नयी दिल्ली : दिल्ली हाईकोर्ट ने आप सरकार को आगाह किया है कि अगर वह इस साल नवंबर के आखिर तक राष्ट्रीय राजधानी में चल रही टैक्सियों को विनियमित करने वाली नीति को अंतिम रूप नहीं देती है, तो उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा सकती है. दिल्ली सरकार ने अदालत को बताया कि वह ‘सिटी टैक्सी स्कीम 2017′ पर अभी विचार कर रही है और नीति को अंतिम रूप देने में उसे अभी और समय लगेगा.
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इसके बाद हाईकोर्ट ने सरकार को चेताया. दिल्ली सरकार ने पिछले साल सितंबर में नियमों को अदालत में रखने के लिए चार सप्ताह के समय की मांग की थी. इस साल 31 जुलाई को उसने इसके लिए दो और माह का समय मांगा था. सरकार के कदम से नाराज हाईकोर्ट की खंडपीठ ने 31 जुलाई के अपने फैसले में 26 नवंबर तक नवीन शहर टैक्सी नीति तथा लाइसेंसिंग एवं एग्रीगेटर्स विनियमन नियम, 2017 को अदालत में पेश करने का निर्देश दिया था.
अदालत अब 26 नवंबर को इस मामले की अगली सुनवाई करेगी. अदालत ने कहा कि अगर तब तक कार्रवाई नहीं होती है, तो हमारे पास कड़ी कार्रवाई के अलावा कोई विकल्प नहीं रह जायेगा. दिल्ली हाईकोर्ट पिछले साल 14 सितंबर की एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी. अदालत ने 12 सितंबर, 2017 को काली पीली टैक्सी के एक चालक द्वारा एक महिला से बलात्कार की घटना का स्वत: संज्ञान लेते हुए इस याचिका पर सुनवाई शुरू की थी.