी को केंद्रीय कैबिनेट में जगह मिलने की जगह भाजपा राज्य के कुछ मौजूदा मंत्रियों को कैबिनेट से बाहर भी कर सकती है.

शिवसेना भी केंद्रीय कैबिनेट में संभावित फेरबदल के लिए मोलभाव करने में लगी है. चूंकि वह महाराष्ट्र में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार में साझेदार है, इसलिए उसका मोलभाव दोनों स्तरों पर चल रहा है. सूत्रों का कहना है कि शिवसेना ने कहा है कि या तो उसे महाराष्ट्र में गृह मंत्रालय दे दिया जाये या फिर केंद्रीय कैबिनेट में उसके सदस्यों को शामिल किया जाये. महाराष्ट्र में गृह मंत्रालय अभी राज्य के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के पास ही है.

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