ममता की तल्ख टिप्पणी-NRC के कारण बिगड़ सकता है बांग्लादेश से रिश्ता, भाजपा कर रही वोट की राजनीति

नयी दिल्ली : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने असम में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के मसौदे को लेकर बुधवार को भाजपा पर तीखा हमला किया. उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा वोट बैंक की राजनीति कर रही है और आगाह किया कि इस मुद्दे पर बांग्लादेश के साथ भारत का संबंध बिगड़ सकता है. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 1, 2018 5:55 PM

नयी दिल्ली : पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने असम में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) के मसौदे को लेकर बुधवार को भाजपा पर तीखा हमला किया. उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा वोट बैंक की राजनीति कर रही है और आगाह किया कि इस मुद्दे पर बांग्लादेश के साथ भारत का संबंध बिगड़ सकता है.

उन्होंने कहा कि जारी एनआरसी में जिन 40 लाख लोगों के नाम मौजूद नहीं हैं उनमें सिर्फ एक प्रतिशत घुसपैठिये हो सकते हैं, लेकिन घुसपैठिये के नाम पर लोगों को परेशान किया जा रहा है. बनर्जी ने कहा कि उन्होंने असम में अपना प्रतिनिधिमंडल भेजने के लिए सभी विपक्षी दलों से अपील की है. तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ने कहा कि उन्होंने भाजपा के पूर्व नेता यशवंत सिन्हा से भी राज्य का दौरा करने का अनुरोध किया है. उन्होंने कहा कि बांग्लादेश के साथ भारत का बहुत अच्छा संबंध है. संसद के बाहर उन्होंने कहा, एनआरसी के कारण बांग्लादेश के साथ भारत के रिश्ते बिगड़ेंगे. एनआरसी की सूची में जिन 40 लाख लोगों के नाम नहीं हैं उसमें केवल एक प्रतिशत घुसपैठिये हो सकते हैं. लेकिन, भाजपा ऐसे पेश कर रही है कि (एनआरसी में) जिनका नाम नहीं आया है, वे घुसपैठिये हैं.’

उन्होंने मंगलवार को आरोप लगाया था कि लोगों को बांटने के राजनीतिक मकसद से असम में एनआरसी कवायद की गयी और चेताया कि इससे खूनखराबा होगा और देश में गृह युद्ध छिड़ जायेगा. उन्होंने कहा, ‘बांग्लादेश आतंकी देश नहीं है. आजादी के बाद पाकिस्तान से कई लोग गुजरात, राजस्थान, उत्तरप्रदेश, पंजाब आये. बांग्लादेश से भी लोग त्रिपुरा, पश्चिम बंगाल, बिहार और कई राज्यों में आये. वे आतंकवादी या घुसपैठिये नहीं हैं. क्या यह अपराध है कि बांग्लादेश और हमारी मातृभाषा एक है? वे (केंद्र) सोचते हैं कि बांग्ला बोलनेवाला बांग्लदेशी है.’ उन्होंने आरोप लगाया, ‘भाजपा वोट बैंक की राजनीति कर रही है. एनआरसी से पूरी दुनिया पर प्रभाव पड़ेगा. सीमाओं के देखरेख की जिम्मेदारी केंद्र की है. केन्द्रीय बल यह देखते हैं कि कितने घुसपैठिये सीमा पार कर देश के अंदर आते हैं.’ उन्होंने कहा, ‘मैंने सभी विपक्षी दलों से असम में अपने प्रतिनिधिमंडल को भेजने की अपील की है. यशवंत सिन्हा से भी असम जाने का अनुरोध किया है.’

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