मोदी ने राहुल के PM वाले बयान पर जतायी हैरानी, कहा-देश कभी ऐसे अपरिपक्व और नामदार नेता को स्वीकारेगा?
बंगारपेट/चिकमंगलूर : कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के प्रधानमंत्री बनने की अपनी आकांक्षा सार्वजनिक रूप से जाहिर करने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को उन पर निशाना साधते हुए हैरानी जतायी कि क्या देश कभी ऐसे ‘अपरिपक्व और नामदार’ नेता को इस पद के लिये स्वीकार करेगा? चुनाव प्रचार खत्म होने से महज एक […]
बंगारपेट/चिकमंगलूर : कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के प्रधानमंत्री बनने की अपनी आकांक्षा सार्वजनिक रूप से जाहिर करने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को उन पर निशाना साधते हुए हैरानी जतायी कि क्या देश कभी ऐसे ‘अपरिपक्व और नामदार’ नेता को इस पद के लिये स्वीकार करेगा?
चुनाव प्रचार खत्म होने से महज एक दिन पहले मोदी ने नेहरू-गांधी परिवार पर अपना हमला तेज करते हुए कहा, ‘उन्हें (राहुल गांधी) लगता है कि प्रधानमंत्री की कुर्सी एक परिवार के लिए आरक्षित है और इस पर कोई नहीं बैठ सकता. उन्हें लगता है कि यह एक पैतृक हक है.’ उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेता को अपनी पार्टी, इसकी विरासत, वरिष्ठ नेताओं या देश की परवाह नहीं है. मोदी ने कहा, ‘सुबह से लेकर शाम तक, सोते, जागते, उनके मन में सिर्फ एक चीज रहती है, वह है प्रधानमंत्री की कुर्सी.’ मोदी ने बंगारपेट और चिकमंगलूर में अपनी रैलियों में राहुल पर प्रहार करते हुए यह बात कही. गौरतलब है कि एक दिन पहले ही राहुल ने कहा था कि अगर वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में उनकी पार्टी ‘सबसे बड़ी’ पार्टी के रूप में उभरती है, तो वह प्रधानमंत्री पद स्वीकार करने के लिए तैयार हैं. मोदी ने कहा, ‘ऐसा नामदार जो अपने गठबंधन सहयोगियों में विश्वास नहीं करता, जो कांग्रेस के अंदरूनी लोकतंत्र की परवाह नहीं करता, जिसका अहंकार सातवें आसमान पर पहुंच गया है और वह खुद यह घोषणा कर रहा है कि वह 2019 में प्रधानमंत्री बनेगा. क्या देश कभी ऐसे अपरिपक्व ‘नामदार’ नेता को स्वीकार करेगा?’
उन्होंने कहा, ‘मंगलवार को कर्नाटक और भारत की राजनीति में कुछ हुआ. अचानक एक व्यक्ति आया और उसने घोषणा की कि उसे दूसरों की परवाह नहीं है, जो पहले से ही इस कतार में खड़े हैं. उसे सहयोगियों की भी कोई परवाह नहीं.’ कर्नाटक में अपने चुनाव प्रचार अभियान के आखिरी चरण में मोदी ने कहा, ‘ऐसे कई नेता हैं जो 40 साल से इंतजार कर रहे हैं, लेकिन वह (राहुल) अचानक आये और अपनी दावेदारी रख दी और कहा, मैं ही प्रधानमंत्री बनूंगा.’ कर्नाटक में 12 मई को मतदान होगा. प्रधानमंत्री ने वहां मौजूद जनसमूह से पूछा कि क्या इससे कांग्रेस अध्यक्ष का ‘अहंकार’ नहीं झलकता. उन्होंने यह भी जानना चाहा कि क्या यह कांग्रेस पार्टी में अंदरूनी लोकतंत्र को दर्शाता है?
भाजपा विरोधी मोर्चा बनाने की कोशिशों पर मोदी ने कहा, ‘बड़ी-बड़ी बैठकें हो रही हैं. बड़े-बड़े दिग्गज उन्हें सत्ता से हटाने के लिए बैठकें कर रहे हैं, लेकिन उन सबको अंधेरे में रखते हुए राहुल गांधी ने घोषणा कर दी कि वही प्रधानमंत्री बनेंगे. क्या यह गठबंधन के अंदर ‘अविश्वास’ के स्तर को नहीं दिखाता है?’ सीएजी, सीबीआई, एनआईए, ईडी और आरबीआई जैसी संस्थाओं को गलत बता कर उनका अपमान करने को लेकर भी मोदी ने कांग्रेस पर हमला बोला. उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस सेना और सुरक्षा बलों के बारे में सवाल उठा कर इनका मनोबल तोड़ने की कोशिश कर रही है. मोदी ने कहा कि कांग्रेस ने निर्वाचन आयोग का भी अपमान किया, जबकि अपने कामकाज को लेकर उसका दुनिया भर में सम्मान किया जाता है. उन्होंने कहा, ‘हार दिखनी शुरू होने के बाद उन्होंने निर्वाचन आयोग का अपमान करना शुरू कर दिया. उनके लिए ईवीएम गलत है, कांग्रेस सही है, निर्वाचन आयोग गलत है, कांग्रेस सही है.’
उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने विश्व बैंक और वैश्विक क्रेडिट एजेंसियों पर भी संदेह किया है. उसने यह आरोप लगाया कि मोदी ने इन एजेंसियों को खरीद लिया है. मोदी ने कहा कि कांग्रेस की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी और उनके बेटे राहुल ने नेशनल हेराल्ड मामले में जमानत मिलने के बाद से देश की न्यायपालिका पर हमला शुरू कर दिया. उन्होंने आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री रहते हुए मनमोहन सिंह के कार्यकाल में रिमोट कंट्रोल तत्कालीन कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के पास होता था, जबकि उनके चार साल के शासन में रिमोट कंट्रोल जनता के हाथ में है. उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस संस्कृति, सांप्रदायिकता, जातिवाद, अपराध, भ्रष्टाचार और ठेकेदारी ऐसी छह चीजें हैं, जो कर्नाटक का भविष्य बर्बाद कर रही हैं. मोदी ने भीड़ से कहा कि अब वक्त आ गया है कि कर्नाटक कांग्रेस को ‘अलविदा’ कहे.