सत्ता के पीछे नहीं भाग रही थी:जयललिता

चेन्नई : केंद्र में सरकार बनाने में क्षेत्रीय क्षत्रपों की बडी भूमिका की गुंजाइश नहीं बचने की स्थिति में अन्नाद्रमुक अध्यक्ष जयललिता ने आज कहा कि तमिलनाडु में 39 सीटों पर जीतने की उनकी इच्छा सत्ता की आकांक्षा से नहीं जन्मी थी बल्कि राज्य की जनता के हाथ मजबूत करने के इरादे से थी. उन्होंने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 16, 2014 10:36 PM

चेन्नई : केंद्र में सरकार बनाने में क्षेत्रीय क्षत्रपों की बडी भूमिका की गुंजाइश नहीं बचने की स्थिति में अन्नाद्रमुक अध्यक्ष जयललिता ने आज कहा कि तमिलनाडु में 39 सीटों पर जीतने की उनकी इच्छा सत्ता की आकांक्षा से नहीं जन्मी थी बल्कि राज्य की जनता के हाथ मजबूत करने के इरादे से थी.

उन्होंने जनता का आभार व्यक्त करते हुए एक बयान में कहा, ‘‘मैंने जनता से मेरे हाथ मजबूत करने का अनुरोध किया था ताकि तमिलनाडु को न्याय और उसके अधिकार दिला सकूं. मैंने पद पाने के अपने स्वार्थसिद्ध मकसद के लिए व्यापक अभियान नहीं चलाया था बल्कि इसका उद्देश्य तमिलनाडु की जनता का कल्याण करना था. ’’ राज्य में 39 सीटों पर शानदार जीत हासिल करने वाले अन्नाद्रमुक लोकसभा में तीसरी सबसे बडी पार्टी बन गयी है. जयललिता ने कांग्रेस और द्रमुक पर निशाना साधते हुए कहा कि वे भ्रष्ट और जनविरोधी हैं.

हालांकि उन्होंने अपने बयान में भाजपा का जिक्र नहीं किया लेकिन आश्वासन दिया कि वह अपने चुनावी घोषणापत्र में किये गये वायदों को अगली सरकार की मदद से पूरा करने का प्रयास करेंगी.

इससे पहले लोकसभा चुनाव में अपनी पार्टी को जबरदस्त जीत की ओर बढाने वाली जयललिता ने पहली प्रतिक्रिया में आज स्वीकार किया कि ऐसे हालात ही नहीं हैं जो केंद्र सरकार में अन्नाद्रमुक की भागीदारी की ओर इशारा करते हों.

लोकसभा चुनाव से पहले अपने लिए और अपनी पार्टी के लिए राष्ट्रीय स्तर पर बडी भूमिका के लिए प्रयासरत जयललिता से संवाददाताओं ने जब पूछा कि क्या अन्नाद्रमुक नई सरकार में शामिल होगी, इस पर उन्होंने कहा, ‘‘अभी ऐसी कोई परिस्थिति नहीं है.’’ उन्होंने कहा कि अन्नाद्रमुक लोकसभा चुनाव में तीसरी सबसे बडी पार्टी के तौर पर उभर रही है और जिम्मेदार राजनीतिक दल के तौर पर काम करेगी.

चुनाव में भाजपा के शानदान प्रदर्शन पर जयललिता ने कहा, ‘‘मैं नई सरकार को शुभकामनाएं देती हूं. मैं नये प्रधानमंत्री को शुभकामनाएं देती हूं. मुङो उम्मीद है कि केंद्र में नई सरकार तमिलनाडु के प्रति मित्रवत भाव रखेगी.’’

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