त्रिपुरा में भाजपा की सरकार, नगालैंड में सरकार में शामिल होने का न्योता, मेघालय में त्रिशंकु विधानसभा
अगरतला/शिलांग/कोहिमा : तीन पूर्वोत्त्तर राज्यों में विधानसभा चुनाव के नतीजेशनिवार को भाजपा के लिए अच्छी खबर लेकर आये. त्रिपुरा में भगवा रंग लाल सलाम पर भारी पड़ा और भाजपा ने राज्य में 25 साल के वाम शासन को उखाड़कर अकेले दम बहुमत हासिल किया. नगालैंड में भाजपा को सरकार में शामिल होने का न्योता मिला. […]
अगरतला/शिलांग/कोहिमा : तीन पूर्वोत्त्तर राज्यों में विधानसभा चुनाव के नतीजेशनिवार को भाजपा के लिए अच्छी खबर लेकर आये. त्रिपुरा में भगवा रंग लाल सलाम पर भारी पड़ा और भाजपा ने राज्य में 25 साल के वाम शासन को उखाड़कर अकेले दम बहुमत हासिल किया. नगालैंड में भाजपा को सरकार में शामिल होने का न्योता मिला. हालांकि, मेघालय में किसी दल को बहुमत नहीं मिला और वहां चुनाव परिणाम त्रिशंकु विधानसभा के रूप में निकला.
त्रिपुरा में पिछले चुनाव में एक भी सीट जीत पाने में नाकाम रही भाजपा ने इस बार आश्चर्यजनक प्रदर्शन किया और 60 सदस्यीय विधानसभा में 32 सीट जीतकर अपने दम पर ही बहुमत हासिल कर लिया. इसके साथ ही अंतिम समाचार मिलने तक तीन सीटों पर यह आगे चल रही है. तीनों राज्यों में 60-60 सदस्यीय विधानसभा हैं और विभिन्न कारणों से तीनों ही राज्यों में 59-59 सीटों पर मतदान हुआ. भाजपा के गठबंधन सहयोगी इंडीजनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा (आईपीएफटी) ने सात सीटों पर जीत दर्ज की है और एक अन्य सीट पर आगे चल रहा है. त्रिपुरा में लगातार 25 साल तक राज करनेवाली माकपा को शर्मनाक हार का सामना करना पड़ा और वह 11 सीटों पर ही जीत दर्ज कर सकी. पार्टी पांच अन्य सीटों पर आगे चल रही है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाजपा की शानदार जीत पर दिल्ली में पार्टी मुख्यालय में कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए कहा, ‘यह शून्य से शिखर तक की यात्रा है.’ उन्होंने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को पार्टी की विजय यात्रा का ‘शिल्पकार’ करार दिया. वहीं, झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि पूर्वोत्तर में उनकी पार्टी के प्रदर्शन से संकेत गया है कि भाजपा जन-जन की पार्टी बन चुकी है. नगालैंड में भी त्रिशंकु विधानसभा की स्थिति है, क्योंकि किसी भी दल या चुनाव पूर्व गठबंधन के खाते में बहुमत नहीं दिख रहा है. हालांकि, भाजपा को एनपीएफ नेता एवं मुख्यमंत्री टीआर जेलियांग ने नयी सरकार में शामिल होने का न्योता दिया. एनपीएफ 24 सीटों पर जीत के साथ सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरती दिखायी दे रही है और तीन सीटों पर वह आगे चल रही है. चुनाव से ठीक पहले भाजपा एनपीएफ से अलग हो गयी थी और नेफियू रियो की नयी पार्टी एनडीपीपी से हाथ मिला लिया था.
भाजपा ने नौ सीट जीती हैं और दो सीटों पर आगे चल रही है. इसकी गठबंधन सहयोगी ने 11 सीटों पर जीत दर्ज की है और चार अन्य पर आगे चल रही है. परिणाम और रुझान केवल 57 सीटों के उपलब्ध हैं. जेलियांग ने कहा कि एनपीएफ भाजपा नीत नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक एलायंस का लगातार हिस्सा रही है. उन्होंने उम्मीद जतायी कि भगवा दल एनपीएफ के साथ नयी सरकार बनायेगा. उन्होंने कहा, ‘हम गठबंधन से अलग नहीं हुए हैं. मुझे उम्मीद है कि भाजपा हमारी सरकार में शामिल होगी. यदि वह शामिल होती है तो मैं इसका स्वागत करूंगा.’
वहीं, मेघालय में मई 2009 से सत्तारूढ़ कांग्रेस बहुमत हासिल करने में विफल रही, लेकिन 21 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है. शरद पवार की राकांपा ने एक सीट जीती है. मेघालय में भाजपा महज दो सीट हासिल कर पायी है, लेकिन इसकी नॉर्थ ईस्ट डेमोक्रेटिक एलायंस सहयोगी नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) ने 19 सीटों पर जीत दर्ज की है. तेरह सीट जीतनेवाले छोटे दल तथा तीन निर्दलीय सरकार गठन में निर्णायक भूमिका निभायेंगे.
कांग्रेस सरकार के गठन की संभावना तलाशने शिलांग भेजे गये वरिष्ठ कांग्रेस नेता कमलनाथ ने कहा कि सदन में बहुमत साबित करने के लिए पार्टी के पास आवश्यक संख्या में विधायक हैं. उन्होंने शिलांग में कहा, ‘सबसे बड़ी पार्टी होने के नाते राज्यपाल को सरकार बनाने के लिए कांग्रेस को आमंत्रित करना चाहिए. राज्यपाल के कहे जाने पर हम किसी भी समय अपना बहुमत साबित कर देंगे.’ कमलनाथ ने कहा, ‘भाजपा मैदान से बाहर है. हम सुनिश्चित करेंगे कि जनभावना के अनुरूप सरकार बने.’