#Reservation मोदी का मास्टर स्ट्रोक : सवर्णों को 10% आरक्षण देने का फैसला, कल संसद में बिल लेकर आयेगी सरकार

नयी दिल्ली : लोकसभा चुनाव 2019 से पहले नरेंद्र मोदी सरकार ने एक बड़ा फैसला किया है. मोदी कैबिनेट ने आज सवर्णों को नौकरी और शिक्षा में 10 प्रतिशत आरक्षण दिये जाने का फैसला किया है. यह आरक्षण आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों को दिया जायेगा. आठ लाख रुपये से कम वार्षिक आय और पांच […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 7, 2019 2:39 PM

नयी दिल्ली : लोकसभा चुनाव 2019 से पहले नरेंद्र मोदी सरकार ने एक बड़ा फैसला किया है. मोदी कैबिनेट ने आज सवर्णों को नौकरी और शिक्षा में 10 प्रतिशत आरक्षण दिये जाने का फैसला किया है. यह आरक्षण आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों को दिया जायेगा. आठ लाख रुपये से कम वार्षिक आय और पांच एकड़ से कम भूमि वाले लोग आरक्षण के दायरे मेंआयेंगे. हालांकि अभी तक सरकार की ओर से इसपर कोई अधिकारिक बयान नहींआया है. खबर है कि सरकार इससे संबंधित बिल कल ही लोकसभा मेंलाने वाली है.

जानकारी के अनुसार मोदी कैबिनेट ने यह फैसला किया है कि सवर्णों को यह आरक्षण देने के लिए संविधान में संशोधन किया जायेगा. संविधान के अनुच्छेद 15-16 में संशोधन करके आरक्षण का यह प्रावधान किया जायेगा. यह आरक्षण 50 प्रतिशत के अतिरिक्त होगा. अभी देश में 49.5 प्रतिशत आरक्षण है जिसे बढ़ाकर 59.5 कर दिया जायेगा. देश में सवर्णों की कुल आबादी 12-14 प्रतिशत है. गौरतलब है कि आर्थिक रूप से पिछड़े सवर्णों को आरक्षण दिये जाने की मांग बहुत दिनों से की जा रही थी. संविधान संशोधन विधेयक को पारित कराने के लिए लोकसभा और राज्यसभा दोनोंसदन से इस बिल को दो तिहाई बहुमत से पारित कराना होगा. लोकसभा से इसे पास कराने के लिए 348 और राज्यसभा से पास कराने के लिए163 मतों की जरूरत होगी.

अभी क्या है रिजर्वेशन की स्थिति
भारत में अभी 49.5 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था है. जिसमें से 27 प्रतिशत ओबीसी के लिए, अनुसूचित जाति के लिए 15 प्रतिशत और अनुसूचित जनजाति के लिए 7.5 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था है.

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