राहुल गांधी बोले -जेटली बतायें क्या माल्या को भगाने का ‘ऑर्डर” प्रधानमंत्री ने दिया था

नयी दिल्ली : भगोड़े कारोबारी विजय माल्या के वित्त मंत्री अरुण जेटली से मिलने के दावे को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को जेटली पर माल्या के साथ ‘मिलीभगत’ का आरोप लगाया और कहा कि जेटली को यह बताना चाहिए कि यह सब उन्होंने खुद से किया या इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 13, 2018 6:45 PM

नयी दिल्ली : भगोड़े कारोबारी विजय माल्या के वित्त मंत्री अरुण जेटली से मिलने के दावे को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार को जेटली पर माल्या के साथ ‘मिलीभगत’ का आरोप लगाया और कहा कि जेटली को यह बताना चाहिए कि यह सब उन्होंने खुद से किया या इसके लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का ‘ऑर्डर’ आया था.

जेटली के इस्तीफे की मांग दोहराते हुए गांधी ने यह भी दावा किया कि इस मामले में वित्त मंत्री और सरकार झूठ बोल रही है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पीएल पुनिया संसद के केंद्रीय कक्ष में हुई जेटली माल्या की ‘15-20 मिनट’ की मुलाकात के साक्षी हैं और जेटली को देश को बताना चाहिए कि माल्या को भगाने के लिए क्या ‘डील’ हुई थी. गांधी ने संवाददाताओं से कहा, ‘बुधवार को जेटलीजी ने कहा कि विजय माल्या ने उनसे संसद में अनौपचारिक मुलाकात कर ली थी. वह लंबे-लंबे ब्लॉग लिखते हैं, लेकिन किसी ब्लॉग में इस मुलाकात का जिक्र नहीं किया. जेटलीजी ने जो कहा वो झूठ कहा. हमारी पार्टी के नेता पीएल पुनियाजी ने देखा कि दोनों के बीच संसद के केंद्रीय कक्ष में मुलाकात हुई थी.’ उन्होंने कहा, ‘इसमें दो सवाल उठते हैं. पहला सवाल कि वित्त मंत्री भगोड़े से बात करते हैं और वह उनसे लंदन जाने के बारे में बताता है, लेकिन फिर भी वित्त मंत्री ने सीबीआई, ईडी या पुलिस को क्यों सूचित नहीं किया?’ गांधी ने यह भी पूछा, ‘डिटेन नोटिस’ को ‘इन्फॉर्म नोटिस’ में किसने बदलवाया? यह काम वही कर सकता है जो सीबीआई को नियंत्रित करता है. अगर जेटलीजी ने अपने आप किया तो बतायें. अगर, उनको ऊपर से आदेश मिला तो भी वह भी बतायें.’

उन्होंने आरोप लगाया, ‘यह बिल्कुल स्पष्ट मामला है. लंदन भागने से पहले माल्या संसद में वित्त मंत्री से मिलता है और वित्त मंत्री झूठ बोलते हैं. यह पूरी तरह से मिलीभगत है. कोई न कोई डील हुई है. वित्त मंत्री को देश को कारण बताना चाहिए और उनको इस्तीफा देना चाहिए.’ यह पूछे जाने पर कि क्या वह प्रधानमंत्री की भूमिका पर सवाल कर रहे हैं, तो गांधी ने कहा, ‘बिल्कुल. प्रधानमंत्रीजी इस सरकार में सारे फैसले करते हैं. जेटलीजी बतायें कि क्या उन्होंने खुद एक अपराधी को देश से भागने दिया या फिर मोदीजी का ऑर्डर आया था?’

दरअसल, माल्या ने बुधवार को कहा कि वह भारत से रवाना होने से पहले वित्त मंत्री से मिला था. लंदन में वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश होने के लिए पहुंचे माल्या ने संवाददाताओं को बताया कि उसने मंत्री से मुलाकात की थी और बैंकों के साथ मामले का निपटारा करने की पेशकश की थी. उधर, वित्त मंत्री ने माल्या के बयान को झूठा करार देते हुए कहा कि उन्होंने 2014 के बाद उसे कभी मिलने का समय नहीं दिया. जेटली ने कहा कि माल्या राज्यसभा सदस्य के तौर पर हासिल विशेषाधिकार का ‘दुरुपयोग’ करते हुए संसद-भवन के गलियारे में उनके पास आ गया था. कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने बुधवार को माल्या के दावे को ‘अति गंभीर आरोप’ करार दिया था और कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को जांच का आदेश देना चाहिए और जांच पूरी होने तक जेटली को इस्तीफा दे देना चाहिए.

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