नयी दिल्ली: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अहमद पटेल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिख कर कहा है कि बुलेट ट्रेन परियोजना के लिए दक्षिणी गुजरात में भूमि अधिग्रहण करने की प्रक्रिया में पुनर्वास और पुनर्स्थापन अधिनियम-2013 के प्रावधानों का पूरी तरह अनुपालन नहीं किया जा रहा है. पटेल ने एक मई को लिखे इस पत्र में यह भी कहा है कि उनका मकसद किसी भी तरह से मुंबई-अहमदाबाद बुलेट ट्रेन परियोजना में अवरोध पैदा करना नहीं है.
वह सिर्फ किसान प्रतिनिधियों द्वारा की गयी शिकायतों से उनको (प्रधानमंत्री को) अवगत कराना चाहते हैं ताकि किसानों के अधिकारों की रक्षा के लिए सरकार जरूरी कदम उठाए. कांग्रेस नेता ने कहा कि मुझे बताया गया है कि नेशनल हाईस्पीड रेल कॉरपोरेशन (एनएचएसआरसी) दक्षिणी गुजरात के जिलों में अधिकारियों के साथ किसानों की जमीन अधिग्रहण करने की प्रक्रिया को अंजाम दे रहा है. किसान प्रतिनिधियों ने शिकायत की है कि ‘भूमि अधिग्रहण में उचित मुआवजा और पारदर्शिता का अधिकार, पुनर्वास और पुनर्स्थापन अधिनियम-2013′ के तहत तय नियमों और प्रक्रियाओं का पालन नहीं किया जा रहा है.
पटेल के अनुसार, किसानों ने यह भी शिकायत की है कि भूमि अधिग्रहण के मकसद से होने वाली बैठकों के बारे में केवल एक दिन पहले सूचित किया जाता है और इन बैठकों को लेकर ज्यादा लोगों को अवगत कराने के लिए प्रचार-प्रसार भी नहीं किया जाता. उन्होंने कहा कि दुर्भाग्यपूर्ण बात यह है कि गुजरात सरकार भी 2013 के कानून के कमजोर संस्करण के तहत इस पूरी प्रक्रिया को अंजाम दे रही है. पटेल ने कहा कि हमारा मकसद इस परियोजना में बाधा पैदा करना नहीं है.
लेकिन बुलेट ट्रेन परियोजना को पूरा करने की प्रक्रिया में हम किसानों के अधिकारों का हनन नहीं कर सकते. मैं उम्मीद करता हूं कि आप इस मामले को देखेंगे और जो जरूरी होगा वो करेंगे.
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