अहमदाबाद : गुजरात के सिविल अस्पताल में शुक्रवार आधी रात से लेकर अब तक 18 नवजात शिशुओं की मौत हो चुकी है. मामले में राज्य सरकार ने मौत के कारणों एवं इसके पहलुओं की जांच के आदेश दिये. मुख्यमंत्री विजय रुपानी ने रविवार को अस्पताल का दौरा किया और मौतों के मामले में कार्रवाई का आश्वासन दिया. घटना के संबंध में रुपानी ने गांधीनगर में स्वास्थ्य विभाग के शीर्ष अधिकारियों के साथ बैठक भी की.
सरकार ने यहां जारी एक विज्ञप्ति में बताया कि 9 बच्चों को दूर दराज के क्षेत्र से लाया गया था और इन बच्चों में वजन कम होने जैसी कई जटिलताएं थीं जबकि कुछ को गंभीर प्राणघातक बीमारियां थीं तथा उनकी हालत गंभीर थी. 9 बच्चों को सिविल अस्पताल में रेफर किया गया था जबकि 9 बच्चे सीधे सिविल अस्पताल पहुंचे थे. 9 बच्चों की मौत शनिवार सुबह 6 बजे से लेकर दोपहर तक के बीच हुई जिससे वहां हड़कंप मच गया.
अंडर वेट थे कई बच्चे
जानकारी के अनुसार नौ नवजात शिशुओं में से पांच को लुणावाडा, सुरेंद्रनगर, माणसा, वीरमगाम, हिम्मतनगर से लाया गया था और इनकी हालत गंभीर थी. जन्म के समय से ही इनका वजन बेहद कम (1.1 किलोग्राम) था और ये बच्चे हायलीन मेम्ब्रेन डिजीज (सांस संबंधी समस्या), सेप्टीसीमिया (रक्त में संक्रमण) और डिसेमिनटेड इंट्रावस्कुलर कोएगुलेशन (खून का थक्का बनने और बहते खून को रोकने की क्षमता को प्रभावित करने वाली अवस्था) जैसी जटिलताओं से ग्रसित थे. इसके अलावा सिविल अस्पताल में जन्मे चार नवजात शिशुओं में जन्म के दौरान से अस्थमा और मेकोनियसम एस्पिरेशन जैसी गंभीर जटिलताएं थीं.
क्या कहा मुख्यमंत्री रुपानी ने
रविवार को अस्पताल का दौरा करने के बाद रुपानी ने संवाददताओं से कहा, अगर सुविधाओं की कमी या डॉक्टरों की लापरवाही के कारण मौतें हुई है तो सरकार कार्रवाई करेगी. हमने नौ मामलों की जांच के आदेश दिये हैं और उसके बाद टिप्पणी कर पाएंगे. स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग की प्रधान सचिव जयंती रवि ने कहा कि कुछ शिशुओं की हालत गंभीर थी और संभवत: दिवाली के कारण डॉक्टरों के छुट्टी पर होने के चलते दूर दराज के इलाकों से इन्हें सिविल अस्पताल लाना पडा था. उन्होंने बताया कि समिति इन मौतों के लिये प्रारंभिक कारणों पर गौर करेगी और संभवत: एक दिन में अपनी रिपोर्ट देगी. उन्होंने कहा कि राज्य का मुख्य अस्पताल होने के कारण सभी जटिल मामलों को यहां भेजा जाता है. यह जाहिर है कि हमारे प्रयासों के बावजूद कई शिशु जीवित नहीं रह पाते.
सिविल अस्पताल में नवजातों की मौत की औसत संख्या प्रतिदिन पांच से छह
सरकार के अनुसार, गर्भवती महिलाओं के कुपोषित होने के कारण गुजरात में अब भी जन्म के दौरान शिशुओं का अत्यधिक कम वजन होना चुनौती बना हुआ है. विज्ञप्ति के अनुसार अहमदाबाद सिविल अस्पताल में नवजातों की मौत की औसत संख्या प्रतिदिन पांच से छह है. इस बीच, विपक्षी दल कांग्रेस के सदस्यों ने बच्चों की मौत को लेकर अस्पताल के अधीक्षक के कार्यालय के बाहर रविवार को प्रदर्शन किया.