एससी-एसटी एक्ट पर प्रदर्शन : कई राज्यों में हिंसा, हर अपडेट्स

नयी दिल्ली: अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम को कथित तौर पर शिथिल किए जाने के विरोध में दलित संगठनों के राष्ट्रव्यापी बंद के चलते कई राज्यों में जनजीवन प्रभावित हुआ जबकि कई जगह प्रदर्शन ने हिंसक मोड़ ले लिया. इन घटनाओं मेंदेशभर में 14 लोग मारे गये हैं.सबसे ज्यादा हिंसा मध्यप्रदेश में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 3, 2018 11:29 AM

नयी दिल्ली: अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम को कथित तौर पर शिथिल किए जाने के विरोध में दलित संगठनों के राष्ट्रव्यापी बंद के चलते कई राज्यों में जनजीवन प्रभावित हुआ जबकि कई जगह प्रदर्शन ने हिंसक मोड़ ले लिया. इन घटनाओं मेंदेशभर में 14 लोग मारे गये हैं.सबसे ज्यादा हिंसा मध्यप्रदेश में हुई,जहां सातलोगों की जानगयी. वहीं, उत्तरप्रदेश में तीन लोगों की मौत की सूचना है, जबकि राजस्थान में एक व्यक्ति की मौत हुई है. इस तरह मृतकों की संख्या 14 पहुंच गयी है. हिंसा में कई लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं. इस तरह मृतकों की संख्या 11 तक पहुंच चुकी है.

अकेले मध्य प्रदेश में प्रदर्शनकारियों और सुरक्षाबलों के बीच हुई गोलीबारी में कम-से-कमसात लोगों की मौत हो गयी. उत्तर प्रदेश में तीन और राजस्थान से एक व्यक्ति की मौत की खबर मिली है. देश में कई स्थानों पर कर्फ्यू लागू कर दिया गया और सैकड़ों लोगों को हिरासत में लिया गया. पंजाब में सेना और अर्धसैनिक बलों को तैयार रखा गया था. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों से जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए एहतियाती कदम उठाने और कानून-व्यवस्था बनाये रखने का निर्देश दिया है. मंत्रालय ने मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश में 800 दंगारोधी पुलिसकर्मियों को भेजा. कई राज्यों में परिवहन, मोबाइल और इंटरनेट सेवाओं के साथ कम-से-कम 100 रेलगाड़ियों का परिचालन प्रभावित हुआ.

वहीं, केंद्र ने उच्चतम न्यायालय से एससी/एसटी कानून पर दिये गए अपने हालिया फैसले की समीक्षा करने का आग्रह किया है. मंगलवार को अटर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने सुप्रीम कोर्ट से मामले की आज दोपहर दो बजे सुनवाई का आग्रह किया है. सुप्रीम कोर्ट मामले की खुली अदालत में सुनवाई को राजी हो गया है. सरकार का कहना है कि शीर्ष न्यायालय के फैसले से इस समुदाय के संवैधानिक अधिकारों का हनन होगा. मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, बिहार और पंजाब सहित अन्य स्थानों पर आगजनी, गोलीबारी और तोड़फोड़ की खबरों के बीच कई राज्यों ने बंद के मद्देनजर शैक्षणिक संस्थानों को बंद रखने का आदेश दिया था और संचार एवं रेल समेत परिवहन सेवाएं अस्थायी तौर पर रोक दी थीं.

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